Prayagraj Mahakumbh Mela Stampede News: अखिलेश यादव ने प्रयागराज महाकुंभ में हुई भगदड़ की घटना के लिए योगी सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि “संत-महात्माओं और आम जनता का भरोसा खो चुके मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ नैतिक रूप से जा चुके हैं और अब राजनीतिक रूप से भी चले जाएंगे।” उन्होंने कहा, ‘‘भाजपा सरकार अपनी नाकामी छिपा रही है। भगदड़ में जान गंवाने वालों की सही संख्या नहीं बता रही है। भाजपा सरकार मृतकों की संख्या इसलिए छिपा रही है, जिससे उसे मुआवजा नहीं देना पड़े। यह सरकार की संवेदनहीनता है।”
महाकुंभ मेले में बुधवार तड़के संगम नोज पर मची भगदड़ की वजह से तीस लोगों की मौत हुई । स्थानीय लोगों ने दावा किया है कि बुधवार को झूंसी इलाके में भी भगदड़ हुई थी। दोपहर 12 बजे के बाद हालात सामान्य हुए। बुधवार शाम मीडिया से बात करते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ भावुक हो गए। उन्होंने बताया कि उपचार के बाद बहुत सारे लोग अपने परिजनों के साथ घर जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि बहुत ज्यादा प्रेशर प्रयागराज में होने के कारण मार्ग चोक थे। प्रशासन उन्हें खुलवाने में लगा रहा।
कुंभ में व्यवस्था संभाल चुके अधिकारी किए जाएंगे तैनात
प्रयागराज महाकुंभ में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना के बाद आयोजन स्थल पर व्यवस्था को और बेहतर बनाने के लिए कुंभ 2019 के समय प्रयागराज में तैनात रहे दो वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों समेत पांच विशेष सचिव स्तर तथा पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारियों को तैनात किया जाएगा। उत्तर प्रदेश सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा बुधवार देर शाम की गई बैठक में इस संबंध में निर्देश दिया गया जिसके अनुपालन में कुंभ 2019 के समय प्रयागराज में बतौर मंडलायुक्त सेवा दे चुके आशीष गोयल और इलाहाबाद विकास प्राधिकरण (एडीए) के उपाध्यक्ष रहे भानु गोस्वामी की तैनाती की जा रही है। उन्होंने बताया कि विशेष सचिव स्तर के पांच-पांच अधिकारियों को भी भेजा जा रहा है जो 12 फरवरी तक प्रयागराज में उपस्थित रहकर व्यवस्थाओं को और बेहतर बनाने में सहयोग देंगे। उन्होंने बताया कि इसके अतिरिक्त, पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारियों को भी तैनात किया जाएगा।
महाकुंभ मेले में कैसे मची भगदड़? – डीआइजी कुंभ मेला वैभव कृष्ण ने बताया कि मौनी अमावस्या स्नान के समय ब्रह्म मुहूर्त से पहले रात 1 से 2 बजे के बीच अखाड़े के रास्ते पर भारी भीड़ जमा हो गई, जिसकी वजह से दूसरी तरफ के बैरिकेड टूट गए। इस तरफ की भीड़ दूसरी तरफ चली गई और ब्रह्म मुहूर्त का इंतजार कर रहे श्रद्धालुओं को कुचलने लगी… प्रशासन ने तुरंत बचाव अभियान चलाया और एंबुलेंस के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया और 90 घायलों को अस्पताल पहुंचाया। दुर्भाग्य से, उनमें से 30 श्रद्धालुओं की मौत हो गई।
