जम्मू-कश्मीर के शोपियां जिले में आतंकवाद के खिलाफ सुरक्षा बलों की मुहिम लगातार तेज होती जा रही है। इसी कड़ी में बुधवार को सुरक्षा एजेंसियों को एक बड़ी कामयाबी मिली है। शोपियां के बसकुचन इलाके में चलाए जा रहे अभियान के दौरान दो हाइब्रिड आतंकियों ने आत्मसमर्पण कर दिया।

आत्मसमर्पण करने वाले आतंकियों की पहचान इरफान बशीर और उजैर सलाम के रूप में हुई है। दोनों लश्कर-ए-तैयबा संगठन से जुड़े थे और हाइब्रिड आतंकियों के तौर पर काम कर रहे थे। हाइब्रिड आतंकी ऐसे होते हैं जो आम लोगों की तरह जीवन बिताते हैं, लेकिन गुप्त रूप से आतंकी गतिविधियों में शामिल रहते हैं।

सुरक्षा बलों से घिरे आतंकियों ने खुद को जवानों के हवाले कर दिया

पुलिस और सुरक्षा बलों ने जब इलाके में सर्च ऑपरेशन शुरू किया, तो हालात को देखते हुए दोनों आतंकियों ने खुद को जवानों के हवाले कर दिया। तलाशी के दौरान उनके पास से दो एके-56 राइफलें, चार मैगजीन, 102 जिंदा कारतूस (7.62×39 मिमी), दो हैंड ग्रेनेड और दो पाउच बरामद किए गए हैं। इसके अलावा आतंकियों के पास से 5400 रुपये कैश, एक मोबाइल फोन, एक स्मार्टवॉच, दो बिस्किट पैकेट और एक आधार कार्ड भी मिले हैं।

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शोपियां पुलिस ने इनके खिलाफ संबंधित धाराओं में एफआईआर दर्ज कर ली है और पूरे मामले की जांच जारी है। माना जा रहा है कि इन आतंकियों के सरेंडर से इलाके में आतंकी नेटवर्क को बड़ा झटका लगा है।

पहलगाम हमले के बाद ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान भारत ने पाकिस्तान के कई अहम आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया था। इससे आतंकी संगठनों के सदस्य भारत के अंदर घुसपैठ करने और नागरिकों के बीच रहकर हिंसा करने की कोशिश में हैं। सुरक्षा बल लगातार इनके खिलाफ अभियान चलाकर इनकी कमर तोड़ने और घाटी से इन्हें बाहर निकालने में कामयाबी पा रहे हैं।

पाकिस्तान के समर्थन से घाटी में आतंक फैला रहे घुसपैठियों के खिलाफ सेना की कार्रवाई से आम नागरिकों को बड़ी राहत और सुरक्षा का भरोसा मिला है। पहलगाम हमले के बाद नागरिकों के मन में डर और पर्यटकों की कमी से स्थानीय कारोबारियों की चिंता बढ़ गई थी।