Shivaji Statue Storm: महाराष्ट्र के कोल्हापुर में छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति गिरने के मामले में सिंधुदुर्ग पुलिस ने स्ट्रक्चरल कंसल्टेंट और ठेकेदार चेतन पाटिल को गिरफ्तार कर लिया है। चेतन को आज सिंधुदुर्ग लाया जाएगा। चेतन पाटिल को गुरुवार रात कोल्हापुर से गिरफ्तार किया गया। चेतन ने पहले दावा किया था कि वह प्रोजेक्ट के स्ट्रक्चरल कंसल्टेंट नहीं थे। वहीं सियासत तेज होते देखे इस मामले में अजित पवार के बाद अब सीएम शिंदे को भी माफी मांगनी पड़ी है।

26 अगस्त को छत्रपति शिवाजी महाराज की 35 फीट ऊंची प्रतिमा गिरने के बाद सिंधुदुर्ग पुलिस स्टेशन में FIR दर्ज की गई थी। इसमें ठाणे के मूर्तिकार जयदीप आप्टे का नाम भी शामिल था। शुक्रवार को डिप्टी सीएम अजित पवार मालवण पहुंचे। उन्होंने कहा कि जो कुछ भी हुआ उससे सभी दुखी हैं। दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। वे जहां भी भागें, उन्हें ढूंढ़ लिया जाएगा।

कोल्हापुर निवासी पाटिल ने बुधवार को दावा किया था कि वह इस परियोजना के लिए संरचनात्मक सलाहकार नहीं थे। मराठी समाचार चैनल एबीपी माझा से बात करते हुए कलाकार जयदीप आप्टे के साथ एफआईआर में नामित पाटिल ने कहा था कि उन्होंने राज्य के लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के माध्यम से भारतीय नौसेना को मंच का डिजाइन सौंपा था, लेकिन मूर्ति से उनका कोई लेना-देना नहीं था।

पाटिल ने कहा था कि ठाणे की एक कंपनी ने मूर्ति से जुड़ा काम किया था। मुझे बस उस प्लेटफॉर्म पर काम करने के लिए कहा गया था जिस पर मूर्ति लगाई जा रही थी।

17वीं सदी के मराठा योद्धा राजा की 35 फुट ऊंची प्रतिमापिछले साल नौसेना दिवस (4 दिसंबर) पर सिंधुदुर्ग के मालवण तहसील में राजकोट किले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अनावरण किया गया था, जो सोमवार को दोपहर 1 बजे के आसपास ढह गई। इस घटना को लेकर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली राज्य सरकार विपक्षी दलों ने तीखा हमला बोला है। शिंदे ने कहा कि मूर्ति का डिज़ाइन और निर्माण भारतीय नौसेना द्वारा किया गया था।

चेतन पाटिल कौन हैं?

जब शिवाजी महाराज की प्रतिमा लगाई गई थी, तब चेतन पाटिल स्ट्रक्चरल कंसल्टेंट थे। वे 2010 से कोल्हापुर के एक एजुकेशनल इंस्टीट्यूट में प्रोफेसर भी रहे। चेतन ने दो दिन पहले एक मराठी न्यूज चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा था कि प्रतिमा के निर्माण से मेरा कोई लेना-देना नहीं हैं। मैंने मूर्ति के लिए केवल प्लेटफॉर्म का डिजाइन तैयार किया था। मूर्ति का काम पुणे की कंपनी को दिया गया था।

अजित पवार बोले- स्मारक दोबारा बनाएंगे

महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम अजित पवार शुक्रवार सुबह मालवण के सिंधुदुर्ग पहुंचे। इस दौरान उन्होंने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज हमारे देवता हैं और सभी को उनके इतिहास पर गर्व है। मुख्यमंत्री ने इस मामले में बैठकें की हैं। स्मारक दोबारा बनाया जाएगा। दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। वे जहां भी भागें, उन्हें ढूंढ़ लिया जाएगा।

दो कमेटी करेंगी जांच- शिंदे

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने 29 अगस्त को कहा था कि राज्य सरकार छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा दोबारा बनवाने के लिए युद्धस्तर पर फैसला ले रही है। घटना की जांच के लिए दो समितियां बनाई गई हैं। इसके लिए नौसेना के अधिकारी, आईआईटियन्स, वास्तुकारों, इंजीनियरों और अंतरराष्ट्रीय नामी मूर्तिकारों को बुलाया गया है। विपक्षी दल इस मामले में राजनीति न करें। छत्रपति शिवाजी महाराज को सम्मान देना सभी का कर्तव्य है।

दिसंबर 2023 में पीएम मोदी ने किया था अनावरण

छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा का अनावरण पिछले साल 4 दिसंबर को नौसेना दिवस समारोह के दौरान किया गया था। इस प्रतिमा को लगाने का मकसद, छत्रपति शिवाजी महाराज की विरासत और मराठा नौसेना के आधुनिक भारतीय नौसेना के साथ ऐतिहासिक संबंधों का सम्मान करना था। प्रतिमा का अनावरण पीएम नरेंद्र मोदी ने किया था।