उन्होंने बताया कि इनमें से 25 की पहचान हो चुकी है, जबकि पांच की पहचान होनी बाकी है। इनमें से कुछ दूसरे राज्यों से भी हैं… चार कर्नाटक से, एक असम से, एक गुजरात से… कुछ घायल श्रद्धालुओं को उनके रिश्तेदार ले गए हैं। 36 घायलों का स्थानीय मेडिकल कॉलेज में इलाज चल रहा है। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए मेला प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर 1920 जारी किया है। यहां पढ़िए विस्तृत खबर
PM Modi on Maha Kumbh Stampede । Rahul Gandhi on Maha Kumbh Stampede
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पीएम मोदी ने कहा कि आज की चुनाव सभा को संबोधित करने से पहले मैं महाकुंभ में जो दुःखद हादसा हुआ है, उस हादसे में हमें कुछ पुण्यात्माओं को खोना पड़ा है, कई लोगों को चोट भी आई है। मैं प्रभावित परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूं और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं।
निरंजनी अखाड़े के प्रमुख आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरि जी महाराज ने कहा, “सरकार और पूरा प्रशासन यहां की व्यवस्थाओं को संभालने में लगा हुआ है। मैंने अभी (मुख्यमंत्री) योगी जी से कई मुद्दों पर बात की और उन्होंने अपनी चिंताएं व्यक्त कीं। अखाड़ा अपनी परंपरा का पालन करेगा, हालांकि, यह छोटे पैमाने पर किया जाएगा। हम कुछ समय में प्रतीकात्मक ‘शाही स्नान’ करेंगे।”
महाकुंभ भगदड़ पर एनसीपी-एससीपी सांसद सुप्रिया सुले ने कहा, “जो हुआ वह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। मैंने साध्वी निरंजन ज्योति जी का बयान देखा जो मौके पर मौजूद हैं और उन्होंने कहा है कि कुप्रबंधन है। उन्होंने सेना को आने के लिए कहा है, इसलिए यूपी सरकार को इस पर गौर करना चाहिए।” वक्फ संशोधन विधेयक पर जेपीसी के बारे में उन्होंने कहा, “हम रिपोर्ट आने का इंतजार कर रहे हैं क्योंकि अभी तक हमारे पास इसकी पहुंच नहीं है क्योंकि समिति ने इसे पेश नहीं किया है। जब मैं दिल्ली जाऊंगी, तो अपने सहयोगियों से मिलूंगी और देखूंगी कि इसे आगे कैसे बढ़ाया जाए।”
मौनी अमावस्या पर अमृत स्नान के बाद पंचायती निरंजनी अखाड़े के दिगंबर नागा बाबा चिदानंद पुरी ने कहा, “आज एक अप्रत्याशित घटना के कारण हमारी (अखाड़ों की) शोभा यात्रा नहीं निकाली जा सकी। अब हम कम संख्या में पवित्र स्नान करने आ रहे हैं।”
महाकुंभ में भगदड़ जैसी स्थिति के बारे में डीआईजी महाकुंभ वैभव कृष्ण ने कहा कि पुलिस के साथ-साथ प्रशासन भी सभी अखाड़ों को उनके पारंपरिक जुलूस निकालने में मदद करेगा। कृष्णा ने एएनआई से कहा, “अमृत स्नान शुरू होने वाला है। सब कुछ पारंपरिक तरीके से किया जाएगा। पुलिस और प्रशासन सभी अखाड़ों को उनके पारंपरिक जुलूसों में सहायता करेगा। स्थिति नियंत्रण में है। हम आज सुबह की घटना के कारणों की जांच कर रहे हैं। यह भक्तों की भारी भीड़ के कारण हुआ। 10 करोड़ से अधिक भक्तों के आने की उम्मीद है।”
ज्योतिष पीठाधीश्वर जगतगुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती, श्रृंगेरी पीठाधीश्वर जगतगुरु स्वामी विदुशेखर भारती और अन्य संत ‘मौनी अमावस्या’ के अवसर पर पवित्र स्नान करने के लिए संगम पहुंचे।
