भारतीय किसान यूनियन (BKU) के प्रवक्ता राकेश टिकैत का दावा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली NDA सरकार पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव में लगी हुई है। वह फिलहाल राष्ट्रीय राजधानी में नहीं है। वह दिल्ली छोड़कर और जगहों पर जा चुकी है।
उनका यह बयान कृषि कानूनों के खिलाफ जारी किसान आंदोलन के बीच ऐसे वक्त पर आया है, जब आंदोलनकारी किसानों-प्रदर्शनकारियों व केंद्र के बीच इस मसले पर बातचीत कुछ दिनों से अटकी है। टिकैत ने गुरुवार को पत्रकारों से बातचीत के दौरान यह भी कहा- हम जाएंगे देखने कि सरकार कहां-कहां गई है।
यह पूछे जाने पर कि सरकार से कहां पर बातचीत है, क्यों बहुत दिन हो गए हैं? टिकैत का जवाब आया- अभी नहीं है। सरकार तो चुनाव में लगी है। देखने जाएंगे कि कहां-कहां लगी है। चली गई है दिल्ली छोड़कर। कुछ कह रहे हैं कि गावों में चली गई हैं, जबकि कुछ का कहना है कि वह चुनाव में (चुनावी सूबों में) लगी है।
रिपोर्टर ने फिर जोर देकर पूछा- अभी बातचीत की गुंजाइश नहीं है? किसान नेता ने कहा, “नहीं। पर हमारी लंबी तैयारी है।” बता दें कि केंद्र और किसानों में कई दौर की बैठकों के बाद भी इस मसले पर ठोस हल नहीं निकल पाया है। मोदी सरकार ने जहां इन कानूनों को डेढ़ से दो साल तक टालने का प्रस्ताव देते हुए कई बार साफ किया है कि एमएसपी थी, है और रहेगी।
वहीं, किसान इन तीनों कानूनों को सिरे से वापस लेने की मांग पर अड़े हैं। साथ ही वह एमएसपी पर कानून भी चाहते हैं। VIDEO में देखें, मीडिया से टिकैत ने और क्या कुछ कहाः
सरकार से अभी बातचीत की कोई गुंजाइश नहीं है, तैयारी लंबी है: राकेश टिकैत@RakeshTikaitBKU #FarmersProstests pic.twitter.com/FlMf1BnulN
— News24 (@news24tvchannel) March 4, 2021
दिग्विजय ने कराई महापंचायत, पर न बैठे मंच परः मध्य प्रदेश रतलाम जिले के डेलनपुर में गुरुवार को कांग्रेसी नेता दिग्वियज सिंह ने एक किसान महापंचायत का आयोजन कराया, पर वह मंच पर मौजूद नहीं रहे। महापंचायत से पहले उन्होंने मीडिया को साफ कर दिया था कि यह गैर-राजनीतिक आयोजन है।
कार्यक्रम के दौरान उन्होंने मोदी सरकार के लाए तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसान आंदोलन का समर्थन करते हुए विवादास्पद कानूनों को वापस लेने की मांग की। इस महापंचायत में भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू हरियाणा) के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी, कांग्रेस नेता और भारत कृषक समाज के अध्यक्ष अरुण यादव सहित अन्य किसान नेता शामिल थे। (भाषा इनपुट्स के साथ)