चीन के वुहान शहर से कोविड-19 वायरस की शुरूआत 2019 में हुई थी, तब से आज तक इस वायरस ने लोगों का जीना दूभर किया हुआ है। कोविड-19 वायरस को Sars-CoV-2 के नाम से भी जाना जाता है। इस वायरस ने दुनियाभर के लोगों को संक्रामित किया है। ये वायरस लगातार म्यूटेट होता रहा है। वैज्ञानिकों ने इस वायरस में हजारों म्यूटेशन देखे हैं। कोविड-19 वायरस एक नया वायरस था जिसे समझने में वैज्ञानिकों को काफी समय लगा है।
आज भी ये वायरस हमारे बीच मौजूद है इसका खातमा नहीं हुआ। पिछले तीन सालों में कोविड-19 वायरस संक्रमण के बाद और भी कई वायरस ने लोगों की रातों की नींद हराम की है। साल 2022 में जिन 4 तरह के वायरस ने परेशान किया है वो है ज़ीका वायरस (Zika Virus) टोमोटो फीवर (tomato fever), मंकी वायरस (monkey virus) और ज़ोमबी वायरस (Zombie Virus) जिन्होंने बेहद लोगों को परेशान किया है। आइए जानते हैं कि इन वायरस ने कैसे 2022 में तबाही मचाई है।
क्या है जीका वायरस? Zika Virus
जीका वायरस (Zika Virus) के लिए एडीज की कई प्रजातियां जिम्मेदार हैं। एडीज एल्बोपिक्ट्स (Aedes albopictus) और एडीज इजिप्टी(aedes aegypti) से जीका वायरस फैलने का खतरा अधिक रहता है। इस बीमारी में मलेरिया (Malaria) और बुखार (fiver) के मिले-झुले लक्षण दिखते हैं। बुखार आना, त्वचा पर रैशेज, जोड़ों में दर्द होना, मांसपेशियों में दर्द होना, सिर में दर्द होना और उल्टी आना जीका वायरस के लक्षण हैं। देश में केरल में Zika Virus का पहला केस सामने आया था। डब्ल्यूएचओ (WHO) के अनुसार, अब तक 86 देशों में मच्छरों से फैलने वाले जीका वायरस के मामलों की पुष्टि हो चुकी है।
टोमैटो फ्लू (Tomato Flu)
टोमैटो फ्लू (Tomato flu) एक ऐसी बीमारी है जिसने बेहद परेशान किया है। यह बीमारी बच्चों(KIDS) में तेज़ी से फैली। यह एक इन्फेक्शन (Infection decease) वाली बीमारी है। इसके लक्षणों में सबसे पहले बुख़ार आता है और फिर चेहरे पर लाल फफोले जैसे दाने निकलते हैं। टोमैटो फ्लू के लक्षणों की बात करें तो इस बीमारी में थकान, मितली, उल्टी, दस्त, बुख़ार, पानी की कमी, जोड़ों की दर्द जैसी बीमारियों ने बेहद परेशान किया। विश्व स्वास्थ संगठन (WHO) के मुताबिक जिन बच्चों की इम्यूनिटी कमजोर थी उनको टोमैटो फ्लू (Tomato Flu)ने बेहद परेशान किया।
मंकी पॉक्स वायरस: (monkeypox Virus)
मंकीपाक्स वायरस (monkeypox Virus) एक एक दुर्लभ वायरल संक्रमण है। 1958 में यह पहली बार बंदरों में पाया गया था। इस वायरस का पहला मामला 1970 में सामने आया था। मंकी पॉक्स वायरस जानवरों से इंसानों में फैलता है। इस बीमारी को महामारी घोषित (Pandemic has been declared) किया जा गया है। WHO ने इस बीमारी का नाम बदलकर ‘एमपॉक्स’ (mpox) नाम दिया है। मंकीपॉक्स चेचक की तरह होता है। इसकी पहली स्टेज में संक्रमित व्यक्ति में लक्षण दिखने लगते हैं। इसमें संक्रामित व्यक्ति को बुखार, सिर दर्द और थकान महसूस होती है। धीरे-धीरे बॉडी पर चकत्ते आने लगते हैं और ये चकत्ते दाने बनने लगते हैं। साल 2022 में इस वायरस ने लोगों पर खौफ का साया पैदा कर दिया था।
जोम्बी वायरस: (Zombie Virus)
शोधकर्ताओं की मानें तो, जॉम्बी वायरस,अमीबा जैसे परजीवी से जुड़ा हुआ वायरस हो सकता है। ये वायरस इंसानों के लिए संक्रामक वायरस की श्रेणी में नहीं रखा जाता। ये वायरस अमीबा में संक्रमण का कारण बन सकता है। वैज्ञानिकों के मुताबिक ये वायरस कभी जानवरों (Animals) और पेड़-पौधों में संक्रमण का कारण रहा होगा। इंसानों को इस वायरस को लेकर परेशान होने की जरूरत नहीं है, क्योंकि ये इंसानों के लिए सीधे तौर पर संक्रामक नहीं है। कुछ वैज्ञानिकों का कहना है कि यह वायरस स्मॉलपाक्स (smallpox) के एक जेनेटिक स्ट्रक्चर जैसा है। एक्सपर्ट का अनुमान है कि ये बर्फ में दबा हुआ था, बर्फ के मेल्ट होने पर ये बाहर आ रहा है। ये पेड़-पौधों, जानवरों व पक्षियों में फैल सकता है और आगे चल कर संक्रमण का कारण भी बन सकता है।
ये वायरस दे गए ज़िंदगी की 4 सीख:
- इन वायरस ने लोगों को सेहत के प्रति सजग रहना सिखा दिया है।
- अच्छी सेहत के लिए लोग अच्छी डाइट का सेवन करना सीख गए है।
- इम्युनिटी को संट्रॉन्ग करने वाली डाइट पर लोगों का ध्यान पहुंचने लगा है।
- बॉडी को एक्टिव रखने के लिए वॉक और बॉडी एक्टिविटी कितनी जरूरी है लोग इसकी अहमियत को समझने लगे हैं।