Lok Sabha Election 2019: पीएम नरेन्द्र मोदी की बायोपिक शुरू से ही सुर्खियों में है। ऐसे में एक बार फिर बायोपिक सुर्खियों में है और इस बार वजह से इलेक्शन कमीशन का नोटिस। दरअसल चुनाव के पहले ये फिल्म रिलीज होना आचार संहिता का उल्लंघन माना जा रहा है। ऐसे में इसकी रिलीजिंग डेट को बदलने के लिए नोटिस भेजा गया है। दिल्ली के मुख्य निर्वाचन कार्यालय ने बताया कि पीएम नरेन्द मोदी की बायोपिक के निर्माताओं के जवाब का इंतजार किया जा रहा है।
इलेक्शन कमीशन के अधिकारी का क्या है कहना: पूर्वी दिल्ली के निर्वाचन अधिकारी के महेश ने कहा- पीएम नरेन्द्र मोदी के विज्ञापन प्रकाशन के लिए प्रोडक्शन हाउस, म्यूजिक कंपनी और दो समाचार पत्रों को 20 मार्च को स्वत: नोटिस जारी किए गए थे।
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30 मार्च तक का दिया है वक्त: बता दें कि फिल्म के विज्ञापन प्रकाशन को आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन के रूप में देखा जा रहा है। इस बारे में दिल्ली के मुख्य निर्वाचन अधिकारी रणबीर सिंह ने कहा कि संबंधित पक्षों को जवाब देने के लिए 30 मार्च तक का वक्त दिया गया है।
बदली गई फिल्म की रिलीजिंग डेट: बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बायोपिक कि रिलीजिंग डेट पहले 12 अप्रैल थी। लेकिन बाद में इसे पहले की तारीख में बदल कर 5 अप्रैल कर दिया गया। बता दें कि फिल्म का निर्देशन राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता उमगं कुमार कर रहे हैं। वहीं फिल्म में पीएम मोदी का किरदार विवेक ओबेरॉय निभा रहे हैं।
सोमवार को कांग्रेस ने की थी चुनाव आयोग से बातचीत: बता दें कि सोमवार (25 मार्च) को कांग्रेस की ओर से चुनाव आयोग के पास यह बात गई थी कि इस फिल्म से भाजपा को फायदा हो सकता है। इसके साथ ही यह फिल्म आचार संहिता का उल्लंघन भी करती है। कांग्रेस की ओर से कपिल सिब्बल, अभिषेक मनु सिंघवी, आरपीएन सिंह और रणदीप सिंह सुरजेवाला ने फिल्म की रिलीजिंग डेट बदलने की बात कही थी। वहीं सिब्बल ने मीडिया से बात करते हुए कहा था कि फिल्म को सिर्फ राजनीतिक फायदे के लिए बनाया गया है और चुनाव के पहले रिलीज कर इससे जनता को बहकाने की कोशिश की जाएगी। वहीं आरोप लगाते हुए सिब्बल ने कहा कि फिल्म के तीन प्रोड्यूसर भाजपा के हैं जबकि विवेक भी पार्टी से नाता रखते हैं।