नीति आयोग की ओर से सोमवार को हेल्थ इंडेक्स रिपोर्ट जारी की गई। इस रिपोर्ट में स्वास्थ्य सेवाएं देने के मामले में केरल नंबर वन रहा और उत्तर प्रदेश सबसे नीचे रहा है। इस रिपोर्ट को लेकर सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को घेरा है। इसको लेकर कई सोशल मीडिया यूजर्स भी अपनी प्रतिक्रिया देते नजर आ रहे हैं।

अखिलेश यादव ने लिखा कि जो सांसों के लिए जरूरी ऑक्सीजन के लिए भी झूठ बोले। वो सच में जीवन के लिए प्राणघातक होता है। इस रिपोर्ट को लेकर रोहिणी सिंह नाम की ट्विटर यूजर ने लिखा कि स्वास्थ्य सुविधाओं में फिसड्डी साबित होने पर उत्तर प्रदेश की जनता को ढेरों शुभकामनाएं। पर आप चिंता ना करें, ओमीक्रान, डेल्टा समेत अन्य सभी कोरोनावायरस के बीच खौफ पैदा करने के लिए योगी जी ने हर जगह विज्ञापन दे दिया है कि उत्तर प्रदेश नंबर वन है। बस यह नहीं बताया कि नीचे से।

पूर्व आईएएस सूर्य प्रताप सिंह ने लिखा कि नीति आयोग का नाम बदलकर विपक्ष रख दो। बुलडोजर लाओ, संपत्ति जब्त करो। कुछ तो करना पड़ेगा इस नीति आयोग का, नाम ही बदल दो योगी जी। रणविजय सिंह नाम के ट्विटर यूजर ने लिखा – बधाई हो… स्वास्थ्य सुविधाओं के मामले में अपना यूपी सबसे फिसड्डी साबित हुआ है। पीएम मोदी की नीति आयोग ने यूपी को नीचे से नंबर वन का खिताब दिया है। आप धन्यवाद दे सकते हैं।

हेल्थ इंडेक्स को लेकर सीएम योगी पर तंज कस बोले सपा प्रमुख- ये है सच्ची रिपोर्ट, झूठे विज्ञापनों से नहीं बदलता सच, आए ऐसे कमेंट्स

स्वाति मिश्रा नाम की ट्विटर यूजर ने कमेंट किया कि नीति आयोग के हेल्थ इंडेक्स में केरल टॉप पर है। सबसे नीचे उत्तर प्रदेश है। क्या नीति आयोग का नाम बदल दिया जाए? अबरार नाम के यूज़र ने हंसने वाली इमोजी के साथ लिखा की नीति आयोग की रिपोर्ट ने बताया कि बाबा ने यूपी को बर्बाद कर दिया है। क्या अब योगी जी नीति आयोग का नाम बदल देंगे?

विनोद शर्मा नाम के ट्विटर हैंडल से कमेंट किया गया कि ये नीति आयोग बड़ा नॉटी आयोग है, कह रहा है कि यूपी का स्वास्थ्य खराब है। जानकारी के लिए बता दें कि नीति आयोग ने इस सर्वे को लेकर कहा है कि हेल्थ इंडेक्स के लिए चार राउंड का सर्वे किया गया था और उसके हिसाब से स्कोरिंग की गई थी। सभी राउंड में केरल टॉप पर रहा। हालांकि नीति आयोग की ओर से यह भी कहा गया है कि इंप्रूव रैंकिंग में यूपी नंबर वन है।