मौनी अमावस्या के अवसर पर दूसरे अमृत स्नान के लिए त्रिवेणी संगम पर संतों का आना जारी है, हालांकि छोटे जुलूसों के साथ। आज दोपहर 12 बजे तक करीब 4.24 करोड़ श्रद्धालुओं ने पवित्र डुबकी लगाई है। आज तक पवित्र डुबकी लगाने वाले श्रद्धालुओं की कुल संख्या 20 करोड़ को पार कर गई है।
ओडिशा के नेता प्रतिपक्ष और बीजद अध्यक्ष नवीन पटनायक ने ट्वीट किया कि उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ मेले में मौनी अमावस्या के पवित्र स्नान से पहले भगदड़ में लोगों की मौत की खबर सुनकर बहुत दुख हुआ। मेरी संवेदनाएं और प्रार्थनाएं उन लोगों के साथ हैं जिन्होंने अपने प्रियजनों को खो दिया है। घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।
तीर्थयात्रियों की अनुमानित आमद के मद्देनजर कुंभ मेला अधिकारियों ने मंगलवार को एक परामर्श जारी कर श्रद्धालुओं से सुविधा और सुरक्षा के लिए भीड़ प्रबंधन के दिशानिर्देशों का पालन करने की अपील की थी।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर कहा, ‘प्रयागराज महाकुंभ में भगदड़ की घटना अत्यंत दुखद है। मैं हताहत हुए श्रद्धालुओं के परिवारजनों के प्रति शोक-संवेदना व्यक्त करती हूं और ईश्वर से प्रार्थना करती हूं कि घायल हुए सभी श्रद्धालु शीघ्र ही स्वस्थ हों।’
मौनी अमावस्या के अवसर पर दूसरे अमृत स्नान के लिए त्रिवेणी संगम पर संतों का पहुंचना जारी है, हालांकि छोटे जुलूसों के साथ।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा, “प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में हुआ हादसा बेहद दुखद है। इस हादसे में अपने प्रियजनों को खोने वाले लोगों के शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदना है। इसके साथ ही मैं सभी घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में उत्तर प्रदेश सरकार और स्थानीय प्रशासन पीड़ितों को हर संभव मदद मुहैया करा रहा है।”
कुंभ मेला एसएसपी राजेश द्विवेदी ने कहा, “जैसा कि आप देख सकते हैं कि घाट अब पूरी तरह से खाली है और हम अखाड़ों के अमृत स्नान की प्रतीक्षा कर रहे हैं। श्रद्धालु विभिन्न घाटों पर आसानी से पवित्र डुबकी लगा रहे हैं और हमें उम्मीद है कि अमृत स्नान भी सफलतापूर्वक पूरा हो जाएगा। सुबह जो कुछ भी हुआ वह एक दुर्घटना थी, यह अचानक हुआ। हम कारणों की जांच करेंगे। घायलों का इलाज किया जा रहा है। कोई सुरक्षा चूक नहीं हुई।”
महाकुंभ में मौनी अमावस्या के अवसर पर दूसरे अमृत स्नान के लिए संतों ने त्रिवेणी संगम घाट की ओर अपना जुलूस शुरू किया।
पीएम नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर लिखा, ‘प्रयागराज महाकुंभ में हुआ हादसा अत्यंत दुखद है। इसमें जिन श्रद्धालुओं ने अपने परिजनों को खोया है, उनके प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं। इसके साथ ही मैं सभी घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं। स्थानीय प्रशासन पीड़ितों की हरसंभव मदद में जुटा हुआ है। इस सिलसिले में मैंने मुख्यमंत्री योगी जी से बातचीत की है और मैं लगातार राज्य सरकार के संपर्क में हूं।’
