उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से कांग्रेस सांसद इमरान मसूद ने राज्य की योगी सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा है कि अगर वो लोग मुसलमान होते तो प्रशासन द्वारा उनके छाती पर गोली मार दी जाती। दरअसल मसूद फतेहपुर में हुए मकबरा-मंदिर विवाद पर अपनी बात रख रहे थे। इसी दौरान उन्होंने कहा कि सामने आए वीडियो में साफ-साफ देखा जा सकता है कि हिंसा हो रही है, फिर भी पुलिस ने आरोपी बीजेपी जिला अध्यक्ष और हिंदुत्ववादी संगठन के नेताओं के खिलाफ कोई सख्त एक्शन नहीं लिया। उन लोगों पर एफआईआर तक दर्ज नहीं की गई।

यूपी के फतेहपुर में मकबरा-मंदिर विवाद बढ़ता जा रहा है। जहां एक तरफ हिंदू संगठनों द्वारा इस जगह को भगवान शंकर और श्रीकृष्ण के मंदिर होने का दावा किया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर मुस्लिमों की ओर से इस जगह को नवाब अब्दुल का मकबरा बताया जा रहा है। दरअसल इस जगह पर तनाव उस समय गर्म होना शुरू हुआ जब बीते सोमवार (11 अगस्त) को बड़ी संख्या में हिंदू पक्ष के लोग मकबरे में घुस गए और तोड़फोड़ करने लगे।

अखिलेश और मायावती ने भी दी प्रतिक्रिया

स्थिति को संभालने के लिए कुछ ही समय में मौके पर पुलिस फोर्स पहुंच गई। पुलिस ने इस मामले में जहां दर्जनों लोगों पर एफआईआर दर्ज किया है। वहीं बवाल करने वालों पर भी एक्शन की तैयारी है। इसमें ज्यादातर बीजेपी, सपा और हिंदू संगठनों से जुड़े हुए लोग बताए जा रहे हैं। इस मामले को लेकर मसूद ने कहा पहले तो इन लोगों बवाल किया और अब मामले को शांतिपूर्ण और सौहार्द तरीके से सुलझाने की बात कर रहे हैं।

मांग में करीब 35 % का आया उछाल, अभी और बढ़ने की उम्मीद; स्वतंत्रता दिवस के करीब आने से बढ़ी तिरंगे की डिमांड

वहीं इस मामले में सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा है कि फतेहपुर में हुई घटना तेजी से खत्म हो रही बीजेपी की निशानी है। ये लोग बार-बार सौहार्द बिगाड़ने की साजिश करते हैं। जनता अब बीजेपी वालों की चाल को समझ गई है। उधर यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और बसपा चीफ मायावती ने भी फतेहपुर मामले को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने एक्स पर लिखा है कि फतेहपुर में मंदिर और मकबरा होने को लेकर चल रहे विवाद पर सरकार को गंभीरता दिखाते हुए सख्त कदम उठाना चाहिए। सरकार को किसी भी पक्ष के खिलाफ ऐसा कदम नहीं उठाना चाहिए जिससे की वहां साम्प्रदायिक तनाव बढ़े।