कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए एनसीपी ने स्टार कैंपेनर्स की लिस्ट जारी कर दी है। इस लिस्ट में महाराष्ट्र के पूर्व डिप्टी सीएम और पार्टी के दिग्गज नेता व शरद पवार के भतीजे अजित पवार का नाम शामिल नहीं है। एनसीपी की स्टार प्रचारकों की लिस्ट में सबसे ऊपर पार्टी अध्यक्ष शरद पवार का नाम है। इसके बाद इस लिस्ट में प्रफूल्ल पटेल, मोहम्मद फैजल, सुप्रिया सुले, फौजिया खान, धीरज शर्मा, सोनिया धून, सिराज मेहंदी, शिवाजीराव गरजे, आर हरी, प्रदीप कुमार, उमा महेश्वरी रेड्डी, रामभाऊ जाधव, ब्रज मोहन श्रीवास्तव और क्लाइड क्रैस्टो का नाम शामिल है।
एनसीपी कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए अजित पवार
इससे पहले अजित पवार शुक्रवार को मुंबई में पार्टी की एक कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए। इसके बादसे उनको लेकर चल रही अटकलों ने और ज्यादा जोर पकड़ लिया। पुणे में पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि वह NCP के अधिवेशन में शामिल होने में असमर्थ रहे क्योंकि उन्हें उसी समय होने वाले कुछ अन्य कार्यक्रमों में उपस्थित रहना था। उन्होंने कहा कि इस मामले में ज्यादा कयास नहीं लगाए जाने चाहिए।
मुंबई में हुए एनसीपी के कार्यक्रम में प्रफुल्ल पटेल कहा कि मुंबई और ठाणे क्षेत्र में 60 विधानसभा सीटें हैं। अगर NCP को राज्य में नंबर एक पार्टी बनना है तो उसे इस क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन करना होगा। 2019 के राज्य चुनावों में NCP ने 288 सदस्यों वाली विधानसभा में 54 सीटें जीती थीं। आव्हाड ने कहा कि अगर निकाय चुनाव शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में गठबंधन में लड़े जाते हैं तो पार्टी अच्छा प्रदर्शन कर सकती है।
आपको बता दें कि पिछले साल महा विकास अघाडी की सरकार शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे की बगावत के बाद गिर गई थी। एकनाथ शिंदे इसके बाद राज्य के मुख्यमंत्री बने। उन्होंने बीजेपी के साथ सरकार बनाई। अब महाराष्ट्र के राजनीतिक गलियारों में सत्ताधारी बीजेपी से अजित पवार की बढ़ती नजदीकियों को लेकर कयासों का दौर तेज हो गया है।
शुक्रवार को मुंबई के कार्यक्रम में NCP प्रवक्ता क्लाइड क्रैस्टो ने कहा कि पार्टी के मुंबई कार्यक्रम की योजना एक महीने पहले बनाई गई थी। उन्होंने कहा कि अजित दादा लगातार बिजी हैं। उन्होंने पुणे के कई कार्यक्रमों के निमंत्रण स्वीकार किया हुआ है। इसी वजह से उन्होंने एनसीपी मीटिंग में आने में असमर्थता जताई है। सिर्फ इसलिए कि कोई नेता यहां नहीं आया है, यह नहीं माना जाना चाहिए कि वो पार्टी छोड़ने का मन बना रहे हैं।