कुंभ मेले की परंपरा के अनुसार, तीन संप्रदायों ‘सन्यासी, बैरागी और उदासीन’ के अखाड़े एक निर्धारित क्रम में त्रिवेणी संगम में पवित्र डुबकी लगाते हैं। पवित्र स्नान से पहले वे संगम घाट तक एक भव्य जुलूस निकालते हैं। त्रिवेणी संगम, जो गंगा, यमुना और सरस्वती की पवित्र नदियों का संगम है, हिंदू धर्म में एक पवित्र स्थान माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि महाकुंभ के दौरान त्रिवेणी संगम में पवित्र स्नान करने से सभी पाप धुल जाते हैं और भक्तों को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
प्रयागराज के संगम पर भगदड़ जैसी स्थिति पर आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने कहा कि “इतनी बड़ी भीड़। लेकिन सरकार ने बहुत अच्छे और विस्तृत इंतजाम किए हैं। इसके बावजूद ऐसी घटनाएं हुई हैं। मैं उन परिवारों के लिए प्रार्थना करता हूं जो इससे प्रभावित हुए हैं। मैं लोगों से अपील करता हूं कि जब आप कुंभ जाएं। तो अपना समय लें, जल्दबाजी न करें। जब हम पहले भागना चाहते हैं तो भगदड़ मच जाती है। बड़ी भीड़ में आपको बहुत धैर्य की जरूरत होती है। आपकी बारी आएगी। यह एक ऐसी चीज है जिसके बारे में हमें लोगों को अधिक जागरूक रखने की जरूरत है।”
भगदड़ जैसी स्थिति के बाद त्रिवेणी संगम पर भारी सुरक्षा व्यवस्था तैनात कर दी गई है। पुलिस मौनी अमावस्या पर अमृत स्नान के लिए अखाड़ों और संतों के लिए रास्ता साफ करती नजर आई।
एएनआई से बात करते हुए डीआईजी महाकुंभ वैभव कृष्ण ने कहा कि आज कुंभ मेले में 10 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं के आने की उम्मीद है और भीड़ नियंत्रण में है। कृष्णा ने कहा, “हमें आज 10 करोड़ से ज़्यादा लोगों के आने की उम्मीद है। हमारे सभी अधिकारी और कर्मचारी कल शाम से ही भीड़ को नियंत्रित करने के लिए तैनात हैं। लोग यहाँ सभी घाटों पर शांतिपूर्वक स्नान कर रहे हैं। सुबह के समय दबाव था और भारी भीड़ थी। कई अखाड़ों ने हमें भीड़ को नियंत्रित करने के लिए कहा और कहा कि वे बाद में स्नान के लिए निकलेंगे।”
महाकुंभ में भगदड़ पर शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत ने कहा, “कुंभ आस्था का विषय है। वहां श्रद्धालुओं के लिए क्या व्यवस्था की गई है? महिलाओं को सड़कों पर सोना पड़ रहा है। अखिलेश यादव के कार्यकाल में कुंभ में व्यवस्थाएं सबसे अच्छी थीं। जब केंद्रीय मंत्री और वीआईपी आते हैं तो इससे व्यवस्था पर दबाव पड़ता है। 10 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। मेरा मानना है कि इन मौतों के लिए प्रशासन जिम्मेदार है।”
मौनी अमावस्या के अवसर पर अमृत स्नान के लिए अखाड़ों और संतों के लिए पुलिस द्वारा मार्ग प्रशस्त करते हुए त्रिवेणी संगम पर भारी सुरक्षा तैनात की गई।
आप नेता सौरभ भारद्वाज का ने महाकुंभ में मची भगदड़ जैसी स्थिति पर कहा: “यह बहुत गंभीर मुद्दा है। उत्तर प्रदेश सरकार ने पूरे देश और लाखों लोगों को महाकुंभ में आमंत्रित किया, अच्छी व्यवस्था की। लेकिन, राज्य के मुख्यमंत्री, जिन्हें व्यवस्थाओं की देखरेख करनी चाहिए थी, दिल्ली में राजनीतिक रैलियों के लिए निकल गए। यह बहुत बड़ी भूल है। भाजपा सरकार ने एक धार्मिक आयोजन को राजनीतिक आयोजन में बदल दिया है। इस स्थिति के लिए योगी आदित्यनाथ और प्रशासन पूरी तरह से जिम्मेदार हैं, और उन्हें इसके लिए इस्तीफा दे देना चाहिए।”
