दांतों का संबंध स्वाद, सेहत और सौंदर्य तीनों से है। इसलिए इनकी देखभाल बहुत जरूरी है। मौजूदा जीवनशैली में खानपान से लेकर सेहत से जुड़ी कई दूसरी आदतों में काफी लापरवाही देखने को मिलती है। इसका असर दांतों पर भी पड़ता है। एक पुरानी कहावत है कि जिंदगी का मजा तभी तक है, जब तक आपके दांत सलामत हैं।
बिना दांतों के या दांतों की परेशानी बढ़ने से जिंदगी की मुश्किल कितनी बढ़ जाती है, उसका अंदाजा सहज ही लगाया जा सकता है। दांतों के स्वास्थ्य का सीधा संबंध दिल से भी है। कई शोध अध्ययनों में यह दावा किया गया है कि जो लोग अपने दांतों को गंदे रखते हैं या जिन्हें मसूड़ों से जुड़े रोग हैं, उनमें हृदयाघात और दूसरी दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है।
नियमित जांच
आमतौर पर लोगों को दांतों से जुड़ी कोई न कोई समस्या जब-तब होती ही रहती है। हालांकि बहुत कम लोग ही ऐसी छोटी-मोटी समस्याओं के लिए दंत विशेषज्ञ के पास जाते हैं। इस अनदेखी के कारण ही कई बार छोटी-छोटी बीमारियां भी गंभीर हो जाती हैं। अगर आप दांतों की सही देखभाल करें और एक नियमित अंतराल पर अपने दांतों की नियमित जांच करवाएं तो समस्याओं को समय रहते रोका जा सकता है।
पानी पिएं पर्याप्त
कुछ खास तरह की दवाओं के इस्तेमाल और अन्य वजहों से मुंह सूखने (ड्राय माउथ) की समस्या होना सामान्य बात है। मुंह में बनने वाली लार बैक्टीरिया और खाने के कणों को हटा देती है। कम लार बनने की वजह से आपको मुंह से जुड़ी स्वास्थ्य समस्याएं होने का खतरा ज्यादा हो सकता है। इसलिए यह बेहद जरूरी है कि आप पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं।
यदि आपको ज्यादा समय से ‘ड्राय माउथ’ की शिकायत है तो दंत चिकित्सक को इस बारे में बताएं। वे इस समस्या से बचाव के लिए आपको जरूरी हिदायत देंगे।
खानपान का ध्यान
कोरोना महामारी की वजह से घर पर ज्यादा रहने की बाध्यता का असर लोगों के खानपान पर भी पड़ा है। बाहर जाकर खाने को लेकर लोगों में एक स्वाभाविक हिचक अब भी देखने को मिलती है। ऐसे में बाजार में बिकने वाले तैयार खाने (रेडी-टू-ईट फूड्स) को घर लाकर खाने के प्रति लोगों में आकर्षण बढ़ा है। इस तरह का खाना सेहत की वजहों से अच्छा नहीं होता है।
बात करें दांतों की तो फाइबर युक्त ताजे और क्रंची फूड्स ज्यादा बेहतर विकल्प हैं। खासतौर पर शक्कर युक्त चीजें आपके दांतों को लाभ पहुंचाने के बजाय नुकसान पहुंचा सकते हैं। इसलिए सेब या गाजर जैसे साबुत फल खाएं। इससे आपके जबड़ों का भी अपेक्षित व्यायाम हो जाएगा और वे मजबूत बने रहेंगे। साथ ही दांतों की मजबूती के लिए शक्कर युक्त ‘फ्रूट जूस’ से बचें और धूम्रपान न करें।
नमक डालकर गरारा
दंत चिकित्सक बताते हैं कि दांतों व मसूड़ों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए गुनगुने पानी में नमक डालकर गरारे करना एक अच्छा अभ्यास है। खासतौर से, महिलाओं को हार्मोनल बदलावों के कारण दांतों व मसूड़ों की कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है, लेकिन अगर वो खाना खाने के बाद गुनगुने पानी में नमक डालकर गरारे करती हैं तो कई तरह की परेशानियों से बची रहती हैं। गरारे करने से दांतों के बीच में फंसा हुआ भोजन भी आसानी से निकल जाता है और दांत स्वस्थ रहते हैं।
दांतों की सफाई
लोग सुबह में तो ब्रश करते हैं, लेकिन आमतौर पर रात को सोने से पहले नहीं करते हैं। बिस्तर पर जाने से पहले ब्रश करने से पूरे दिन जमा होने वाले कीटाणुओं और प्लेक से छुटकारा मिलता है और दांत अधिक स्वस्थ बनते हैं। दांतों के स्वास्थ्य के लिए सिर्फ ब्रश करना ही पर्याप्त नहीं है। आप किस तरह से ब्रश करते हैं, यह भी उतना ही अहम है।
सही तरह से ब्रश न करना एक तरह से ब्रश न करने के ही समान है। ब्रश करते समय अपने दांतों पर इसे ‘सर्कुलर मोशन’ में घुमाएं। अक्सर प्लेक आपकी जीभ पर भी जमा हो जाते हैं। इसकारण मुंह से दुर्गंध भी आ सकती है। इसलिए जब भी आप ब्रश करें तो जीभ को भी अच्छे से साफ करें।
(यह लेख सिर्फ सामान्य जानकारी और जागरूकता के लिए है। उपचार या स्वास्थ्य संबंधी सलाह के लिए विशेषज्ञ की मदद लें। )
