Weather Today Live Updates: भारी बारिश और ख़राब मौसम के कारण हिमाचल के कांगड़ा हवाई अड्डे के सभी उड़ानों को रद्द कर दिया गया है। साथ ही हेली टैक्सी तथा हवाई टैक्सी भी बंद कर दी गई है। बादल फटने और भारी बारिश के कारण हिमाचल के कई इलाकों में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई है। धर्मशाला में अचानक आई बाढ़ की वजह से होटलों के किनारे खड़े कई वाहन पानी की तेज रफ़्तार के साथ बह गए।
आकाशीय बिजली के कहर ने राजस्थान, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में करीब 57 लोगों की जान ले ली। इनमें से सबसे ज्यादा मौत उत्तरप्रदेश में हुई है। बादल फटने की वजह से हुई भारी बारिश के कारण कई राज्यों में बाढ़ जैसे हालात बन गए। हिमाचल और जम्मू कश्मीर के कई रिहायशी इलाकों के घरों में पानी घुस गया। भारी बारिश को देखते हुए मौसम विभाग ने हिमाचल और जम्मू कश्मीर के लिए अलर्ट भी जारी किया है।
राजस्थान की राजधानी जयपुर के आमेर फोर्ट इलाके में रविवार को आकाशीय बिजली गिरने से 16 लोगों की मौत हो गई। कई लोगों के घायल होने की भी सूचना है। जयपुर के अलावा कोटा में भी 4 और धौलपुर में 3 बच्चों की मौत हो गई। पिछले काफी दिनों से मानसून के रूके होने के बाद रविवार को राजस्थान के कई इलाकों में जमकर बारिश हुई। जोरदार बारिश होने की वजह से कई लोग अपने घरों से बाहर निकल कर सड़कों और पार्कों में घूमने लगे। इस दौरान जयपुर के आमेर फोर्ट इलाके में स्थित वाच टावर पर भी कई लोग सेल्फी लेने और घूमने चले गए। जोरदार बारिश के दौरान वॉच टावर पर दो बार बिजली गिरी। इससे वहां घूमने गए करीब दर्जनों लोग इसकी चपेट में आ गए।
राजस्थान के अलग अलग इलाकों में आकाशीय बिजली गिरने की वजह से हुई मौतों पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दुख जताया। अशोक गहलोत ने दुख व्यक्त करते हुए कहा कि कोटा, धौलपुर, झालावाड़, जयपुर और बारां में आकाशीय बिजली गिरने से हुई जनहानि बेहद दुखद एवं दुर्भाग्यपूर्ण है। प्रभावितों के परिजनों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं, ईश्वर उन्हें सम्बल प्रदान करें। अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि पीड़ित परिवारों को शीघ्र सहायता उपलब्ध कराएं। साथ ही सीएम गहलोत ने मृतकों के परिवार को आपदा प्रबंधन विभाग से 4 लाख रु. व सीएम सहायता कोष से 1 लाख देने की घोषणा की।


मंगलवार की रात और बुधवार की सुबह दिल्ली में अधिक बारिश होने के साथ, शहर का तापमान फिर से सामान्य से नीचे गिर गया और 26 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। शहर में मंगलवार को लंबे इंतजार के बाद मानसून की बारिश हुई और पहले दिन 29 मिमी बारिश हुई। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अधिकारियों के अनुसार, दिन में और बारिश होने की संभावना है, अधिकतम तापमान 34 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने की उम्मीद है। गुरुवार और शनिवार के बीच, हालांकि, केवल हल्की बारिश / बूंदा बांदी की उम्मीद है और रविवार को मध्यम बारिश की संभावना है। अधिकारियों ने कहा कि शनिवार तक फिर से अधिकतम तापमान 36-37 डिग्री सेल्सियस तक पहुंचने की संभावना है।
