अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होने वाली है। जिसमें देश ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया की नजर है। हर कोई राम मय हो चुका है। ऐसे में पीएम मोदी ने एक ऑडियो संदेश जारी किया है। जिसमें उन्होंने कहा कि 22 जनवरी के उन अद्भुत पलों का वह साक्षी बनेंगे। ऐसे में वह 11 दिनों का विशेष अनुष्ठान करेंगे। जिसकी शुरुआत नासिक के पंचवटी से करेंगे। जानें आखिर ये अनुष्ठान क्या होगा।
पीमए मोदी ने अपने एक्स पोस्ट में लिखा,’अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा में केवल 11 दिन ही बचे हैं। मेरा सौभाग्य है कि मैं भी इस पुण्य अवसर का साक्षी बनूंगा। प्रभु ने मुझे प्राण प्रतिष्ठा के दौरान, सभी भारतवासियों का प्रतिनिधित्व करने का निमित्त बनाया है। इसे ध्यान में रखते हुए मैं आज से 11 दिन का विशेष अनुष्ठान आरंभ कर रहा हूं। मैं आप सभी जनता-जनार्दन से आशीर्वाद का आकांक्षी हूं। इस समय, अपनी भावनाओं को शब्दों में कह पाना बहुत मुश्किल है, लेकिन मैंने अपनी तरफ से एक प्रयास किया है…’
अनुष्ठान का महत्व
हिंदू धर्म में अनुष्ठान का विशेष महत्व है। जिसका पालन अनादि काल से किया जा रहा है। अनुष्ठान विभिन्न तरह के होते हैं। छठी अनुष्ठान, अन्नप्राशन, मुंडन, श्राद्ध से लेकर देवी-देवता की प्राण प्रतिष्ठा का भी अनुष्ठान किया जाता है।
पीएम मोदी की बात करें, तो राम भक्त के रूप में उन्होंने प्राण प्रतिष्ठा से पहले 11 दिन अध्यात्म को समर्पित किया है। अपने तमाम कार्यों को करने के साथ उन्होंने यम-नियम का पालन करने का अनुष्ठान शुरू किया है।
बता दें कि यम नियम शील और तपस्या से संबंधित है यम का अर्थ है संयम जो पांच प्रकार का माना जाता है। अहिंसा, सत्य, अस्तेय, ब्रह्मचर्य और अपरिग्रह है।
यम और नियम योग दर्शन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसे पतंजलि के प्राचीन पाठ ‘द योग सूत्र’ में बताया गया है, जो अष्टांग योग के आठ अंगों के प्रारंभिक भाग है। इस नियम के तहत पीएम मोदी दैनिक दिनचर्या में थोड़ा सा बदलाव करेंगे। वह ब्रह्म मुहूर्त में जागरण, साधना के साथ सात्विक आहार का पालन करेंगे।
पीएम मोदी ने ऑडियो में क्या कहा?
पीएम ने कहा कि मैं आप सभी जनता-जनार्दन से आशीर्वाद का आकांक्षी हूं। इस समय, अपनी भावनाओं को शब्दों में कह पाना बहुत मुश्किल है, लेकिन मैंने अपनी तरफ से एक प्रयास किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने ऑडियो मैसेज में कहा, “जीवन के कुछ पल ईश्वरीय आशीर्वाद की वजह से ही यथार्थ में बदलते हैं। आज दुनियाभर में भारतीयों के लिए ऐसा ही एक पवित्र अवसर है। हर तरफ प्रभु श्रीराम की भक्ति का अद्भुत वातावरण है।”
प्रधानमंत्री ने आगे कहा, “देश में हर किसी को 22 जनवरी का इंतजार है और अब अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा में सिर्फ 11 दिन बचे हैं। मैं अपने जीवन में पहली बार इस तरह के मनोभाव से गुजर रहा हूं। मैं एक अलग ही भाव-भक्ति की अनुभूति कर रहा हूं।” उन्होंने कहा कि जिस सपने को अनेक पीढ़ियों ने अपने दिल में सालों तक रखकर जिया है। मुझे उसकी सिद्धि के समय मौजूद होने का अवसर मिल रहा है।