किसानों के मुद्दे पर राजनीति करने वालों और किसान मुद्दों को लेकर बहस करने वाले न्यूज चैनलों पर अपनी बात जोर-शोर से रख रहे हैं। इसको लेकर चैनलों पर बहसबाजी भी तेज होती जा रही है। बुधवार को टीवी चैनल न्यूज 24 पर एंकर मानक गुप्ता ने पूछा कि क्या किसानों के मुद्दे का भी राजनीतिकरण हो गया है। क्या किसान भी राजनीति करेंगे। राकेश टिकैत तो अब राजनेताओं की तरह बोलने लगे हैं।

इस पर कांग्रेस प्रवक्ता आलोक शर्मा ने आक्रामक रवैया अपनाते हुए एंकर से पूछा, “क्या किसानों को राजनीति करने का अधिकार नहीं है। क्या उनको बंगाल जाने का अधिकार नही है। क्या संसद के घेराव करने का अधिकार उनको नहीं है, क्या वे राजनेताओं की तरह नहीं बोल सकते हैं। क्या उनको नेता बनने का अधिकार नहीं है।” कहा कि “हम तो चाहते हैं कि किसान आएं और राजनीति में भाग लें। हम तन मन धन से उनकी मदद करेंगे।”

उन्होंने बीजेपी के प्रवक्ता सुधांशु जी की तरफ इशारा करके कहा कि “क्या आपको याद नहीं है कि पहली बार सुप्रीम कोर्ट के चार जजों ने प्रेस कांफ्रेंस करके सार्वजनिक रूप से कहा था कि हम पर बहुत दबाव है। हमें मजबूर किया जा रहा है। उऩके फैसलों में दबाव डाला जा रहा है।”

कहा, “अमित शाह जी वाला केस याद करिए। जिन वकीलों ने उन्हें जमानत दिलाई, जिन जजों ने उन्हें जमानत दी, वे आज कहां हैं, कोई गवर्नर बन गया है तो कोई कहीं जाकर बैठ गया है। वे आज ऊंचे-ऊंचे पदों पर बैठे हुए हैं। उनका क्या हो गया है?”

आलोक शर्मा ने कहा, “आप 11वीं और 12वीं सदी की बात करते हैं। दिल्ली में क्या हो रहा है, आपको नहीं दिखता है। दिल्ली पुलिस में अमित शाह ने क्या कर रखा है। सरकार ने क्या करवा दिया है। क्या पूरी सरकार कटघरे में नहीं खड़ी है।”