आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन समेत अन्य आरोपों से जुड़े मामले में सांसद-विधायक अदालत (एमपी-एमएलए कोर्ट) ने गैरहाजिर रहे कवि कुमार विश्वास समेत दो आरोपियों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है। अदालत के विशेष न्यायाधीश पीके जयंत ने कुमार विश्वास व सह आरोपी अजय सिंह के खिलाफ जमानती वारंट जारी करने एवं अन्य कार्यवाही के लिए आदेश दिया है। बताते चलें कि इस मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी आरोपी हैं।

मालूम हो कि वर्ष 2014 में लोकसभा चुनाव के दौरान गौरीगंज एवं मुसाफिरखाना थाने में आम आदमी पार्टी की तरफ से लोकसभा प्रत्याशी रहे कुमार विश्वास के प्रचार में आये दिल्ली के वर्तमान मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल समेत अन्य आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज हुआ था। गौरीगंज से जुड़े मामले में पुलिस ने अरविंद केजरीवाल, कुमार विश्वास, हरिकृष्‍ण, राकेश तिवारी अजय सिंह, बबलू तिवारी के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था।

एमपी-एमएलए की विशेष अदालत में चल रहे उपरोक्त मामले में अरविंद केजरीवाल और कुमार विश्वास की तरफ से सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दाखिल की गई थीं, जिस पर सुनवाई के पश्चात सर्वोच्च न्यायालय ने उन्हें अग्रिम आदेश तक हाजिरी से छूट प्रदान की थी। सर्वोच्च न्यायालय में यह याचिका करीब छह वर्षों से विचाराधीन है।

उपरोक्त जानकारी देते हुए सरकारी अधिवक्ता वैभव पांडेय ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट में मामले की अगली सुनवाई के लिए सात सितम्बर की तारीख तय की गई है। शुक्रवार को इस मामले में सुनवाई के दौरान अरविंद केजरीवाल, सह आरोपी राकेश तिवारी, हरिकृष्ण एवं बबलू त्रिपाठी की तरफ से उनके अधिवक्ताओं ने हाजिरी माफी अर्जी प्रस्तुत की, जबकि कुमार विश्वास व सह आरोपी अजय सिंह की तरफ से कोई प्रार्थना पत्र प्रस्तुत ही नहीं किया गया।

ऐसी स्थिति में अदालत ने दोनों आरोपियों के जरिए अनुपस्थित रहने के बारे में कोई पर्याप्त कारण न बता पाने की वजह से कड़ा रुख अपनाते हुए उनके विरुद्ध जमानती वारंट जारी करने एवं अन्य कार्यवाही का आदेश दिया है। मामले में अगली सुनवाई के लिए 10 सितंबर की तारीख तय की गई है।