Coronavirus Pandemic In India: देश में कोरोना वायरस का संकट गहराता ही जा रहा है, हर दिन देश भर में इससे संक्रमित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है। इस माहामारी से लड़ने के लिए देश के कई दिग्गज मदद के लिए आगे आ रहे हैं और अपने अपने तरह से मदद कर रहे हैं। इसी क्रम में प्रमुख वाहन निर्माता कंपनी स्कोडा ऑटो फॉक्सवैगन ने देश में COVID-19 की इस जंग में मदद के लिए फेस शिल्ड के उत्पादन की पहल की है।

Skoda Auto Volkswagen इस फेस शील्ड का निर्माण पुणे के चाकन में स्थित अपने प्लांट में कर रही है। बताया जा रहा है कि इनका प्रोडक्शन भी शुरु हो गया है। मास्क, वेंटिलेटर और प्रोटेक्शन क्लॉथ के ही जैसा फेस शील्ड भी एक बेहद ही अहम इक्यूपमेंट होता है। जिसका प्रयोग कोराना संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने वाले व्यक्ति द्वारा किया जाता है ताकि वायरस को दूर रखा जा सके।

यह फेस शील्ड रियूजेबल यानी की दोबारा प्रयोग में लाया जा सकता है। इसका वजन काफी हल्का है ताकि आसानी से इसे कैरी किया जा सकता है। एक बार सैनेटाइज किए जाने के बाद यह शील्ड 6 से 8 घंटे तक प्रयोग में लाया जा सकता है। इसके बाद इसे फिर से सैनेटाइज करने की जरूरत होगी। इस फेस मास्क का प्रयोग मेडिकल स्टॉफ और अन्य लोगों द्वारा किया जा सकता है।

फिलवक्त, कंपनी मुंबई में 35,000 सैनेटाइजर के साथ ही एक एनजीओ के माध्यम से 50,000 फुड पैकेट्स का भी वितरण कर रही है। कोरोना वायरस के खिलाफ इस जंग में देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी भी अपने प्लांट में मास्क, वेंटिलेटर और प्रोटेक्शन क्लॉथ का निर्माण कर रही है। इसके अलावा महिंद्रा भी अपने प्लांट में सबसे सस्ते वेंटिलेटर का निर्माण कर रही है।

क्यों जरूरी है फेस शील्ड: यह एक बेहद ही महत्वपूर्ण इक्यूपमेंट है। इसका प्रयोग मेडिकल स्टॉफ या फिर उनके द्वारा किया जाता है जो कि सीधे तौर पर COVID-19 से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आते हैं। इस दौरान यदि संक्रमित व्यक्ति खांसता है, थूकता है या फिर छिंकता है तो यह फेस शील्ड वायरस से पहनने वाले को बचाता है। इसे कई बार इस्तेमाल किया जा सकता है, लेकिन हर बार प्रयोग से पहले इसे सैनेटाइज करना होता है।

इस माहामारी की विभिषका का अंदाजा आप इसी बात से लगा सकते हैं कि अब तक देश में इससे संक्रमित मरीजों की संख्या 2900 को पार कर चुकी है। वहीं इससे 77 लोगों की मौत भी हो चुकी है। इस वायरस का कहर यहीं थमने का नाम नहीं ले रहा है, देश के अलग अलग हिस्सों से इससे संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। देश भर में आगामी 14 अप्रैल तक लॉक डाउन किया गया है और लोगों से अपील की जा रही है कि वो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें।