भारत के खिलाफ अक्सर आग उगलने वाले पाकिस्तान क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी ने अपने देश की सेना की तारीफ करते हुए फिर जहर उगला है। पाकिस्तान में इन दिनों सियासी हालात खराब हैं। पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की रिहाई के बाद फिर विवाद शुरू हो गया है। इमरान खान के लाहौर स्थित घर में 30-40 आतंकियों के छिपे होने की बात कही जा रही है। इस बीच, शाहिद अफरीदी ने देश की जनता से पाकिस्तानी सेना के साथ खड़े होने की अपील की है। इसके लिए उन्होंने कश्मीर और फलस्तीन का हवाला दिया।

शाहिद अफरीदी ने एक स्थानीय टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा कि वह राजनीति पर चर्चा करते समय अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करने से दूर रहने की कोशिश करते हैं, क्योंकि मीडिया गलत व्याख्या करता है और अर्थ को दूसरे संदर्भ में ले जाता है।

पूर्व क्रिकेटर ने इस बात पर जोर दिया कि जब विपक्ष में बैठे लोग देश की बेहतरी के लिए शांति से नहीं रह सकते तो राजनीति एक बदसूरत मोड़ ले लेती है। अफरीदी ने राजनीतिक दलों की स्थिति और सत्ता में बने रहने की उनकी रणनीतियों पर अफसोस जताया। 46 साल के शाहिद अफरीदी ने बाहरी और आंतरिक दुश्मनों से होने वाले नुकसान की तुलना की।

शाहिद अफरीदी ने बताया कि कैसे आंतरिक अराजकता देश में कहर बरपा रही है। अफरीदी ने देश में सेना को मजूबत करने की वकालत की। अफरीदी सेना का जिक्र करते हुए कहा, ‘मेरे बच्चे सवाल करते हैं कि अब्बू मुल्क में ये सब क्या हो रहा है? हम कब तक आपस में लड़ते रहेंगे।’

अफरीदी ने कश्मीर का राग अलापते हुए कहा, ‘इस देश के लिए पाकिस्तानी सेना ने बड़ी कुर्बानी दी है, लेकिन मुल्क के सियासतदानों को यह बात समझ नहीं आती। अगर पाकिस्तान की फौज न हो तो आजादी क्या होती है यह बात फिलिस्तीनियों से पूछिए, कश्मीरियों से पूछिए।’

वैसे शाहिद अफरीदी ने पहली बार कश्मीर का राग नहीं अलापा है। साल 2022 में अफरीदी ने एक ट्वीट में लिखा था, ‘भारत मानवाधिकार हनन के खिलाफ आवाज उठाने वालों को शांत कराने की कोशिश कर रहा है, लेकिन यासीन मलिक के खिलाफ लगे झूठे आरोप कश्मीर की आजादी के संघर्ष को नहीं रोक पाएंगे।’