राजस्थान में चुनाव प्रचार के दौरान कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कई रैलियों में पार्टी कार्यकर्ताओं को भरोसा दिलाया था कि विधानसभा चुनाव में किसी भी बाहरी व्यक्ति को टिकट नहीं दिया जाएगा। टिकट सिर्फ पार्टी कार्यकर्ताओं को ही दिया जाएगा। हालांकि गुरुवार को जिन 152 उम्मीदवारों की पहली सूची जारी की गई है उनमें कम से कम छह उम्मीदवारों पर पार्टी कार्यकर्ताओं ने शुक्रवार को विरोध जताया है। जो लिस्ट जारी की गई है उसमें पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जोधपुर जिले के सरदारपुरा और राज्य पार्टी अध्यक्ष सचिन पायलट टोंक विधानसभा से चुनाव लडेंगे।

दरअसल 11 अगस्त को एक चुनावी सभा में राहुल गांधी ने कहा था, ‘आमतौर पर क्या होता है, आप पार्टी की जीत सुनिश्चित करने के लिए अपना खून-पसीना लगा देते हो, मगर चुनाव से पहले एक बाहरी उम्मीदवार आता है और विधायक का टिकट ले लेता है। मगर इस बार मैं गारंटी देता हूं कि एक भी टिकट पैराशूट लैंडिंग उम्मीदवार को नहीं दिया जाएगा।’ राहुल ने इस बयान तब कार्यकर्ताओं की खूब वाहवाही लूटी। उन्होंने अपने इस बयान को अन्य रैलियों में भी दोहराया।

अब कांग्रेस की पहली सूची में नागौर से भाजपा विधायक हबीबुर रहमान अशरफी लांबा का है, जो बीते बुधवार को कांग्रेस में शामिल हो गए। रहमान साल 2002 और 2003 में अशोक गहलोत की सरकार में मिनिस्टर भी थे। हालांकि 2008 में वह उस वक्त भाजपा में शामिल हो गए जब कांग्रेस ने उन्हें नागौर से टिकट देने से मना कर दिया। भाजपा के टिकट पर वह 2008 और 2013 का चुनाव जीतकर सदन में पहुंचे। इसी तरह से दौसा से भाजपा सांसद हरीश चंद्र मीणा, जो बुधवार को कांग्रेस में शामिल हो गए, उन्हें टोंक के देवली-उनियारा से टिकट दिया गया है।

कांग्रेस ने इसके अलावा कन्हैयालाल झंवर को बीकानेर ईस्ट से टिकट दिया गया है। साल 2008 में झंवर ने कांग्रेस उम्मीदवार रामेश्वर लाल डूडी के खिलाफ निर्दलीय चुनाव लड़ा था और जीत हासिल की थी। 2013 में रामेश्वर लाल डूडी, जो सदन में अभी विपक्ष के नेता हैं, ने झंवर को मात दी थी। डूडी को इस बार नोखा टिकट दिया है जबकि झंवर बीकानेर ईस्ट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ेंगे।

लिस्ट में एक और नाम है सोना देवी, जिन्हें गंगानगर के रायसिंह नगर से टिकट दिया गया है। साल 2013 में वह नेशनल यूनियनिस्ट ज़मिंदारा पार्टी (NUZP) के टिकट के चुनाव जीतकर सदन में पहुंची थीं। यह सीट एससी उम्मीदवारों के लिए आरक्षित है। देवी इस साल मई में कांग्रेस में शामिल हो गई थीं। कांग्रेस ने इस बार झुनझुनु से निर्दलीय विधायक राजकुमार शर्मा को भी टिकट दिया है। पूर्व आईपीएस अधिकारी सवाई सिंह गोदारा को नागौर की खींवसर से मैदान में उतारा है। गोदारा ने कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ने के लिए वीआरएस लिया था।

कांग्रेस आलाकमान द्वारा बाहरी लोगों को टिकट दिए जाने में शुक्रवार को पार्टी कार्यकर्ताओं ने खूब विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस समर्थन लक्ष्मण मीणा ने पार्टी ऑफिस के बाहर नारेबाजी कर कहा, ‘पैराशूट! नहीं चलेगा।’ इस दौरान उनके हाथ में तख्ती भी थी, जिसपर लिखा था, ‘पैराशूट उम्मीदवार हटाओ, बस्सी बचाओ।’ पार्टी ने बस्सी से दौलतराम मीणा को टिकट दिया है। ये सीट आरक्षित है। मीणा ने साल 2013 में निर्दलीय चुनाव लड़ा था।

मामले में कांग्रेस प्रवक्ता अर्चना शर्मा ने कहा है, ‘अपने उम्मीदवारों की घोषणा करने से पहले व्यापक “चर्चाएं और विश्लेषण किए गए। हमें यकीन है जिन उम्मीदवारों को टिकट दिया गया है वो बेस्ट हैं।’