उत्तर प्रदेश के इटावा जिले में नागरिकता कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने के लिए बड़ी संख्या में महिलाएं इक्कट्ठा हो गई। इन्हें प्रदर्शन करने से रोकने के लिए यूपी पुलिस ने धक्का-मुक्की किया और फिर जब बात नहीं बनी तो महिलाओं के साथ प्रदर्शन स्थल मौजूद भीड़ पर लाठी चार्ज कर दिया। महिलाएं पुलिस के लाठियों से बचने के लिए दुकानों में घुस गई।

प्रदर्शन में हजारों लोग शामिल हुए: बता दें कि इटावा के मुस्लिम बाहुल्य इलाके पचराह में मंगलवार (21 जनवरी) की सुबह में करीब सौकड़ो महिलाएं विरोध में शामिल हुईं, लेकिन स्थानीय पत्रकारों के मुताबिक, देर रात होते-होते इनकी संख्या हजारों में पहुंच गई। इसी बीच पुलिस को जब इसकी जानकारी हुई तो वह मौके पर पहुंच उन्हें हटाने की कोशिश करने लगी। इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

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महिला पुलिसकर्मी प्रदर्शनकारियों से निपट रही थीं: मीडिया रिपोर्टस के अनुसार, एक वीडियो क्लिप में पुलिस को इटावा के पचराह क्षेत्र की संकरी गलियों में महिलाओं का पीछा करते हुए दिखाया गया है और विरोध प्रदर्शन कर रही लोगों के साथ डंडों से मारपीट की गई है। 17 सेकंड की क्लिप में महिलाओं को चिल्लाते हुए और पुलिस से पूछते हुए सुना जा सकता है कि उनके साथ मारपीट क्यों की जा रही है। यह पता लगाना मुश्किल है कि महिला प्रदर्शनकारियों को मारने वाले पुलिसकर्मी पुरुष हैं या महिलाएं, लेकिन पुलिस सूत्रों ने मीडिया को बताया कि केवल महिला पुलिसकर्मी ही महिला प्रदर्शनकारियों से निपट रही थीं।

सीएए वापस नहीं हो सकता: गौरतलब है कि नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) को लेकर देश के विभिन्न हिस्सों में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं, वहीं उत्तर प्रदेश में लखनऊ इसका केंद्र बन गया है। इस बीच मंगलवार को लखनऊ में सीएए को समर्थन में एक रैली संबोधित करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि नागरिकता कानून वापस नहीं लिया जाएगा।