लगातार दूसरी बार तमिलनाडु की सीएम बनने के बाद जयललिता ने पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। सबसे पहले वे तमिलनाडु भवन गईं जहां उन्‍हें पुलिस ने गार्ड ऑफ ऑनर दिया। तमिलनाडु पुलिस का दिल्‍ली में उनको गार्ड ऑफ ऑनर देना दिलचस्‍प बात है। दरअसल ऐसा होता नहीं है कि किसी मुख्यमंत्री को उस राज्‍य की पुलिस दूसरी जगह पर बिना किसी कार्यक्रम के गार्ड ऑफ ऑनर दें। लेकिन जयललिता इस तरह के कार्यक्रमों के लिए मशहूर हैं। सबको पता है कि तमिलनाडु में किस कदर लोग उनके सम्‍मान में लेट जाते हैं।

जयललिता की दिल्‍ली यात्रा एक कुर्सी को लेकर भी चर्चित हैं। उनकी इस यात्रा के लिए एक अलग कुर्सी होती है जिसे दिल्‍ली में वे जहां भी जाती है वहां ले जाया जाता है। पिछली बार जब वे नरेंद्र मोदी से मुलाकात करने दिल्‍ली पहुंची थीं, तब एक स्‍पेशल कुर्सी नॉर्थ ब्‍लॉक पहुंची। वे अरुण जेटली, राष्‍ट्रपति प्रणब मुखर्जी से मिलने के दौरान भी इसी स्‍पेशल कुर्सी पर बैठी नजर आई थीं। ये कुर्सी तमिलनाडु भवन में रखी रहती है। जानकारी के अनुसार यह कुर्सी सागौन की लकड़ी की बनी है। गठिया की बीमारी के चलते जयललिता इसी पर बैठती हैं। हालांकि इसी कुर्सी पर बैठने के पीछे ज्‍योतिष को भी कारण माना जाता है।

Jayalalithaa, Tamil Nadu Chief Minister, Tamil Nadu CM, Narendra Modi, Prime Minister Narendra Modi, amma canteen, jayalalithaa modi meeting, GST bill, jayalalithaa in delhi, tamilnadu package
जयललिता की दिल्‍ली यात्रा एक कुर्सी को लेकर भी चर्चित हैं। उनकी इस यात्रा के लिए एक अलग कुर्सी होती है जिसे दिल्‍ली में वे जहां भी जाती है वहां ले जाया जाता है।

जयललिता ज्‍योतिष में भी काफी विश्वास रखती हैं। इसीलिए उन्होंने अपने नाम की अंग्रेजी स्‍पेलिंग में एक अतिरिक्‍त ए जुड़वाया था। साथ ही ज्‍योतिष के चलते ही वह साड़ी, पेन और बाकी चीजें हरे रंग की ही यूज करती हैं। कहा जाता है कि ये रंग उनके लिए लकी है। इस साल जब उन्‍होंने शपथ ली थी तब भी सभी चीजें हरी रंग की ही लाई गईं।

Jayalalithaa, Tamil Nadu Chief Minister, Tamil Nadu CM, Narendra Modi, Prime Minister Narendra Modi, amma canteen, jayalalithaa modi meeting, GST bill, jayalalithaa in delhi, tamilnadu package
दिल्‍ली में तमिलनाडु भवन में जयललिता को गार्ड ऑफ ऑनर देते पुलिसकर्मी।

जयललिता को एमजी रामचंद्रन राजनीति में लाए थे। उनकी मौत के बाद रामचंद्रन की पत्‍नी जानकी को उनका उत्‍तराधिकारी बना दिया गया। इससे नाराज होकर जयललिता ने बगावत कर दी और अलग पार्टी बना ली। हालांकि वह चुनाव तो नहीं जीत सकीं लेकिन उन्‍होंने 29 सीटें जीतीं। इसके बाद दोनों पार्टियां फिर से एक हो गई और जया को कमान दे दी गई। लंबे समय से राजनीति में अपनी धाक जमा चुकीं जयललिता 1960 के दशक में मशहूर हीरोइन थीं। उन्होंने तमिल के अलावा तेलुगु, कन्नड़ और हिन्दी की 300 से ज्यादा फिल्मों में काम किया है।

दिल्‍ली में जयललिता-मोदी की मुलाकात, GST के बदले तमिलनाडु के लिए पैकेज पर बनेगी बात?

जयललिता के नाम दुनिया की सबसे महंगी शादी कराने का रिकॉर्ड भी है। 7 सितंबर, 1995 को उनके दत्तक पुत्र सुधाकरन की शादी चेन्नई में हुई थी। सुधाकरन जयललिता के भतीजे हैं, जिसे उन्होंने गोद लिया था। इसके लिए 6 करोड़ रुपए खर्च किए गए और 50 एकड़ में पंडाल बना था। करीब 1.5 लाख मेहमान शामिल हुए थे।

जयललिता ने ली मुख्‍यमंत्री पद की शपथ, MGR के बाद लगातार दूसरी बार सत्‍ता में आने वाली CM