पहाड़ी राज्य उत्तराखंड में पिछले दो तीन दिनों से लगातार हो रहे बारिश के बाद कई जिलों में प्रशासन की तरफ से ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। मौसम विभाग के अनुसार 14 जुलाई को हरिद्वार, पौड़ी, अल्मोड़ा और नैनीताल में भारी बारिश की संभावना है।
बुधवार को दिल्ली के कई हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश हुई है। मौसम विभाग की तरफ से अगले छह दिनों में दिल्ली में हल्की से मध्यम बारिश होने का अनुमान लगाया है। शहर में मॉनसून सीजन की पहली बारिश मंगलवार को हुई थी जो आम तौर पर 27 जून के आस-पास होनी चाहिए थी लेकिन शहरवासियों को इसके लिए 16 दिनों तक इंतजार करना पड़ा।
मौसम विभाग (IMD) ने दिल्ली-एनसीआर में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के मुताबिक दिल्ली और एनसीआर के लोनी देहात, हिंडन एएफ स्टेशन, गाजियाबाद, इंदिरापुरम, छपरौला में भारी बारिश होने की संभावना है।
मौसम विभाग ने कहा कि अगले 24 घंटों में गोआ, महाराष्ट्र, कच्छ, में भारी बारिश हो सकती है। इसके अलावा मौसम की मार झेल रहे हिमाचल प्रदेश को भी अभी कोई राहत मिलती नहीं दिख रही है। मौसम विभाग के मुताबिक हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात में भारी से बहुत भारी बारिश हो सकती है। वहीं राजस्थान, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़, हरियाणा में बारी बारिश का अनुमान लगाया गया है।
हिमाचल प्रदेश में बारिश का कहर जारी है। यहां शिमला से लेकर मनाली तक कई जगहों पर बारिश से बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए। इस बीच कांगड़ा के जिला आयुक्त निपुण जिंदल ने बताया कि बोह घाटी से कल रात तक 4 शव बरामद किए गए। इसी के साथ अब तक कुल 5 शव बरामद किए जा चुके हैं। 5-6 लोग अभी भी लापता बताए गए हैं।
IMD ने एक बयान में कहा कि दक्षिण-पश्चिम मानसून दिल्ली सहित देश के शेष हिस्सों, उत्तरप्रदेश के शेष हिस्सों, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में आगे बढ़ गया है। इस तरह दक्षिण-पश्चिम मानसून 8 जुलाई की सामान्य तिथि के मुकाबले 13 जुलाई को पूरे देश में छा गया है। आने वाले दिनों में यूपी, उत्तराखंड समेत पांच राज्यों में भारी बारिश की संभावना जताई गई है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कहा है कि इस बार राजधानी में मानसून के आगे बढ़ने की भविष्यवाणी करने में संख्यात्मक मॉडल की विफलता "दुर्लभ और असामान्य" है। मौसम विभाग ने कहा कि उसके नवीनतम मॉडल विश्लेषण के बावजूद दिल्ली में महत्वपूर्ण वर्षा नहीं हुई, भले ही दिल्ली के आसपास के पड़ोसी स्थानों पर वर्षा हुई थी। दिल्ली में मानसून के आगे बढ़ने की भविष्यवाणी में संख्यात्मक मॉडल की इस तरह की विफलता दुर्लभ और असामान्य है।’’
केरल के कई हिस्सों में दक्षिणी पश्चिम मानसून के प्रभाव की वजह से बारिश हुई। मौसम वैज्ञानिकों ने पर्वतीय इडुक्की जिले के लिए ऑरेंज अलर्ट (भारी वर्षा) और बाकी 11 जिलों के लिए येलो अलर्ट (मध्यम वर्षा) जारी किये हैं। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कोट्टायम, पथनमथिट्टा, कोल्लम, एर्नाकूलम, त्रिशूर, पलक्कड़, मलाप्पुरम, कोझिकोड, वायनाड, कन्नूर और कासरगोड ज़िलों के लिए मंगलवार को येलो अलर्ट जारी किये।
दिल्ली में मॉनसून ने दस्तक दी। अमूनन जून में दिल्ली पहुंचने वाले मॉनसून ने इस बार लोगों को जुलाई तक इंतजार कराया। हालांकि ऐसा पहली बार नहीं हुआ है, मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के मुताबिक, बीते 62 सालों में कम से कम 33 बार मॉनसून की पहली बारिश जुलाई के महीने में हुई है।
