पिछले कुछ समय से पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना का मुद्दा उत्तरप्रदेश की राजनीति में गरमाया हुआ है। अखिलेश यादव और ओम प्रकाश राजभर के जिन्ना वाले बयान के बाद अब एआईएमआईएम सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि देश के बंटवारे के लिए कांग्रेस और उस वक्त के नेता जिम्मेदार हैं।
उत्तरप्रदेश में एक रैली को संबोधित करते हुए हैदराबाद से एआईएमआईएम सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि मैं इतिहास नहीं पढ़ने वाले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी के लोगों को चुनौती देता हूं। देश का विभाजन मुसलमानों के कारण नहीं बल्कि जिन्ना के कारण हुआ था। उस समय केवल वही मुसलमान वोट दे सकते थे जो नवाब या डिग्री धारकों की तरह काफी प्रभावशाली थे। कांग्रेस और उस समय के नेता ही देश के विभाजन के लिए जिम्मेदार हैं।
बता दें कि बीते 31 अक्टूबर को उत्तरप्रदेश के हरदोई में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने सरदार पटेल की तुलना मोहम्मद अली जिन्ना से की थी। अखिलेश यादव ने कहा था कि सरदार पटेल, राष्ट्रपिता महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू और जिन्ना एक ही संस्था में पढ़ कर बैरिस्टर बनकर आए थे। उन्होंने एक ही जगह पर पढ़ाई लिखाई की। वो बैरिस्टर बने और उन्होंने आजादी दिलाई। अगर उन्हें किसी भी तरह का संघर्ष करना पड़ा होगा तो वो पीछे नहीं हटे।
उनके इस बयान पर असदुद्दीन ओवैसी ने उस वक्त भी आपत्ति जताई थी। असदुद्दीन ओवैसी ओवैसी ने कहा था कि भारतीय मुस्लिमों का मोहम्मद अली जिन्ना से कोई सरोकार नहीं है। हमारे पूर्वजों ने पहले ही जिन्ना की टू नेशन थ्योरी को नकार दिया और भारत को अपने देश के रूप में स्वीकार किया। साथ ही उन्होंने अखिलेश यादव को इतिहास पढ़ने की भी सलाह दी थी और यह भी कहा था कि उनको ग़लतफ़हमी है कि उनके इस तरह के बयान से लोगों का एक तबका खुश होगा।
अखिलेश यादव के जिन्ना वाले बयान के बाद उनके गठबंधन सहयोगी सुभासपा के नेता ओम प्रकाश राजभर ने भी जिन्ना को लेकर बयान दिया था। ओम प्रकाश राजभर ने कहा था कि अगर जिन्ना को भारत का पहला प्रधानमंत्री बनाया गया होता तो देश का विभाजन नहीं होता।