भारी कर्ज में डूबी टेलीकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया (Vodafone Idea) के लिए राहत भरी खबर है। भारती एयरटेल (Bharti Airtel) ने शुक्रवार को एक्सचेंज को दिए एक बयान में कहा कि उसने इंडस टावर में वोडाफोन का 4.7 फीसदी हिस्सा खरीदने के लिए समझौता किया है। यह समझौता इस शर्त पर किया गया है कि वोडाफोन आइडिया में उस पैसे का निवेश और मोबाइल टावर कंपनी (Indus Tower) के बकाया का भुगतान किया जाएगा।
आकर्षक कीमत पर होगी डील: एयरटेल ने अपने बयान में आगे कहा कि वोडाफोन का इंडस टावर में 4.7 फीसदी हिस्से के लिए हम आकर्षक कीमत देंगे। जबकि आमतौर पर देखा जाता है कि शेयरों की बल्क डील में अक्सर हिस्काउंट मिलता है। इंडस्ट्री के जानकारों का कहना है कि यह डील लगभग 3000 करोड़ के आसपास के हो सकती है। हालांकि कंपनी की तरफ से इस डील को कीमत को लेकर कोई भी जानकारी सामने नहीं आई है।
इंडस टावर पर बकाया भुगतान: वोडाफोन आइडिया और कंपनी के प्रमोटर वोडाफोन पर इंडस टावर के बकाए का भुगतान 15 जुलाई तक करने का वादा किया है। जिसके लिए वोडाफोन आइडिया हर महीने इंडस टावर को एक निश्चित राशि चुकाएगा। पिछले गुरुवार को वोडाफोन ने अपनी समूह की इकाई यूरो पेसिफिक सिक्योरिटी के जरिए 2.4 फीसदी हिस्सेदारी बेची थी। यह हिस्सेदारी शेयर बाजार में ₹227 प्रति शेयर के भाव पर बल्क डील के जरिए बेची गई थी। यह डील कुल 1,442 करोड़ रुपए की थी। हालांकि इस डील में 2.4 हिस्सा किसने खरीदा है इसकी जानकारी सामने नहीं आई है।
इसके अतिरिक्त एयरटेल ने अपने बयान में कहा कि इस डील के जरिए एयरटेल को इंडस टावर के जरिए अपनी सेवाओं का विस्तार करने में और एयरटेल के हितों को सुरक्षित करने में मदद मिलेगी।
वोडाफोन आइडिया की खराब वित्तीय स्थिति: दिसंबर तिमाही के नतीजों के मुताबिक वोडाफोन आइडिया पर 1,98,980 करोड़ रुपए का कर्ज बकाया है। इस दौरान कंपनी को 7230 करोड़ रुपए का घाटा हुआ। जो पिछले साल 4532 करोड़ रुपए था। वहीं, पिछले साल की दिसंबर तिमाही के मुकाबले कंपनी के ग्राहकों की संख्या 26.98 करोड़ से घटकर 24.72 करोड़ रह गई है। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर दी गई जानकारी के मुताबिक 31 दिसंबर 2021 तक इंडस टावर में 28 फीसदी हिस्सेदारी वोडाफोन के पास और 42 फीसदी हिस्सेदारी भारती एयरटेल के पास है।