प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का दावा है कि आयुष्मान भारत योजना (Ayushman Bharat Yojana) का पैसा केंद्र सरकार देती है। राज्य सरकार लेते (रकम) हैं, जबकि उनका देने से कोई मतलब नहीं है। हालांकि, पैसे के मामले में आयुष्मान भारत की वेबसाइट पर कुछ और ही बात है।
दरअसल, पीएम ने ये बातें नौ फरवरी, 2022 को ऑन-एयर किए गए एक इंटरव्यू के दौरान कहीं थीं। उन्होंने समाचार एजेंसी एएनआई (ANI) की स्मिता प्रकाश को दिए इस साक्षात्कार में कहा था कि आयुष्मान भारत योजना के तहत जो गरीब बीमारी से जूझ रहा होता है, उसे स्वस्थ होने के लिए पांच लाख रुपए तक की सहायता दी जाती है। भारत सरकार देती (मदद/पैसे) है।”
बकौल मोदी, “पैसा भारत सरकार देती है। राज्यों को तो लेना है। देना कुछ नहीं है…(हल्की सी मुस्कान के साथ)। कुछ सूबों में अपनी-अपनी योजनाएं भी हैं। हमें उनसे कोई ऐतराज नहीं है। हम नहीं कहते कि उन्हें बंद कर दो।”
उन्होंने आगे एक उदाहरण देते हुए समझाया कि कैसे एक सूबे के व्यक्ति को दूसरे राज्य में आयुष्मान भारत योजना का लाभ मिलता है। बोले- मान लें कि यूपी का कोई नागरिक केरल गया है। वहां वह बीमार हो जाए, तो उसे दूसरे सूबे में भी उपचार संबंधी लाभ मिलेगा। दोनों इंजन जुड़ जाएंगे तो गरीबों का लाभ होगा। पर कुछ राज्य इससे नहीं जुड़ना चाहते। कहतें हैं कि वे इससे नहीं जुड़ेंगे। दिल्ली में भी ऐसी ही सरकार है।
बहरहाल, पीएम मोदी के दावे से इतर pmjay.gov.in/about/pmjay पर “फाइनैंसिंग” सेक्शन में PM-JAY के बारे में साफ लिखा है, “राज्यों (पूर्वोत्तर के सूबों और तीन हिमालयी राज्यों के अलावा) और विधायिका वाले केंद्र शासित प्रदेशों के लिए मौजूदा शेयरिंग पैटर्न 60:40 के अनुपात में है। देश के उत्तर पूर्वी सूबों और तीन हिमालयी राज्यों (जम्मू और कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड) के लिए अनुपात 90:10 है। विधायिकाओं के बिना केंद्र शासित प्रदेशों के लिए, केंद्र सरकार केस-टू-केस आधार पर 100% तक प्रदान कर सकती है।”
बता दें कि आयुष्मान भारत स्कीम का लाभ लेने के लिए न तो कोई पैसा खर्च करने की ज़रुरत नहीं पड़ती है और न ही कोई आवेदन की जरूरत पड़ती है। वेबसाइट के मुताबिक, प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत 10 करोड़ से अधिक परिवारों को लाभ मिलेगा। आप अपने मोबाइल नंबर से लॉगिन कर पता कर सकते हैं कि आपका परिवार इस योजना में सम्मिलित है या नहीं। अगर आपका परिवार इस योजना सूची में है तो आप इलाज के लिए किसी भी लिस्टेड अस्पताल में हर साल पांच लाख रुपए तक का लाभ उठा सकते हैं।