सुप्रिया सुले और प्रफुल्ल पटेल को नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी का कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाने की घोषणा से शरद पवार ने सभी को चौंका दिया है। अजित पवार के लिए भी यह बड़ा झटका है। ऐसा कहा जा रहा है कि पार्टी के इस फैसले से अजित पवार की नाराजगी बढ़ सकती है, जिस पर शरद पवार का बयान आया है।

एनडीटीवी की खबर के मुताबिक, शरद पवार से पूछा गया कि सुप्रिया सुले और प्रफुल्ल पटेल को कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर जिम्मेदारी सौंपने के फैसले से क्या अजित पवार नाराज नहीं हैं। इस पर शरद पवार ने कहा कि वह पहले से ही कई जिम्मेदारियां संभाल रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि दो कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त करने का निर्णय यह सुनिश्चित करने के लिए है कि देशभर के मामलों को देखने के लिए पार्टी के पास पर्याप्त लोग हैं। उन्होंने कहा कि देश में अभी के हालातों को देखते हुए सभी राज्यों की जिम्मेदारी सिर्फ एक व्यक्ति पर ड़ालना गलत होगा।

शनिवार (10 जून,2023) को शरद पवार ने सुप्रीया सुले और प्रफुल्ल पटेल के नाम का एनसीपी के कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर ऐलान किया था। कुछ दिन पहले जब शरद पवार ने पार्टी प्रमुख के पद से इस्तीफे की घोषणा की थी तो कयास लगाए जा रहे थे कि वह अजित पवार को कोई बड़ी जिम्मेदारी सौंप सकते हैं। हालांकि, समर्थकों ने शरद पवार द्वारा पद छोड़ने का कड़ा विरोध किया, जिसके बाद उन्होंने अपना इस्तीफा वापस ले लिया।

अजित पवार महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता हैं। कुछ समय पहले वह पार्टी से नाराज चल रहे थे, जिसके बाद अटकलें लगाई जा रही थी कि वह भाजपा में शामिल हो सकते हैं। साल 2019 में अजित पवार ने एनसीपी-भाजपा गठबंधन सरकार में डिप्टी सीएम के तौर पर शपथ ली थी। हालांकि, बाद में गठबंधन टूट गया और एनसीपी ने शिवसेना और कांग्रेस के साथ मिलकर महाविकास अघाड़ी गठबंधन की सरकार बनाई।

कल एनसीपी के स्थापना दिवस पर शरद पवार ने यह घोषणा की है। कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाने के बाद प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि वह पार्टी के लिए पूरी मेहनत के साथ काम करेंगे। उन्होंने कहा कि वह साल 1999 से शरद पवार के साथ काम कर रहे हैं इसलिए उनके लिए कुछ भी नया नहीं है। उन्होंने कहा कि वह पार्टी की नई जिम्मेदारी मिलने से बेहद खुश हैं और पार्टी के लिए दिल से काम करते रहेंगे। इसके साथ ही पटेल को मध्य प्रदेश, गुजरात, राजस्थान, झारखंड और गोवा का प्रभारी भी बनाया गया है।