Karnataka Election 2023: कर्नाटक में चुनावी सरगर्मी जोर पकड़ रही है। नामांकन प्रक्रिया पूरी होने के बाद आज नामांकन पत्रों की जांच होगी। बीजेपी ने इस बार कई नए चेहरों को मैदान में उतारा है और कई वरिष्ठ नेताओं का नाम चुनावी सूची से बाहर कर दिया। उनमें से एक भाजपा के वरिष्ठ नेता और मौजूदा विधायक के एस ईश्वरप्पा हैं, जिन्हें पार्टी ने इस बार चुनावी मैदान में नहीं उतारा है। वहीं बीजेपी ने उनके बेटे को भी टिकट नहीं था। टिकट से वंचित किए गए कई भाजपा नेताओं ने पार्टी छोड़ दी। वहीं ईश्वरप्पा ने आलाकमान के फैसले का समर्थन किया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को दिग्गज भाजपा नेता केएस ईश्वरप्पा को वीडियो कॉल की। बातचीत का एक वीडियो खुद पांच बार के विधायक ने शेयर किया। प्रधानमंत्री से बातचीत होने के बाद केएस ईश्वरप्पा ने कहा, ‘मुझे उनका (प्रधानमंत्री) फोन आने की उम्मीद नहीं थी। उनके फोन कॉल ने मुझे शिवमोग्गा शहर जीतने के लिए प्रेरित किया है। उन्होंने कहा कि हम भाजपा सरकार को वापस सत्ता में लाने की लिए पूरी कोशिश करेंगे। ईश्वरप्पा ने कहा कि मैंने पीएम मोदी पूरा भरोसा दिया।
बेटे को टिकट नहीं मिलने पर प्रतिक्रिया देते हुए ईश्वरप्पा ने गुरुवार को कहा था कि मैं बीजेपी से नाराज नहीं हूं…जिन लोगों ने बीजेपी छोड़ दी है उन्हें पार्टी में वापस लाना है, जो हमारी पार्टी से नाराज हैं और कांग्रेस में शामिल हो गए। उन्होंने कहा कि भाजपा जीतेगी और पूर्ण बहुमत से सरकार बनाएगी।
कर्नाटक विधानसभा चुनाव को लेकर बुधवार को भाजपा ने ने अपनी चौथी और आखिरी लिस्ट जारी की थी। इस लिस्ट में शिवमोगा और मानवी सीटों के लिए उम्मीदवारों के नामों का ऐलान किया गया था। इस लिस्ट के मुताबिक शिवमोगा की हाई प्रोफाइल सीट से भाजपा ने पूर्व डिप्टी सीएम के ईश्वरप्पा को झटका देते हुए उनके बेटे को टिकट नहीं दिया था।
बीजेपी ने शिवमोगा से चन्नाबासप्पा को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। भाजपा के वरिष्ठ नेता और पांच बार शिवमोगा सीट से विधायक रहे के एस ईश्वरप्पा ने इस बार चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया था। उन्होंने पार्टी नेतृत्व को भी अपनी इच्छा बता दी थी। जिसके बाद पार्टी ने के एस ईश्वरप्पा के नाम पर विचार नहीं किया। हालांकि ईश्वरप्पा ने अपने बेटे के ई कंतेश के लिए टिकट की मांग की थी। बुधवार को भाजपा ने चौंकाते हुए ईश्वरप्पा की मांग को ठुकराते हुए चन्नाबासप्पा के नाम की घोषणा की थी।