कांग्रेस नेता मणिशंकर अय्यर आज दिल्ली में शाहीन बाग इलाके में संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ जारी विरोध प्रदर्शन को अपना समर्थन देने पहुंचे। इस दौरान जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कुछ ऐसा कह दिया, जिस पर विवाद हो सकता है।
दरअसल उन्होंने कहा कि “मैं जो कर सकता हूं वो मैं करने के लिए तैयार हूं। मैं ये वादा करता हूं। जो भी कुर्बानियां देनी हैं, उसमें मैं भी शामिल होने के लिए तैयार हूं। अब देखें कि किसका हाथ मजबूत है, हमारा या उस कातिल का?”
बता दें कि मणिशंकर अय्यर इससे पहले भी कई बार ऐसे बयान दे चुके हैं, जिन पर विवाद हुआ है। साल 2017 में मणिशंकर अय्यर ने पीएम मोदी को ‘नीच किस्म’ का व्यक्ति कह दिया था। मणिशंकर अय्यर के इस बयान पर खूब हंगामा हुआ था और आखिरकार उन्हें अपने इस बयान के लिए माफी मांगनी पड़ी थी। इसके अलावा एक अन्य बयान में मणिशंकर अय्यर ने कहा था कि ‘कश्मीरी युवक हथियार उठाकर गलत नहीं करते, भाजपा के लोग उन्हें मजबूर करते हैं।’
वहीं शाहीन बाग इलाके में CAA के खिलाफ विरोध प्रदर्शन जारी हैं। विपक्षी पार्टियों से भी उन्हें समर्थन मिल रहा है। रविवार को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर भी शाहीन बाग इलाके में सीएए के खिलाफ जारी प्रदर्शन को अपना समर्थन देने पहुंचे थे।
इस दौरान शशि थरूर ने कहा था कि ‘जामिया को संघर्ष करना चाहिए, अगर पैसे की जरूरत है, तो मैं जामिया को बचाने के लिए भीख मांगने के लिए बाहर जाऊंगा।’
#WATCH Congress leader Mani Shankar Aiyar at the protest against #CAA & #NRC, in Delhi’s Shaheen Bagh: Jo bhi qurbaniyan deni hon, usme main bhi shaamil hone ke liye tayaar hun. Ab dekhein ki kiska hath mazboot hai, hamara ya uss kaatil ka? pic.twitter.com/ojV4QU9dMs
— ANI (@ANI) January 14, 2020
संशोधित नागरिकता कानून के तहत सरकार दिसंबर, 2014 से पहले पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आने वाले प्रताड़ित हिंदुओं, सिखों, जैन, बौद्ध, ईसाई, पारसी समुदाय के लोगों को नागरिकता देगी। इस कानून में मुस्लिमों को बाहर रखा गया है, जिसके खिलाफ लोगों में नाराजगी है। इसी वजह से सीएए का भारत में विरोध हो रहा है।