शरद यादव के जनता दल यूनाइटेड के अध्यक्ष के रूप में कार्यकाल न बढ़ने पर राजद अध्यक्ष लालू यादव का कहना है कि वे अब रिटायर हो गए हैं। लालू ने कहा कि जदयू के पास अब नीतीश कुमार के अलावा और कोई विकल्प नहीं हैं। हालांकि नीतीश कुमार ने शरद यादव के रिटायर होने की खबरों का खंडन किया है। उन्होंने कहा कि शरद यादव पार्टी को मार्गदर्शन देते रहेंगे।
गोपालगंज में सोमवार को पत्रकारों से लालू ने कहा, ‘शरद मेरे साथी हैं। अब वे रिटायर हो चुके हैं क्योंकि उन्हें आगे विस्तार नहीं मिला। मैं राजद अध्यक्ष हूं क्योंकि मेरी पार्टी ने संविधान में बदलाव कर दिया लेकिन जदयू ने शरद यादव को फिर से चुनने के लिए ऐसा नहीं किया।’ इस बारे में पूछे जाने पर नीतीश कुमार ने कहा, ‘यह सच नहीं है। लालू यादव का यह मतलब नहीं था। वे और शरद यादव पुराने साथी हैं राजद अध्यक्ष ऐसी टिप्पणी क्यों करेंगे। उनके बयान को गलत समझा गया।’
उन्होंने कहा,’ किसी ने उन्हें पद से नहीं हटाया है। पार्टी नेताओं ने शरद यादव के सार्वजनिक बयान के बाद किसी और नाम अध्यक्ष पद के लिए रखा। जदयू का संविधान एक व्यक्ति को अधिकतम दो बार अध्यक्ष बनने की आज्ञा देता है। लेकिन शरद यादव को तीसरी बार अध्यक्ष बनाने के लिए पार्टी संविधान बदला गया था।’
इधर, भाजपा नेता सुशील मोदी ने कहा,’ नीतीश कुमार ने शरद यादव को कार्यकाल पूरा होने के 90 दिन पहले ही पद छोड़ने को मजबूर किया। शरद को इतनी जल्दी पद से हटाने के लिए नीतीश को जवाब देना चाहिए।’ लालू यादव पर निशाना साधते हुए मोदी ने कहा,’जिस तरह से नीतीश ने जदयू को हाईजैक किया है वह लालू यादव के लिए चिंता की बात होनी चाहिए। जो आदमी जॉर्ज फर्नांडिस, शरद यादव का वफादार नहीं रहा और जिसने भाजपा से 17 साल पुराना गठबंधन तोड़ दिया वह लालू को भी छोड़ सकता है।’