कश्मीरी पंडितों पर हुए लाठीचार्ज को लेकर दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल ने केंद्र पर निशाना साधा है। उका कहना है कि देश पंडितों की सुरक्षा को लेकर चिंतित है। कश्मीर उनका घर है। कश्मीरी पंडितों के प्रदर्शन पर लाठीचार्ज व आंसू गैस दागना गलत है। ये राजनीति करने का नहीं, कश्मीरी पंडितों को सुरक्षा देने का है। केंद्र उनकी सुरक्षा की व्यवस्था करे। केजरीवाल ने कहा कि जिस अधिकारी ने कश्मीरी पंडितों पर लाठीचार्ज करवाया, उसे सरकार बर्खास्त करे।

ध्यान रहे कि बीते सप्ताह बुधवार को आतंकियों ने कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की गोली मार कर हत्या कर दी थी। इसके बाद प्रदेशभर में रोष-प्रदर्शन देखा गया। घाटी में कश्मीरी पंडितों ने सड़क पर उतरकर विरोध-प्रदर्शन किया था। उन्होंने सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए बारामुला-श्रीनगर हाईवे को जाम कर दिया था।

बडगाम में प्रदर्शन के दौरान पुलिस से झड़प हुई तो पुलिस को आंसू गैस के गोले छोड़ने के साथ लाठीचार्ज भी करना पड़ा था। इस घटना की प्रदेश सहित देशभर में आलोचना हो रही है। जम्मू कश्मीर सरकार ने इसके लिए जांच के आदेश दिए हैं।

सोशल मीडिया पर केजरीवाल को लेकर मिश्रित रवैया देखने को मिला। रोहित चतुर्वेदी ने लिखा कि सीएम साहब अभी आपका ये कश्मीरी पंडितों को सांत्वना देना क्या उनके ऊपर ठहाके लगाने पर परत लगा सकता है? कभी कुछ ऐसी बातें बोलिए जिससे जनता को आपके ऊपर भरोसा हो। अभी तो आप बीच गंगा में जल लेकर भी कुछ बोलेंगे तो लोग यकीन नहीं करेंगे। ऐसी छवि आपने अपनी बना रखी है।

मुकेश पंत का कहना था कि जिस तरह दिल्ली में घुसपैठिये बसाए हैं, आने वाले समय में दिल्ली का भी यही हाल होगा। पंजाब से भी रुझान आने लगे हैं। आलोक श्री ने कहा कि अभी आप तो पूरे विधानसभा में कश्मीरी पंडितों के नरसंहार का मजाक उड़ा रहे थे। अब फिर से उनको सहानुभूति दिखा कर उनके जख्मों का मजाक उड़ा रहे हो।

संजय राउत के हैंडल से ट्वीट किया गया कि देखो गिरगिट को, कैसे रंग बदलता है। वो भी केजरीवाल को देखकर सरमा जाए। यही आदमी कश्मीरी पंडितों के नरसंहार पर विधानसभा में ठहाके लगा रहा था। कह रहा था नरसंहार तो हुआ ही नहीं। कृष्ण कुमार का कहना था कि उस दिन विधानसभा में कैसे खिल्ली उड़ा रहे थे, हिंदुओं की मौत पर। क्या यह नाटक उस पाप को ढकने के लिए हो रहा है।