Delhi Bike Taxi Ban: अरविंद केजरीवाल सरकार ने दिल्ली में प्राइवेट बाइक टैक्सी के संचालन को पूरी तरह प्रतिबंधित कर दिया है। दिल्ली ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट ने रविवार को एक नोटिस जारी किया है जिसमें कहा गया है कि, दिल्ली में बिना कमर्शियल लाइसेंस के चल रही ऐप आधारित प्राइवेट बाइक टैक्सी का संचालन मोह व्हीकल एक्ट 1988 के प्रावधानों का उल्लंघन है और उन पर एक लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है।

नोटिस में कहा गया कि, “यह ध्यान में लाया गया है कि गैर-परिवहन (निजी) पंजीकरण चिह्न / संख्या वाले दुपहिया वाहनों का उपयोग यात्रियों को किराए या इनाम पर ले जाने के लिए किया जा रहा है जो विशुद्ध रूप से वाणिज्यिक संचालन है और मोटर वाहन अधिनियम, 1988 और बनाए गए नियमों का उल्लंघन है”

“इसके तहत पहला अपराध अधिनियम की धारा 192 के तहत 5,000 रुपये तक के जुर्माने के साथ दंडनीय है, और दूसरे या बाद के अपराध के लिए कारावास की सजा है, जो वाहन को जब्त करने के अलावा 10,000 रुपये तक के जुर्माने के साथ एक वर्ष तक का हो सकता है। उपरोक्त सजा के अलावा, सुप्रीम कोर्ट कमेटी के निर्देश के तहत ड्राइवर का ड्राइविंग लाइसेंस कम से कम तीन महीने के लिए निलंबित किया जाएगा।

दरअसल, दिल्ली सरकार प्राइवेट बाइक टैक्सी सर्विस को नियमों के तहत संचालन किए जाने की दिशा में काम कर रही है जिसमें यात्रियों की सुरक्षा को लेकर नए नियम बनाए जा सकते हैं। इस दिशा में काम करते हुए दिल्ली सरकार ने प्राइवेट बाइक टैक्सी (Private Bike Taxi) सर्विस में टू-व्हीलर्स के कमर्शियल इस्तेमाल पर पूरी तरह से रोक है लगा दी गई है।

एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, दिल्ली में बाइक टैक्सी की अनुमति नहीं है। “ऐप-आधारित एग्रीगेटर बाइक टैक्सी चला रहे हैं और ये बिना उचित परमिट के निजी बाइक वाले ड्राइवर हैं। वाणिज्यिक सेवा संचालित करने के लिए, किसी को व्यावसायिक परमिट लेने की आवश्यकता होती है और टैक्सियों में पीली प्लेट और पीएसवी बैज होना चाहिए जो वहां नहीं है। यहां मुख्य समस्या यह है कि आप नहीं जानते कि ड्राइवर कौन है, कोई विवरण नहीं है। कोई भी घटना हो सकती है और महिलाओं की सुरक्षा सबसे महत्वपूर्ण है इसलिए हमने भी एक अभियान शुरू किया है और प्रवर्तन टीमों द्वारा घेराबंदी की जा रही है।

आपको बताते चलें कि, दिल्ली से पहले महाराष्ट्र में भी सुप्रीम कोर्ट की चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़, जस्टिस पीएस नरसिम्हा और जेबी पारदीवाला की बेंच ने बाइक टैक्सी एग्रीगेटर रैपिडो को लाइसेंस न मिलने के मामले में राहत देने से मना कर दिया था। महाराष्ट्र के बाद दिल्ली में भी प्राइवेट बाइक टैक्सी सर्विस पर रोक लगा दी गई है हालांकि अभी दिल्ली सरकार के इस फैसले के खिलाफ कोर्ट में कोई याचिका दायर नहीं की गई है।