तरीदार भरवां परवल
परवल की सब्जी तो प्राय: हर घर में खाई जाती है, कभी सूखी, कभी आलू के साथ रसेदार। मगर भरवां परवल का आनंद ही अलग होता है। हम पहले भी भरवां परवल बनाने के बारे में बात कर चुके हैं, परवल के गुणों से आप सब परिचित ही हैं। इस बार भरवां परवल को रसेदार बनाने के बारे में चर्चा करेंगे।
इस मौसम में परवल बहुतायत में मिलता है। परवल की भी कई प्रजातियां हैं। आमतौर पर बड़े शहरों में ज्यादातर गाढ़े हरे रंग का धारीदार परवल मिलता है। इसकी ऊपरी परत थोड़ी सख्त होती है। बीज भी कठोर होते हैं। मगर मैदानी भागों में उगाए जाने वाले परवल का रंग हल्का हरा होता है, कुछ सफेदी लिए हुए। उसमें धारियां भी नजर नहीं आतीं। इसकी ऊपरी परत और बीज दोनों मुलायम होते हैं। खाने में भी इसका स्वाद अलग होता है। इसलिए हो सके, तो भरवां बनाने के लिए मैदानी भागों यानी देसी कहे जाने वे परवल का ही इस्तेमाल करें।
भरवां तरीदार परवल बनाने के लिए दो हिस्सों में तैयारी करनी पड़ती है। एक तो भरावन तैयार करने और फिर परवल को सेंकने की और दूसरी, इसकी तरी बनाने की। इसकी तरी हम थोड़ा अलग ढंग से बनाएंगे। पहले भरवां परवल। सबसे पहले परवल को अच्छी तरह धो-पोंछ कर उनके दोनों सिरों को काट लें। फिर बीच से चीरा लगाएं और सावधानी से उनका गूदा बाहर निकाल लें। अब दो उबले हुए आलू कद्दूकस करें। कड़ाही में तेल गरम करें, जीरे का तड़का लगाएं और पहले परवल के गूदे को डाल कर दो से तीन मिनट पकाएं, फिर इसमें कद्दूकस किया हुआ आलू डालें। चाहें तो थोड़ा-सा पनीर भी कद्दूकस करके डाल सकते हैं।
इसी के साथ चौथाई चम्मच धनिया पाउडर, चुटकी भर हल्दी, जरूरत भर का नमक, चौथाई चम्मच अमचूरक पाउडर और इतना ही गरम मसाला डालें और चलाते हुए दो से तीन मिनट तक पकाएं। भरावन तैयार है। आंच बंद कर दें। अब इसमें थोड़ा कटा हरा धनिया, दो हरी मिर्चें, थोड़ा अदरक महीन-महीन काट कर डालें और सारी सामग्री को अच्छी तरह मिला लें।
खोखले किए हुए परवल में इस भरावन की थोड़ी-थोड़ी मात्रा लेकर अच्छी तरह भर लें। फिर कड़ाही में दो चम्मच सरसों का तेल गरम करें और उसमें भरे हुए हिस्से को ऊपर की तरफ रखते हुए सारे भरे परवल डाल दें और ऊपर ढक्कन लगा दें। दस मिनट तक मध्यम आंच पर पकने दें। बीच में एक बार परवलों को हिला-डुला दें।
अब इसकी तरी की तैयारी करते हैं। तरी तो टमाटर, प्याज, दही आदि से अपने ढंग से बना सकते हैं, पर इसकी तरी थोड़ी तीखी और अलग ढंग से बनाएं तो खाने का मजा बढ़ जाता है। इसमें केवल प्याज और कुछ खड़े मसालों की तरी बहुत स्वादिष्ट लगती है। इसके लिए दो बड़े आकार के प्याज लंबे-लंबे काट लें। एक कड़ाही में दो चम्मच तेल गरम करें। उसमें आधा चम्मच की मात्रा में सूखा धनिया, जीरा, खसखस, सौंफ और चार-छह काली मिर्च, दो हरी इलाइची, एक बड़ी इलाइची, छोटा टुकड़ा दालचीनी और एक तेज पत्ता डालें।
जब सारी चीजें अच्छी तरह तड़क जाएं तो उसमें कटा प्याज डालें और थोड़ा-सा नमक डाल कर भूरा रंग आने तक चलाते हुए पकाएं। प्याज का रंग भूरा हो जाए, तो आंच बंद कर दें और थोड़ा ठंडा होने दें। फिर इस सामग्री को मिक्सर में अच्छी तरह पीस लें। एक कड़ाही में दो चम्मच तेल गरम करें और उसमें पिसे हुए मसाले डालें। दो से तीन मिनट चलाते हुए पकाएं। फिर इसमें आधा चम्मच गरम मसाला, जरूरत भर का नमक, आधा चम्मच कश्मीरी लाल मिर्च, चौथाई चम्मच कुटी लाल मिर्च, चुटकी भर हल्दी पाउडर डालें और चलाते हुए तेल छोड़ने तक पकाएं।
फिर एक से डेढ़ कप पानी डालें और उबाल आने तक पकने दें। (इसी तरी का इस्तेमाल हम अगले व्यंजन में भी करने वाले हैं, इसलिए इसकी विधि यहीं विस्तार से दी जा रही है।) सिंके हुए भरवां परवल को अलग बरतन में निकालें। इनके ऊपर तरी डालें और अदरक, हरे धनिया से सजा कर गरमागरम परोसें।
हरी-भरी शिमला मिर्च
शिमला मिर्च का इस्तेमाल मिश्रित सब्जी के रूप में, चावल फ्राई, नूडल्स, मैक्रोनी आदि बनाने में किया जाता है। इससे भोजन का स्वाद बढ़ जाता है। मगर भरवां शिमला मिर्च का आनंद ही अलग होता है। आमतौर पर लोग भरवां शिमला मिर्च को सूखी सब्जी के रूप में खाते हैं, मगर इसे तरीदार बनाएं, तो चावल या फिर रोटी के साथ खाने का मजा ही अलग होता है। भरवां शिमला मिर्च की भरावन दो-तीन तरह से तैयार की जाती है। कुछ लोग बेसन की भरावन तैयार करते हैं, तो कुछ चावल भर कर बनाते हैं। मगर चूंकि हमें इसे तरीदार बनाना है, इसलिए इसकी भरावन भी बिल्कुल उसी तरह तैयार करें, जैसे भरवां परवल के लिए हमने बनाई।
परवल में कम मात्रा में भरावन की जरूरत होती है, मगर शिमला मिर्च में अधिक सामग्री लगती है। भरवां बनाने के लिए शिमला मिर्च को खोखला करने में ज्यादा वक्त नहीं लगता। ऊपर के डंठल वाले हिस्से को गोलाकार काट कर निकाल दें और भीतर का सारा बीज झाड़ कर अलग कर दें। फिर इसी में भरावन भरें और कड़ाही में उसी तरह सेंक लें, जैसे परवल सेंकने के बारे में बात की गई। जब शिमला मिर्च पक जाए, तो उसे अलग गहरे बरतन में निकालें और फिर ऊपर से तरी डाल कर धनिया, अदरक, हरी मिर्च से सजा कर गरमागरम परोसें। इसे चावल के साथ खाने का आनंद अलग होता है।