बिहार चुनाव में भाजपा को मिली करारी हार के बाद तृणमूल ने सोमवार को भगवा संगठन पर निशाना साधते हुए कहा कि इसके नेताओं को अहंकार छोड़ देना चाहिए और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपने वादों को पूरा करना चाहिए। नहीं तो इसके बाद होने वाले हर चुनाव में उन्हें हार का ही मुंह देखना होगा।
मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह से बिहार चुनाव से सीख लेने की अपील करते हुए वरिष्ठ तृणमूल नेता सुल्तान अहमद ने कहा कि महागठबंधन की जीत यह भी दिखाती है कि भारतीय राजनीति में घृणा की राजनीति, असहिष्णुता और ध्रुवीकरण अधिक दिन तक फलदाई नहीं रहेंगे। लोकसभा सांसद अहमद ने कहा कि प्रधानमंत्री को पार्टी और संघ के बड़बोले नेताओं के खिलाफ जरूर बोलना चाहिए जो भड़काऊ बयान देते हैं।
अहमद ने कहा कि बिहार के नतीजे यह दिखाते हैं कि घृणा, असहिष्णुता और ध्रुवीकरण का भारतीय राजनीति में कोई स्थान नहीं है। मोदी और शाह को इस नतीजे से सीख लेनी चाहिए और सत्ता के अहंकार को छोड़ना चाहिए। मोदी के लिए अपने वादों पर खरा उतरने का यही सही समय है। वरना भाजपा इसके बाद होने वाले हर चुनाव में हारेगी। बिहार ने उन्हें पाठ पढ़ाया है।
अपना हमला जारी रखते हुए अहमद ने कहा कि सांप्रदायिक ताकतों की हार के कारण भारत के लोगों के लिए इस साल दिवाली कुछ पहले ही आ गई है। उन्होंने कहा कि भारत जैसे देश में नेताओं को खुद को विनम्रता से पेश करना चाहिए। उन्होंने कहा कि बंगाल में भाजपा ने कहा था- ‘भाग ममता भाग’ लेकिन अब यह ‘भाग भाजपा भाग’ हो गया है। नेताओं को ममता बनर्जी की तरह नम्र तरीके से व्यवहार करना चाहिए। अहमद ने कहा कि भारत के लोगों को अहंकार पसंद नहीं है। हर बार जब भी राजनीतिक दलों ने अकड़ दिखाने की कोशिश की है, भारत की जनता ने उन्हें बाहर का रास्ता दिखा दिया। बिहार इसका जीता जागता उदाहरण है।