राजस्थान में विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान हो चुका है। राज्य की 200 विधानसभा सीट के लिए 25 नवंबर को मतदान होगा। कांग्रेस में गहलोत गुट और सचिन पायलट गुट में जारी रस्साकशी की वजह से प्रत्याशियों के ऐलान में देरी हो रही है। वहीं, बीजेपी ने कैंडीडेट के नामों की अपनी पहली लिस्ट निकाल दी है। इस बीच बुधवार को कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति (CEC) की बैठक दिल्ली में हुई। बैठक में तीन राज्यों (एमपी, राजस्थान, छत्तीसगढ़) के उम्मीदवारों के नामों पर मंथन किया गया।
वहीं, गुरुवार को राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से उनके आवास पर मुलाकात की। इससे पहले 13 अक्टूबर 2023 को कांग्रेस पार्टी ने दिल्ली में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (AICC) मुख्यालय में मध्य प्रदेश, तेलंगाना विधानसभा चुनावों के मद्देनजर केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक आयोजित की थी। CEC की बैठक में प्रत्याशियों के नाम पर चर्चा के दौरान शांति धारीवाल की सीट पर चर्चा शुरू हुई तो सोनिया गांधी ने एक सवाल उठाया।
शांति धारीवाल की सीट पर चर्चा
वरिष्ठ पत्रकार आदेश रावल ने X (ट्विटर) पर लिखा, “शांति धारीवाल की सीट पर चर्चा शुरू हुई तो सोनिया गांधी ने पूछा कि यह वही आदमी है? जिसके बाद कमरे में सन्नाटा पसर गया। सोनिया गांधी ने पूछा, “भ्रष्टाचार के आरोप है ? अशोक गहलोत ने कहा, नहीं कोई आरोप नहीं है। बिलकुल साफ छवि है।” जिसके बाद राहुल गांधी ने हस्तक्षेप करते हुए कहा, “भ्रष्टाचार के बहुत आरोप है। भारत जोड़ो यात्रा के दौरान बहुत सारे लोगों ने मुझसे शिकायत की थी।”
लंबे समय से कांग्रेस की खबरें कवर कर रहे पत्रकार ने आगे लिखा कि यह वही शांति धारीवाल हैं जिन्होंने बग़ावत के दौरान कहा था, कौन कांग्रेस आलाकमान? आज कांग्रेस नेतृत्व अपने होने का अहसास करवा रहा है। हालांकि, जनसत्ता इस जानकारी की पुष्टि नहीं करता। इस बातचीत के बारे में आदेश रावल ने अपने निजी सोशल मीडिया अकाउंट पर लिखा है।
शांति धालीवाल ने कांग्रेस आलाकमान के खिलाफ विद्रोह का नेतृत्व किया था
गौरतलब है कि सितंबर 2022 में शांति धालीवाल ने कांग्रेस आलाकमान के खिलाफ विद्रोह का नेतृत्व किया था। सोनिया गांधी, जो उस समय पार्टी की अंतरिम प्रमुख थीं, उन्होंने मल्लिकार्जुन खड़गे और अजय माकन को पर्यवेक्षकों के रूप में राजस्थान में कांग्रेस विधायकों की बैठक आयोजित करने के लिए भेजा था।