लालू प्रसाद यादव के राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) में उनके बड़े बेटे तेज प्रताप यादव और प्रदेश पार्टी चीफ जगदानंद सिंह के बीच घमासान फिलहाल थमने का नाम लेता नहीं नजर आ रहा।

तेज ने प्रदेश राजद दफ्तर में बिना राजद प्रमुख से पूछे जनता दरबार लगाने की घोषणा कर दी। साथ ही यह तक कह दिया कि उन्हें जनता दरबार लगाने से कोई लेगा क्या? हालांकि, पूरे मसले के साथ अपने इस तेवर और बयान की वजह से वह अपने छोटे भाई तेजस्वी यादव और बड़ी बहन रोहिणी आचार्य के निशाने पर आ गए और दोनों ने ही उन्हें अनुशासन पर ज्ञान दिया।

वैसे, इससे पहले पटना एयरपोर्ट पर शुक्रवार को जब तेजस्वी से पत्रकारों ने दोनों के बीच खटपट (तेज और जगदानंद) को लेकर सवाल पूछा तो उन्होंने बताया, “वह बड़े भाई हैं। लेकिन सभी को अनुशासन में रहना चाहिए। नाराजगी होती रहती है। पर हमारे माता-पिता ने यही सिखाया है कि सबको सम्मान देना चाहिए। सबकी इज्जत करनी चाहिए।” वहीं, रोहिणी भी बोलीं कि सफलता की मंजिल पानी है, तो अनुशासन और संयम के साथ चलना होगा।

उधर, तेज की हर गतिविधि पर लालू नजर बनाए हैं। यह दावा सिंह ने करते हुए स्थानीय मीडिया को तेज के खिलाफ ऐक्शन लेने के सवाल पर कहा कि वह विधायक हैं और एमएलए पर कार्रवाई का अधिकार सिर्फ राष्ट्रीय अध्यक्ष व राष्ट्रीय कार्यसमिति को है। पार्टी के कार्यक्रम में किसे बुलाना है और किसे नहीं? यह मेरा काम है।

वैसे, तेजस्वी दिल्ली आ गए हैं। वह दो प्रमुख कारणों से राष्ट्रीय राजधानी पहुंचे। चूंकि, उनकी छह बहनें हैं, जो दिल्ली-एनसीआर में रहती हैं। रक्षाबंधन (22 अगस्त) के मद्देनजर वह दिल्ली आए हैं, जबकि अगले दिन (23 अगस्त) को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बिहार के सभी दलों के नेताओं के मिलने से जुड़ा प्रोग्राम है। माना जा रहा है कि तेजस्वी तेजप्रताप और जगदानंद वाले मामले में लालू और राबड़ी से बात कर सकते हैं।

तेजस्वी ने क्षेत्रीय दलों के लिए राज्यों में अग्रणी भूमिका मांगीः तेजस्वी ने शुक्रवार को कहा कि देश में विपक्ष को लोकसभा चुनाव से पहले (मुद्दों में) धार एवं नयापन लाना चाहिए तथा जहां भी क्षेत्रीय दल मजबूत है, वहां उन्हें आगे रहने देना चाहिए। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी द्वारा बुलायी गयी विपक्षी दलों की डिजिटल बैठक में अपने संबोधन में राजद नेता ने कहा कि हाल में पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव में भाजपा को मुंह की खानी पड़ी, बिहार में राजग मुश्किल से रहा , ये चीजें 2024 की बड़ी लड़ाई के लिए प्रेरणा पुंज हो सकती है।

अपने पिता लालू प्रसाद यादव की छाया से बाहर निकलकर पिछली साल बिहार विधानसभा चुनाव में अपनी पार्टी को शानदार स्थिति में पहुंचाने वाले 33 वर्षीय तेजस्वी यादव ने कहा कि विपक्ष को अपने चुनावी मुद्₨दों में ‘‘धार’’ और ‘‘नयापन’’ लाने की जरूरत है। उन्होंने कहा, ‘‘ विपक्ष को अपने एजेंडे पर चुनाव लड़ना चाहिए…..पश्चिम बंगाल और बिहार के अनुभव ने दिखा दिया है कि कैसे हमें भाजपा को टक्कर देनी चाहिए।’’