मोदी सरकार ने रेलवे-हाइवे-एयरपोर्ट-गैस पाइपलाइन-गोदाम जैसी सरकारी संपत्तियों को निजी हाथों में दे दिया है। इसको लेकर विपक्ष उनपर लगातार हमला कर रहा है। इसी कड़ी में जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष और सीपीआई नेता कन्हैया कुमार ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी पर ट्वीट कर तंज़ कसा है।

कन्हैया ने कहा कि जैसे दुकान के बाहर लिखा होता है। आज नगद कल उधार वैसे ही प्रधान मंत्री के घर के बाहर लिखा रहना चाहिए अबकी बार सबकुछ बेच देगी सरकार। सीपीआई नेता ने ट्वीट कर लिखा, “दुक़ान के बाहर लिखा होता है- “आज नगद कल उधार” साहेब के मकान के बाहर लिखा होना चाहिए- “अबकी बार सबकुछ बेच देगी सरकार।” उसके इस ट्वीट पर यूजर्स भी अपनी प्रतिकृया दे रहे हैं।

एक यूजर ने लिखा, “अगर “सरकारी विभाग” घाटे में हैं तो उद्योगपति खरीद क्यों रहे हैं , अगर फायदे में हैं तो मोदी सरकार बेच क्यों रही है।” सतीश नाम के एक यूजर ने लिखा, “साहब ने चाय की दुकान छोड़ दी बीवी छोड़ दी घर छोड़ दिया यह उनका निजी मामला था लेकिन जिस तरह से देश की सरकारी प्रॉपर्टी को बेच रहे हैं यह निजी मामला नहीं है आम गणमान्य जागरूक लोग तमाम विपक्षी दल इसके खिलाफ तुरंत आवाज उठाएं नहीं तो एक न एक दिन देश भी बिक जाएगा।”

एक अन्य यूजर ने लिखा, “भक्त कहते रहते है की कांग्रेस ने 70 सालो में क्या किया। लेकिन उन्हें ये नहीं दिखता की 70 सालो में जो प्रॉपर्टी कांग्रेस ने बनाई है ये सरकार उसी को बेच कर अपना काम चला रही है क्योंकि जबसे ये पार्टी सत्ता में आई है इन्होंने तो कोई सरकारी कम्पनी बनाई नहीं है।”

भारतीय किसान यूनियन (BKU) नेता राकेश टिकैत ने भी इसको लेकर के ट्वीट किया है। टिकैत ने लिखा, “स्वदेशी के झंडेबदार आज देश के नवरत्नों को निजी हाथों में सौंपने के लिए आतुर है। देश मे विकास के प्रतीक बिजली,परिवहन निजी हाथों में होंगे तो भविष्य क्या होगा आप अंदाज कर सकते है। मिट्टी की सौगंध खाने वाले आज देश बेच रहे है।”

बता दें कुछ दिन पहले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी इसको लेकर मोदी करकर पर निशान साधा था। राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा था कि 70 साल में जो भी देश की पूंजी बनी, मोदी सरकार ने उसे बेचने का काम किया है।’

राहुल गांधी ने कहा कि रेलवे को निजी हाथों में बेच दिया जा रहा है। पीएम सब कुछ बेच रहे हैं। राहुल गांधी ने पीएम मोदी के नारे का जिक्र करते हुए कहा कि बीजेपी का नारा था कि 70 साल में कुछ नहीं हुआ। कल वित्त मंत्री ने देश में जो भी 70 वर्षों में बना, उसे बेच दिया। देश के युवाओं से केंद्र ने रोजगार छीना, कोरोना में मदद नहीं की, किसानों के लिए तीन कृषक कानून बनाए। राहुल गांधी ने कृषि कानूनों पर भी केंद्र को घेरा।