मौसम विभाग ने 13 जून को पूर्वानुमान जताया था कि मानसून अपनी सामान्य तिथि से लगभग दो सप्ताह पहले आएगा। हालांकि, वास्तव में, मानसून अपनी सामान्य तिथि के लगभग दो सप्ताह बाद दिल्ली पहुंचा।
मंगलवार को मॉनसून आखिरकार राष्ट्रीय राजधानी पहुंचा। सफदरजंग वेधशाला ने आज सुबह 8:30 से शाम 5:30 बजे के बीच 28.1 मिलीमीटर बारिश दर्ज की। कुल मिलाकर, दिल्ली में अब तक सामान्य से 65 प्रतिशत कम बारिश हुई है, जिससे यह "वर्षा की बड़ी कमी" वाले राज्यों की श्रेणी में आ गया है।
भारी बारिश के कारण जलभराव से दिल्लीवासियों को सड़कों पर आने-जाने में कठिनाई का सामना करना पड़ा। यातायात जाम से कई व्यस्त सड़कों पर वाहनों की कतार लग गई।
पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, जम्मू-कश्मीर और राजस्थान के कुछ हिस्सों में बारिश हुई है। हिमाचल प्रदेश में, कांगड़ा जिले की बोह घाटी में भूस्खलन के बाद बचाव अभियान जारी है, जिसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई और नौ अन्य के अभी मलबे के नीचे फंसे होने की आशंका है। एक अधिकारी ने मंगलवार को कहा कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की एक टीम ने सोमवार को चार लोगों को बचाया और अन्य लोगों को मलबे से बाहर निकालने का प्रयास किया जा रहा है।
इस साल, मॉनसून 12 जुलाई को दिल्ली से पहले राजस्थान के जैसलमेर और गंगानगर के अपने आखिरी पड़ावों पर पहुंचा। आमतौर पर, मॉनसून दिल्ली में आने के लगभग नौ दिन बाद 8 जुलाई को इन दोनों जिलों में पहुंचता है। दिल्ली का मॉनसून का इंतजार आज इसके कुछ हिस्सों में बारिश के बाद खत्म हो गया। मौसम अधिकारियों का कहना है कि इसकी शुरुआत निर्धारित समय से दो सप्ताह की देरी से हुई है, जिससे यह 19 वर्षों में सबसे अधिक विलंबित हो गया है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने एक बयान में कहा, ‘‘दक्षिण-पश्चिम मानसून दिल्ली सहित देश के शेष हिस्सों, उत्तर प्रदेश के शेष हिस्सों, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में आगे बढ़ गया है। इस तरह दक्षिण-पश्चिम मानसून आठ जुलाई की सामान्य तिथि के मुकाबले 13 जुलाई को पूरे देश में छा गया है।’’ विभाग ने 13 जून को पूर्वानुमान जताया था कि मानसून अपनी सामान्य तिथि से लगभग दो सप्ताह पहले आएगा। हालांकि, वास्तव में, मानसून अपनी सामान्य तिथि के लगभग दो सप्ताह बाद दिल्ली पहुंचा।
दक्षिण पश्चिम मानसून मंगलवार को अपने सामान्य समय से पांच दिन की देरी से पूरे राजस्थान में पहुंच गया। राज्य में बारिश का दौर अभी जारी रहने का अनुमान है। मौसम विभाग के एक अधिकारी ने इसकी जानकारी दी। मौसम केंद्र जयपुर के प्रवक्ता ने बताया कि दक्षिण पश्चिम मानसून आज बुधवार को (औसत से 5 दिन की देरी से) राजस्थान के सभी स्थानों पर पहुंच गया। उन्होंने बताया कि राज्य में पिछले 24 घंटों में सर्वाधिक बरसात 83.0 मिमी. जोधपुर के बाप में दर्ज की गयी है।
राष्ट्रीय राजधानी में मानसून के आगमन के साथ दिल्ली के लोक निर्माण मंत्री सत्येंद्र जैन ने मंगलवार को अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि बारिश के मौसम में सड़कों पर जलभराव न हो। उन्होंने कहा कि जलभराव की समस्या से निपटने के लिए लोक निर्माण विभाग ने व्यापक इंतजाम किए हैं।
