देशभर में आज 74वें स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाया जा रहा है। इस मौके पर नेताओं, अफसरों के साथ बॉलीवुड और कला जगत की हस्तियों ने भी देशवासियों को बधाई दी। टीवी और डिजिटल मीडिया से जुड़े लोगों ने भी ट्वीट के जरिए लोगों को शुभकामनाएं दीं। हालांकि, इस मौके पर सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज मार्कंडेय काटजू ने कई हस्तियों के ट्विटर हैंडल पर उनसे सवाल पूछे। काटजू ने इशारों में पूछा कि इस स्वतंत्रता दिवस से शोषित वर्ग के लोगों को क्या लाभ?

काटजू ने स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं देने वाले पत्रकार रोहित सरदाना, आरफा खानम शेरवानी, ओम थानवी, राहुल कंवल, नीति आयोग के सीईओ, शशि थरूर समेत कई सेलिब्रिटीज के सामने यह सवाल उठाया। उन्होंने लिखा, “भारत की वास्तविक स्वतंत्रता होगी जब ग़रीबी, बेरोज़गारी, भुखमरी, बाल कुपोषण, स्वास्थ और अच्छी शिक्षा का अभाव, अल्पसंख्यकों पर ज़ुल्म, दाम बढ़ोत्तरी, भ्रष्टाचार आदि का अंत होगा। इन सब के बिना स्वतंत्रता निरर्थक है। ग़रीब, भूखा, बेराजगार,बीमार आदमी को स्वतंत्रता से क्या लाभ?”

एक अन्य ट्वीट में काटजू ने स्वतंत्रता दिवस के जश्न पर सवाल पूछते हुए कहा, “भारत और पाकिस्तान दोनों को ही ब्रिटिश साम्राज्य ने बहकाया।” उन्होंने कहा कि बिना सामाजिक बुराइयों के खत्म हुए स्वतंत्रता का कोई मतलब नहीं।

बता दें कि पूर्व सुप्रीम कोर्ट जज मार्कंडेय काटजू पहले से ही सोशल मीडिया पर अपनी बेबाक राय के लिए चर्चित रहे हैं। कुछ दिन पहले ही उन्होंने पत्रकार आरफा खानम शेरवानी पर निशाना साधते हुए कहा था कि आरफा शरिया, बुर्का, मदरसा और मौलाना सरीखे मुस्लिमों को पीछे रखने वाले मुद्दों पर पूर्व जेएनयू छात्रा शेहला रशीद से सवाल क्यों नहीं पूछती हैं? शेहला भविष्य के चुनावों में मुस्लिम वोट बैंक खोने के डर से कभी भी उनकी आलोचना नहीं करती हैं, पर आरफा इस पर चुप्पी क्यों साधे हैं? इससे पहले काटजू पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान पर निशाना साधते हुए वहां की जनता को अपने पीएम से सवाल पूछने की सलाह भी दे चुके हैं।