नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा के साथ अलग-अलग शहरों में गरबा भी हो रहा है। इस बीच गुजरात के अहमदाबाद और मध्यप्रदेश के इंदौर से गरबा पंडालों में मुस्लिम लड़कों के घुसने पर बवाल हो गया। इसी विषय पर हो रही एक टीवी डिबेट के दौरान एक पैनलिस्ट में मुस्लिम में स्कॉलर अतीक उर रहमान से पूछा कि क्या वह मस्जिद में गायत्री मंत्र पढ़ सकती हैं? अतीक उर रहमान ने उसका जवाब दिया।

सुजाता पांडे ने इस्लामिक स्कॉलर से पूछे ऐसे सवाल

राजनीतिक विश्लेषक सुजाता पांडे ने अतीक उर रहमान से पूछा कि अगर पंडालों में कुछ लोग बहू – बेटियों के साथ छेड़खानी करते हैं तो उसे धर्म के चश्मे से ना देख कर राइट टू रिजर्व नहीं कर देना चाहिए? इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अगर गरबा से इतना प्रेम है तो माता की चौकी रख लीजिए। अगर किसी संगठन का प्रोग्राम है तो उनके अपने नियम होंगे। इसमें इतना बवाल क्यों हो रहा है? इस दौरान उन्होंने यह भी पूछा कि अगर वह मस्जिद में जाकर गायत्री मंत्र पढ़ना चाहेंगे तो उन्हें इजाजत दी जाएगी?

अतीक उर रहमान ने दिए ऐसे जवाब

इसके जवाब में इस्लामिक स्कॉलर ने कहा, ‘सुरक्षा के मुद्दे पर मैं आप से बिल्कुल सहमत हूं लेकिन मुंबई में मुस्लिम गुजराती गरबा को धार्मिक त्योहार के चश्मे से नहीं देखते हैं। इसे सांस्कृतिक त्यौहार के तौर पर मनाते हैं। क्या वहां पर भी बजरंग दल वालों को आपत्ति होगी?’

राजनीतिक विश्लेषक ने पूछा – गलत एंगल से फोटो खींचना सही है क्या?

इस डिबेट के दौरान राजनीतिक विश्लेषक सुजाता पांडे ने अतीक उर रहमान से सवाल किया कि गरबे में महिलाओं की गलत एंगल से तस्वीर लेने वाले भी सही हैं क्या? अतीक उर रहमान ने इसके जवाब में कहा कि यह बिल्कुल गलत है। ये कहीं भी नहीं होना चाहिए। अगर शांति से किया जा रहा है तो उसमें लोगों को आपत्ति नहीं होनी चाहिए।

इंदौर और अहमदाबाद में हुआ था हंगामा

गरबा में पहचान छुपाकर घुसने को लेकर इंदौर और अहमदाबाद में जमकर हंगामा हुआ था। इंदौर में बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने सात मुस्लिम युवकों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया था तो वहीं दूसरी तरफ अहमदाबाद में पहचान छुपाकर गरबा में घुसे दो मुस्लिम युवकों को बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने पीट दिया था। वहीं इन विषयों पर भाजपा सांसद साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने कहां है कि कोई भी गरबा पंडाल में जाते हैं तो उनका पहचान पत्र देखा जाए। मुस्लिम समुदाय के लोगों को बाहर जाने ना दिया जाए।