दिल्ली की सीमाओं पर डेरा डाले प्रदर्शनकारी किसान मॉनसून के लिए तैयारी में व्यस्त हैं। प्रदर्शनकारी किसान अपने ‘टेंट’ की छतों को वर्षा के मौसम को ध्यान में रखते हुए तैयार कर रहे हैं, बैटरी चालित प्रकाश और जलजमाव से निटपने के लिए भी इंतजाम कर रहे हैं।
आईएमडी ने कहा है कि पिछले चार दिन से बंगाल की खाड़ी से नमी वाली पुरवाई हवाओं के चलने से बादलों का दायरा बढ़ गया और कई स्थानों पर बारिश हुई। दक्षिण पश्चिम मॉनसून आगे बढ़ गया है और दिल्ली, उत्तर प्रदेश के बाकी स्थानों, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान समेत देश के बाकी बचे हिस्सों में दस्तक दे चुका है।
इस बार मॉनसून दिल्ली में सबसे अंत में आया है। सोमवार को मॉनसून दिल्ली को तरसता छोड़कर अपने आखिरी पड़ाव राजस्थान के जैसलमेर और गंगानगर जिलों तक पहुंच गया था। राजस्थान के ही रेगिस्तानी जिले बाड़मेर में मॉनसून सामान्य तारीख से करीब दो हफ्ते पहले ही पहुंच गया था।
दिल्ली में मंगलवार को अच्छी बारिश हुई। शहर के कई जगहों पर जल जमाव भी देखने को मिला। साउथ दिल्ली के सोम विहार इलाके में भी बारिश की वजह से सड़कों पर पानी भर गया। यहां स्थानीय बच्चे सड़कों पर आ कर पानी में खेलते हुए नजर आएं।
भारी बारिश की वजह से हिमाचल में दो लोगों की मौत हो गई और 10 लोग लापता हो गए। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पिछले दो दिन से हो रही बारिश की वजह से धर्मशाला में काफी नुकसान हुआ है। इसी वजह से प्रदेश में 2 लोगों की मृत्यु भी हुई है और कांगड़ा में 10 लोग लापता है जिनकी तलाश जारी है। जैसे ही हालात सुधरते हैं, मैं धर्मशाला जाकर स्थिति का जायजा लूंगा।
एनडीआरएफ के डीआईजी ने कहा कि पिछले दो दिन में भारी बारिश और बादल फटने से फ्लैश फ्लड और भूस्खलन की घटनाए हुई हैं, विशेषकर हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा ज़िले में। एनडीआरएफ की चार टीमें तैनात की गई हैं, सैकड़ों लोगों को बचाया गया है।
आईएमडी के अनुसार मध्य दिल्ली अब देश में बारिश की सबसे अधिक कमी वाला जिला है, जहां अमूमन एक जून से मानसून का मौसम शुरू हो जाता है। लेकिन वर्तमान में यहां सामान्य 132 मिमी के मुकाबले केवल 8.5 मिमी बारिश हुई है जो 94 प्रतिशत कम है। दिल्ली में अब तक सामान्य से 67 प्रतिशत कम बारिश हुई है, जिससे यह ‘‘बारिश की बहुत अधिक कमी’’ वाले राज्यों की श्रेणी में आ गया है। आईएमडी ने कहा कि वह देश के बाकी हिस्सों में मानसून की प्रगति पर लगातार नजर रख रहा है।
मौसम की जानकारी देने वाली निजी एजेंसी स्काईमेट वेदर के महेश पालावत ने बताया कि दिल्ली में मानसून अभी कमजोर रहेगा और अगले तीन दिनों में शहर में हल्की-फुल्की बारिश होगी। उन्होंने कहा कि हिमालय की तलहटी में बनने वाला मानसून का दबाव क्षेत्र गुजरात और बंगाल की खाड़ी में कम दबाव प्रणाली बनने से अब देश के मध्य भाग की ओर बढ़ गया है। उन्होंने बताया, ‘‘दो-तीन दिनों में कम दबाव प्रणाली के खत्म होने के बाद मानसून का दबाव क्षेत्र फिर उत्तर की ओर बढ़ जाएगा जिससे क्षेत्र में बारिश बढ़ेगी।’’
दक्षिण पश्चिम मानसून आखिरकार मंगलवार सुबह दिल्ली पहुंच गया जिससे लोगों को भीषण गर्मी से थोड़ी राहत मिली। मौसम विभाग के अधिकारियों ने कहा कि मानसून अपने सामान्य समय से 16 दिन की देरी से दिल्ली पहुंचा है। बीते 19 वर्षों में मानसून के आगमन में यह सबसे अधिक विलंब है। 2002 में मानसून 19 जुलाई को दिल्ली पहुंचा था।
