बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक बार फिर देश में हिंदी बोलने पर जोर दिया है। उन्होंने सोमवार (20 मार्च, 2023) को विधान परिषद में लगे एलईडी स्क्रीन पर अंग्रेजी में लिखी जानकारियों को लेकर नाराजगी जताई। उन्होंने सवाल किया कि हिंदी को खत्म कर दीजिएगा क्या। उनका एक वीडियो भी वायरल हो रहा है।

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इस वीडियो क्लिप में मुख्यमंत्री को सभापति देवेश चंद्र ठाकुर पर तंज कसते हुए देखा जा सकता है। ठाकुर जद (यू) पार्टी से ही हैं। विधान परिषद में लगी एक एलईडी स्क्रीन पर मुख्यमंत्री की नजर पड़ी, जिस पर अंग्रेजी के शब्द लिखे थे। इसे देखकर उन्होंने कहा, “मुझे ऑनरेबल और स्पीकिंग टाइम जैसे शब्द दिखाई दे रहे हैं। ये सब क्या है? ई सब सुधरवाईए। हिंदी को खत्म कर दीजिएगा क्या?” इसके बाद सभापति ने भी उनकी बात पर सहमति जताई और कहा कि महोदय इसे जल्द ही ठीक करवा दिया जाएगा।

इससे पहले भी एक कार्यक्रम में मुख्यमंत्री का हिंदी प्रेम दिखा था। पटना में एक बड़े सभागार के अंदर किसान समागम का आयोजन किया गया था। इस दौरान, कृषि रोड मैप को लेकर चर्चा हुई थी और नीतीश कुमार के सामने किसान भी अपनी बात रख रहे थे। इस दौरान मुख्यमंत्री के सामने अपनी बात रखने वाले किसानों में कुछ ऐसे भी थे, जो अंग्रेजी में अपनी बात रख रहे थे, उन्हें मुख्यमंत्री ने टोका था। मुख्यमंत्री ने उन्हें टोकते हुए कहा था कि हिंदी में अपनी बात रखिए और अधिकारियों को भी इसके निर्देश दिए थे।

वहीं, इस मुद्दे पर भारतीय जनता पार्टी ने मुख्यमंत्री पर तंज कसा है। पूर्व मंत्री नीरज सिंह बबलू ने कहा, “ऐसा लगता है कि राजद के नेतृत्व वाले महागठबंधन में शामिल होने के बाद चीजों को नियंत्रण में रखने में असमर्थता से मुख्यमंत्री काफी दबाव में हैं और निराश हैं।” अपने बयानों के लिए सुर्खियों में रहने वाले एक अन्य भाजपा नेता हरिभूषण ठाकुर बचोल ने मांग की कि मुख्यमंत्री का स्वास्थ्य कार्ड जारी किया जाए ताकि लोगों को यह आश्वासन दिया जा सके कि राज्य सुरक्षित हाथों में है।