Maharashtra Polls: महाराष्ट्र के नागपुर में ‘संविधान सम्मान सम्मेलन’ को संबोधित करते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बीजेपी और आरएसएस पर जमकर निशाना साधा। राहुल गांधी ने कहा कि जब RSS और भाजपा के लोग इस (संविधान) पर हमला करते हैं, तो वे सिर्फ इस किताब (संविधान की किताब) पर हमला नहीं कर रहे होते, वे भारत की आवाज़ पर हमला कर रहे होते हैं।

राहुल गांधी ने कहा कि हमारे संस्थान संविधान से बने हैं। अगर संविधान नहीं होगा, तो कोई चुनाव आयोग नहीं होगा। RSS इस (संविधान) पर सीधे हमला नहीं कर सकता। अगर वे इसके खिलाफ़ आगे आकर लड़ेंगे, तो वे 5 मिनट में हार जाएंगे। उन्होंने कहा कि ‘विकास’, ‘प्रगति’ और ‘अर्थव्यवस्था’, वे इन शब्दों के पीछे छिपकर हमला करने आते हैं। उन्होंने कहा कि उनका पहला उद्देश्य देश में जाति जनगणना कराना है। दीक्षाभूमि पर पहुंचने के बाद, जहां 1956 में डॉ. बीआर अंबेडकर ने बौद्ध धर्म अपनाया था, गांधी ने संविधान के निर्माता को श्रद्धांजलि अर्पित की।

दीक्षाभूमि पर डॉ. बीआर अंबेडकर को श्रद्धांजलि देने के बाद लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने कहा कि जब आप अंबेडकर जी की किताबें पढ़ेंगे तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि वह अपने बारे में नहीं बल्कि दूसरों के बारे में बात कर रहे हैं। अंबेडकर जी, गांधी जी ने कभी अपना दर्द नहीं देखा, उन्होंने केवल लोगों के दर्द की बात की। जब भारत ने अंबेडकर जी से संविधान बनाने के लिए कहा, तो इसका मतलब था- देश के करोड़ों लोगों का दर्द और आवाज संविधान में गूंजनी चाहिए।”

वहीं महाराष्ट्र के अमरावती में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “छत्रपति शिवाजी महाराज ने उस कालखंड में जब औरंगजेब जैसा बर्बर आक्रांता भारत में शासन कर रहा था, तब उन्होंने उसकी सत्ता को चुनौती दी थी… मुझे याद है कि जब 2017 में मुझे उत्तर प्रदेश का मुख्यमंत्री बनाया गया तब मैं आगरा गया था। आगरा में जब मैं निरीक्षण कर रहा था तो मुझे बताया गया कि वहां एक मुग़ल संग्राहलय बन रहा है। मैंने कहा कि मुग़ल का भारत और आगरा से क्या संबंध है?… हमने कहा भारत का संबंध छत्रपति शिवाजी महाराज से है। इस म्यूज़ियम का नाम बदलो… यह संग्राहलय मराठा और छत्रपति शिवाजी महाराज का प्रतीक बनना चाहिए…”

‘हम चाहते तो संसद में पास करा सकते थे कानून लेकिन PM मोदी ने…’, वक्फ बिल को लेकर स्मृति ईरानी का बड़ा बयान

महाराष्ट्र में चुनावी दृष्टि से महत्वपूर्ण विदर्भ क्षेत्र में गांधी का दौरा इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि इस क्षेत्र में भाजपा के साथ 76 में से लगभग 36 सीधे मुकाबले होंगे । भगवा पार्टी ने विदर्भ में 47 उम्मीदवार उतारे हैं।

वहीं मुंबई में आयोजित “स्वाभिमान सभा” कार्यक्रम के दौरान एमवीए की चुनावी गारंटियों की घोषणा किए जाने की संभावना है। गांधी के साथ कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे , शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष शरद पवार इस कार्यक्रम को संबोधित करेंगे। मुख्य चुनावी गारंटियों में कृषि ऋण माफी, जाति जनगणना और एकनाथ शिंदे सरकार की माझी लड़की बहिन योजना के जवाब में, जिसके तहत गरीबी रेखा से नीचे की महिलाओं के खातों में 1,500 रुपये जमा किए जाते हैं, गठबंधन द्वारा यूनिवर्सल बेसिक इनकम योजना का वादा किए जाने की संभावना है ।