प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को एक जनसभा को संबोधित करते हुए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के एक बयान को लेकर मुस्लिमों पर टिप्पणी की थी। अब इस पर विवाद शुरू हो गया है। कांग्रेस ने बीजेपी पर निशाना साधा है तो वहीं बीजेपी पीएम मोदी के बयान को प्रचारित कर रही है। अब कांग्रेस ने पीएम मोदी की शिकायत चुनाव आयोग से कर दी है। कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंह और गुरदीप सिंह सप्पल चुनाव आयोग से शिकायत करने पहुंचे।
अभिषेक मनु सिंघवी ने चुनाव आयोग का धन्यवाद देते हुए कहा कि उन्होंने हमारी बातें सुन ली है। उन्होंने कहा कि हमारी तरफ से 17 शिकायतें हैं। आयोग को चाहिए कि वो फौरन एक्शन ले। देश के पीएम का हम आदर करते हैं। पीएम के बयान पर आयोग तुरंत एक्शन ले। उन्होंने कहा कि राजस्थान में दिया गया पीएम का बयान भद्दा है। बयान में एक समुदाय और धर्म का नाम लिया गया है। बयान में समुदाय या धर्म को घुसपैठियों के साथ जोड़ा गया है।
इसके अलावा देश के गृह मंत्री अमित शाह ने इस मुद्दे पर बड़ा बयान दिया है। शाह ने पूछा कि घोषणापत्र में सर्वे की बात है या नहीं? छत्तीसगढ़ के कांकेर में एक जनसभा को संबोधित करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, ”कांग्रेस पार्टी सिर्फ इसलिए चिढ़ गई है क्योंकि पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने अपने घोषणा पत्र में कहा है कि सभी की संपत्ति का सर्वेक्षण किया जाएगा। पीएम मोदी ने कल कहा था कि सर्वेक्षण क्यों करना है? आज पूरी कांग्रेस पार्टी इस पर पीएम मोदी से सवाल कर रही है। मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि क्या उनके घोषणापत्र में सर्वे की बात है या नहीं? पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने कहा था कि संसाधनों पर पहला हक अल्पसंख्यकों का है, आदिवासियों और दलितों का नहीं।”
अमित शाह ने कहा, “कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में सबकी संपत्ति का सर्वे कराने को कहा है। देशभर के मठ, मंदिर और सबकी संपत्ति पर कांग्रेस की नजर है। ये पैसा कहां जाने वाला है?”
जयराम रमेश ने सुबह सोशल मीडिया प्लेटफार्म X पर पोस्ट करते हुए लिखा था, “प्रधानमंत्री जहरीली भाषा में दुनिया भर की बातें बोलते हैं। उन्हें एक सीधे से सवाल का जवाब भी देना चाहिए -1951 से हर दस साल के बाद जनगणना होती आ रही है। इससे अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति की आबादी का वास्तविक डेटा सामने आता है। इसे 2021 में कराया जाना चाहिए था लेकिन आज तक किया नहीं गया। इस पर प्रधानमंत्री चुप क्यों हैं? यह बाबासाहेब अंबेडकर के संविधान को ख़त्म करने की साज़िश है।”
इस बीच सूत्रों के अनुसार खबर आ रही है कि कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने पीएम मोदी से मिलने का वक्त मांगा है। माना जा रहा है वह पीएम मोदी को कांग्रेस के घोषणापत्र की जानकारी देंगे। कांग्रेस पीएम मोदी पर लोगों को गुमराह करने का आरोप लगा रही है।