बिहार में कोरोना का कहर जारी है, कोविड से पीड़ित मरीजों को कई जगहों पर दवा और ऑक्सीजन तक की कमी हो रही है। इसी बीच बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि हमारे पास वेंटिलेटर टेक्नीशियन नहीं है जिसके कारण वेंटिलेटर होते हुए भी हम उसका इस्तेमाल नहीं कर पा रहे है। उनकी इस बात का जवाब देते हुए लालू प्रसाद यादव ने लिखा कि ऐसा है- तुम चुल्लू भर पानी में मजे करो।

दरअसल एक अख़बार में छपी खबर के मुताबिक बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय कहा कि लोगों की सुविधा के लिए निजी अस्पतालों को सरकारी वेंटिलेटर देने का निर्णय लिया गया है। पटना समेत कई जिलों में वेंटिलेटर अस्पतालों को दिए गए हैं। हमें यह समझना पड़ेगा कि वेंटिलेटर सिर्फ एक मशीन नहीं है जिसे बेड से जोड़ देने के बाद वह वेंटिलेटर बेड हो जाएगा। बेड के हिसाब से वेंटिलेटर के टेक्नीशियन नहीं है, इसलिए वेंटिलेटर होते हुए भी इसका इस्तेमाल कर पाना संभव नहीं हो पाया।

इसी  खबर पर ट्ववीट करते हुए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री ने लिखा कि कोरोना जाँच नहीं हो रहा तो क्या करे? ऑक्सीजन नहीं मिल रहा तो क्या करे? डॉक्टर-नर्स नहीं मिल रहे तो क्या करे? अस्पताल नहीं बना पाए तो क्या करे? दवा इंजेक्शन नहीं मिल रहा तो क्या करे? वेंटिलेटर टेक्नीशियन नहीं मिले तो क्या करे? -नीतीश कुमार, ऐसा है- तुम चुल्लू भर पानी में मजे करो।

आपको बता दें तेजस्वी यादव ने अपने सरकारी आवास को  कोविड केयर सेंटर में बदल डाला है। इसमें ऑक्सीजन सिलिंडर, जरूरी दवाएं और खाने-पीने की भी व्यवस्था है, व  50 बेड हैं। इस पर बुधवार को सवाल उठाते हुए बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री और राज्यसभा सदस्य सुशील कुमार मोदी ने कहा कि तेजस्वी प्रसाद यादव को सरकारी आवास के बजाय अवैध तरीके से पटना में अर्जित दर्जनों मकानों में से किसी को कोविड अस्पताल बनाना चाहिए था, जहां गरीबों का मुफ्त में इलाज होता।

साथ में उन्होंने लालू यादव की बेटियों पर कटाक्ष करते हए कहा कि तेजस्वी यादव के परिवार में दो बहनें एमबीबीएस डाक्टर हैं। कोरोना संक्रमण के दौर में उनकी सेवाएँ क्यों नहीं ली गईं?  यदि राजद नेतृत्व में गरीबों की सेवा के लिए तत्परता और गंभीरता होती, तो अस्पताल शुरू करने के लिए पहले सरकार से अनुमति ली जाती और उसके मानकों का पालन किया जाता। उनके इस ट्वीट पर तेजस्वी यादव की बहन रोहिणी आचार्य ने भड़कते हुए कहा कि आज के बाद से मेरा या मेरी बहनो का नाम लिया ना ये लीचर तो मुंह ठुर देंगे आ कर ! भाग यहां से राजस्थानी मेंढक।