हाल ही में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्री ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का एक वीडियो अपने आधिकारी ट्विटर हैंडल से शेयर किया था। इस वीडियो को लेकर कहा जा रहा था कि एक टीवी इंटरव्यू में दिल्ली के सीएम ने कृषि कानूनों का समर्थन किया था। अब आम आदमी पार्टी ने दावा किया है कि जो वीडियो संबित पात्रा ने ट्विटर पर शेयर किया है वो वीडियो ‘डोक्टर्ड वीडियो’ है।

दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस वीडियो पर अपनी प्रतिक्रिया रखी। मनीष सिसोदिया ने कहा कि ‘दरअसल यह वीडियो अरविंद केजरीवाल के एक टीवी इंटरव्यू का एडिटेड पार्ट है। जिसमें कहीं-कहीं से कोई शब्द या लाइन उठा कर जोड़ा गया है और फिर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने एक फर्जी स्टोरी जोड़ने की कोशिश की है। दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की फर्जी बाइट जोड़ने की कोशिश भारतीय जनता पार्टी ने की है।’

आप नेता एवं दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने रविवार को कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का कथित तौर पर छेड़छाड़ किया हुआ वीडियो सोशल मीडिया पर डालने को लेकर भाजपा के विरूद्ध उनकी पार्टी कानूनी कार्रवाई करेगी।

मनीष सिसोदिया ने इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस वीडियो को दोबारा मीडिया के सामने चलवाया जिसमें अरविंद केजरीवाल एक इंटरव्यू में मौजूद हैं। इसके बाद दिल्ली के डिप्टी सीएम ने अरविंद केजरीवाल का ऑरिजनल टीवी इंटरव्यू भी मीडिया को दिखाया। मनीष सिसोदिया ने कहा कि ‘डोक्टर्ड वीडियो’ को देखने के बाद उन्हें काफी गुस्सा भी आया। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से यह ओछी हरकत की गई है और अरविंद केजरीवाल की बाइट को तोड़-मोड़ कर दिखाने की कोशिश की गई है।

बीजेपी पर हमला करते हुए डिप्टी सीएम ने कहा कि ‘जिस पार्टी की केंद्र में और कई राज्यों में सरकार है, जिस बीजेपी पार्टी के नेता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं वो पार्टी इतनी लाचार है कि कृषि कानूनों को लेकर विश्वसनीयता दिखाने के लिए उसे अरविंद केजरीवाल की बाइट को तोड़ने-मोड़ने की कोशिश करनी पड़ी।

बीजेपी किसानों को यह नहीं समझा पाई है कि इस कानून से उन्हें क्या फायदा हुआ। पहले किसानों को गद्दार घोषित करने की कोशिश की गई। लेकिन जनता ने उनकी बात नहीं मानी। इसके बाद 26 जनवरी की साजिश बीजेपी ने रची, लाल किले पर पार्टी ने हमला कराया, गणतंत्र दिवस की गरिमा को भी बीजेपी ने ठेस पहुंचाया और इसका ठीकरा किसानों पर फोड़ने की कोशिश की गई।’