हरियाणा के यमुनानगर में बारिश के कारण एक नाली टूट गई। जिसकी वजह से नाली का पानी तेज धार के खेतों और गांवों में आने लगा। तेज बहाव के कारण कई इलाकों में बाढ़ जैसे हालत बन गए और खेतों में लगी फसल डूब गई।
हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में बारिश की वजह से कई दुकानें और मकान क्षतिग्रस्त हुए। PWD के एक्जीक्यूटिव इंजीनियर सुशील धडवाल ने जानकारी देते हुए कहा कि हमने चैत्रु रोड की स्थिति का जायजा लिया। यहां पर सबसे ज़्यादा नुकसान हुआ है। ट्रैफिक के लिए सभी सड़कों को हमने खोल दिया है। साथ ही उन्होंने कहा कि यहां सबसे ज़्यादा नुकसान हुआ है क्योंकि यहां की नदी सड़क की तरफ आ गई है और नदी ने ब्रिज के एक हिस्से को भी नुकसान पहुंचाया है। बहाली का काम जारी है।
मौसम विभाग ने दिल्ली, एनसीआर, बहादुरगढ़, गुरुग्राम, मानेसर, फरीदाबाद, गाजियाबाद, नोएडा के आसपास के क्षेत्रों में बारिश के साथ हल्के तूफान आने की भी संभावना जताई है। इस दौरान करीब 40 किमी/ घंटा की रफ़्तार से हवाएं चल सकती है।
हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में भारी बारिश के कारण अचानक आई बाढ़ में कई कारें और दो इमारतें बह गईं। इस घटना के वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। वहीं खराब मौसम के कारण गग्गल में कांगड़ा हवाई अड्डे को बंद करना पड़ा। इस इलाके में अचानक आई बाढ़ ने कई इमारतों को क्षतिग्रस्त कर दिया, जिसमें एक सरकारी स्कूल भी शामिल है। जिला प्रशासन ने भारी बारिश के मद्देनजर पर्यटकों को अपनी यात्रा स्थगित करने का निर्देश दिया। बारिश के कारण मंडी-पठानकोट राजमार्ग पर यातायात भी बाधित हो गया।
मौसम विभाग के अनुसार अगले 2 घंटे में दिल्ली- एनसीआर के आसपास के इलाके राजौंद, सफीदों, नरवाना, करनाल, कोसली, बल्लभगढ़ (हरियाणा), भिवाड़ी (राजस्थान) में हल्की बारिश या बूंदा बांदी हो सकती है।
अगले 24 घंटों के दौरान, पश्चिमी हिमालय, उत्तरी पंजाब के कुछ हिस्सों, तटीय आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, मराठवाड़ा, मध्य महाराष्ट्र, कोंकण और गोवा, तटीय कर्नाटक, उत्तरी आंतरिक कर्नाटक और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के कुछ हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश के साथ कुछ स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है।
अब एक बार फिर से विभाग ने मंगलवार को बारिश होने की संभावना जताई है। सोमवार को अधिकतम तापमान 37.7 डिग्री सेल्सियय, न्यूनतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। मंगलवार को तापमान 33 डिग्री के आसपास रहने की संभावना है।
दक्षिण पश्चिम मानसून राजस्थान, पंजाब, उत्तर प्रदेश के कुछ इलाकों में सोमवार को बढ़ा है। दक्षिण पश्चिम मानसून जैसलमेर, नागौर, भरतपुर, अलीगढ़, करनाल और गंगानगर से गुजर रहा है। विभाग लगातार मानसून की गतिविधि पर नजर रखे हुए हैं। दिल्ली के लिए भी स्थितियां अनुकूल बनी हुई हैं।
दिल्ली एनसीआर में मानसून की स्थितियां अनुकूल हैं, लेकिन फिर भी बारिश नहीं हो रही है। आसमान में बादल आते हैं लेकिन बिना बरसे ही चले जाते हैं। ऐसे में दिल्लीवासियों के लिए मानसून का इंतजार लंबा होता जा रहा है।