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के प्रमुख महंत रविंद्र पुरी ने कहा, “हम कोशिश कर रहे हैं कि लोग कम संख्या में स्नान के लिए जाएं। दुनिया भर से लोग यहां आए हैं, इसलिए सभी को स्नान का मौका मिलना चाहिए। घाटों पर इस समय भीड़ है, इसलिए हम चाहते हैं कि हमारे साथ कम लोग आएं। हम प्रशासन से चर्चा कर रहे हैं, देखते हैं क्या निर्णय होता है।”
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रवींद्र पुरी ने कहा कि आज हम अपने देवताओं को स्नान कराएंगे। चूंकि यहां भीड़ बहुत ज़्यादा है, इसलिए हम कम संख्या में घाट पर जाएंगे। हम अपने साधु-संतों से कोशिश कर रहे हैं कि आज जब तक बहुत ज़रूरी न हो, तब तक वे ऐसा न करें। हमें घाटों और भीड़ की स्थिति को ध्यान में रखना होगा। वसंत पंचमी पर अगला अमृत स्नान निश्चित रूप से भव्य होगा। अगर हम अपने देवताओं को स्नान करा पाएं, तो हम समझेंगे कि हमने स्नान कर लिया।
सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सुबह 8.30 बजे तक करीब 3.5 करोड़ तीर्थयात्री पवित्र स्नान कर चुके हैं। प्रशासन अपना काम कर रहा है। मैं श्रद्धालुओं, संतों से अपील करता हूं कि वे किसी भी अफवाह पर विश्वास न करें, वे कहीं भी पवित्र स्नान कर सकते हैं, संगम तट पर डुबकी लगाना जरूरी नहीं है। यह जरूरी है। बुजुर्ग, बच्चे और सांस की बीमारी वाले लोग कहीं भी पवित्र स्नान कर लें, हर जगह गंगा जल है। हम उनसे सहयोग चाहते हैं, तभी हम सुरक्षित तीर्थयात्रा सुनिश्चित कर पाएंगे। जो लोग घायल हुए हैं, उनका इलाज किया जा रहा है। मैं आपसे आग्रह करता हूं कि किसी भी अफवाह पर विश्वास न करें। वहां करीब 9-10 करोड़ लोग मौजूद हैं। लोगों को प्रशासन के निर्देशों का पालन करना चाहिए।
सीएम योगी ने कहा कि प्रयागराज में स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन भीड़ अभी भी काफी है। विभिन्न अखाड़ों के संतों ने विनम्रतापूर्वक कहा है कि श्रद्धालु पहले पवित्र स्नान करें और भीड़ कम होने पर अखाड़े पवित्र स्नान के लिए आगे बढ़ेंगे। संगम नोज, नाग वासुकी मार्ग और संगम मार्ग पर काफी भीड़ है। मैं श्रद्धालुओं से अपील करता हूं कि वे किसी भी अफवाह पर ध्यान न दें। पूरे कुंभ क्षेत्र में घाट बनाए गए हैं, श्रद्धालुओं को संगम की ओर जाने की जरूरत नहीं है।
उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रयागराज में स्थिति नियंत्रण में है। आज प्रयागराज में करीब 8-10 करोड़ श्रद्धालु मौजूद हैं। संगम नोज की ओर श्रद्धालुओं के आने से लगातार दबाव बना हुआ है। अखाड़ा मार्ग पर बैरिकेडिंग लांघने की कोशिश में कुछ श्रद्धालुओं को गंभीर चोटें आई हैं। घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। कल रात से मौनी अमावस्या का महूर्त शुरू होने के बाद से बड़ी संख्या में श्रद्धालु आ रहे हैं। पीएम अब तक चार बार स्थिति का जायजा ले चुके हैं। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और राज्यपाल आनंदीबेन पटेल भी लगातार स्थिति की रिपोर्ट ले रहे हैं।
