भारतीय रेल ने किराए में बढ़ोतरी पर यात्रियों के दबाव का सामना करने के बाद मेल और एक्सप्रेस ट्रेनों के लिए ‘स्पेशल’ टैग हटाने और कोरोना वायरस महामारी से पहले के किराए पर तत्काल प्रभाव से लौटने का एक आदेश जारी किया है। शुक्रवार (12 नवंबर, 2021) को रेलवे के इस आदेश के मुताबिक, मौजूदा किराए में 30 फीसदी तक की कटौती की जाएगी, जिसके तहत दिल्ली से बिहार की राजधानी पटना तक का किराया 630 रुपए तक कम हो जाएगा।
किराए में आने वाली कमी से टिकट कितने रुपए तक सस्ता होगा? यह समझने के लिए हम वैशाली एक्सप्रेस को ले लेते हैं। इस गाड़ी का स्लीपर, थर्ड एसी और सेकेंड एसी का मौजूदा किराया क्रमशः 540, 1420 और 2020 रुपए है, जबकि नई व्यवस्था में यही किराया क्रमशः 515, 1350 और 1950 रुपए हो जाएगा। इसी तरह मिथिला और पूर्वांचल एक्सप्रेस की बात करें तो उसमें स्लीपर, थर्ड एसी और सेकेंड एसी के लिए अभी यात्रियों को क्रमशः 425, 1160 और 1645 रुपए देने होते हैं, मगर कटौती के बाद यह रेट क्रमशः 330, 895 और 1280 हो जाएगा।
रेलवे बोर्ड ने जोनल रेलवे को लिखे पत्र में कहा कि ट्रेनें अब अपने नियमित नंबर के साथ परिचालित की जाएंगी और किराया कोविड पूर्व दर जैसा सामान्य हो जाएगा। आदेश के अनुसार, ‘‘कोरोना के मद्देनजर सभी नियमित मेल/एक्सप्रेस ट्रेनें एमएसपीसी (मेल/एक्सप्रेस स्पेशल) और एचएसपी (होलीडे स्पेशल) के रूप में चलाई जा रही है। अब यह फैसला किया गया है कि वर्किंग टाइम टेबल, 2021 में शामिल सहित एमएसपीसी और एचएसपी ट्रेन सेवाएं नियमित नंबर के साथ परिचालित की जाएगी और किराया दिशानिर्देशों के मुताबिक, यात्रा के लिए संबद्ध वर्ग व ट्रेन के प्रकार पर आधारित होगा।
आदेश में कहा गया है कि यह रेलवे बोर्ड के यात्री विपणन निदेशालय के सहयोग से जारी किया गया है। हालांकि, आदेश में यह नहीं बताया गया है कि जोनल रेलवे को कोविड पूर्व अपनी सेवाएं कब बहाल करने की जरूरत है। समाचार एजेंसी पीटीआई भाषा से एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘‘जोनल रेलवे को निर्देश जारी किया गया है। हालांकि, तत्काल प्रभाव से जारी आदेश की तामील में एक या दो दिन लग सकता है।’’
आगे एक अन्य अधिकारी ने कहा, ‘‘अगले कुछ दिनों में 1,700 से अधिक ट्रेनें बहाल की जाएंगी। ट्रेन नंबर का पहला अंक शून्य (जीरो) नहीं होगा जैसा कि स्पेशल ट्रेनों के मामले में था।’’ वैसे, अधिकारियों ने कहा कि कोविड-19 महामारी के मद्देनजर लगाये गये प्रतिबंध प्रभावी रहेंगे, जैसे कि रियायत, बेड रोल (बिस्तर) और भोजन सेवाएं आदि पर पर अस्थायी प्रतिबंध जारी रहेगा।
बता दें कि जब से कोरोना की वजह से लगे लॉकडाउन में ढील दी गई थी, रेलवे केवल विशेष ट्रेनें चला रहा है। इसकी शुरुआत लंबी दूरी की ट्रेनों से हुई थी और अब, यहां तक कि कम दूरी की यात्री सेवाओं को “थोड़ा अधिक किराए” वाली विशेष ट्रेनों के रूप में चलाया जा रहा है, ताकि “लोगों को परिहार्य यात्रा से हतोत्साहित” किया जा सके। विशष ट्रेनों के परिचालन और किराए में रियायत नहीं देने से रेलवे के राजस्व में भी काफी बढ़ोतरी देखी गई है। रेलवे ने यात्री मद से 2021-2022 की दूसरी तिमाही के दौरान पहली तिमाही की तुलना में 113 प्रतिशत वृद्धि दर्ज की है।
इसी बीच, 16 से 24 नवंबर तक के लिए 11 गाड़ियों के रूट बदल दिए गए हैं। पूर्वोत्तर रेलवे के लखनऊ मंडल में दोहरीकरण संबंधी काम को लेकर यह फैसला लिया गया है। इनमें 05621 कामाख्या-आनंद विहार टर्मिनस स्पेशल (18 नवंबर को), 04698 जम्मूतवी-बरौनी स्पेशल (19 नवंबर), 05655 कामाख्या-श्रीमाता वैष्णो देवी कटरा स्पेशल (21 नवंबर) और 05212 अमृतसर-दरभंगा स्पेशल (20 व 22 नवंबर) आदि रोजा-लखनऊ-बुढ़वल के रास्ते चलेंगी।