महाराष्ट्र की उद्धव सरकार ने एनसीबी पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। आर्यन खान मामले में एनसीबी की तरफ से गवाह बनाए गए किरण गोसावी पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है। किरण गोसावी पर लोगों से नौकरी दिलाने के नाम पर लाखों रुपए की ठगी करने का आरोप लगाया गया है।

हालांकि धोखाधड़ी और जालसाजी के मामले में किरण गोसावी के खिलाफ अबतक चार एफआईआर दर्ज की गई है। ताजा मामला पालघर के केलवा थाने का है जहां गोसावी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। हालांकि इस मामले में केलवा पुलिस ने पालघर में रविवार को ही प्राथमिकी दर्ज की। जानकारी के अनुसार उत्कर्ष तारे और आदर्श केनी नाम के शख्स ने साल 2018 में नौकरी के लिए किरण गोसावी से संपर्क किया था। 

आर्यन खान मामले में एनसीबी के गवाह बने किरण गोसावी ने दोनों को मलेशिया के कुआलालंपुर के होटलों में नौकरी देने के बहाने उससे करीब 1.65 लाख रुपए ठगे थे। इसके बाद दोनों को फर्जी टूरिस्ट वीजा और फ्लाइट टिकट दिया गया था। दोनों जब मलेशिया के लिए अपनी फ्लाइट पकड़ने गए तो एयरपोर्ट पर मौजूद सीआईएसएफ अधिकारियों ने उन्हें अंदर जाने से मना कर दिया। जिसके बाद इस मामले में दोनों ने केलवा थाने में शिकायत की थी लेकिन कोई एफआईआर दर्ज नहीं किया गया था।

इससे पहले पुणे पुलिस के द्वारा भी किरण गोसावी के खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी किया गया है। नौकरी दिलाने के नाम पर ही धोखाधड़ी करने के आरोप में किरण गोसावी को नोटिस जारी किया गया है। दरसल साल 2018 में चिन्मय देशमुख नाम के एक शख्स ने पुणे में किरण गोसावी के खिलाफ 420 का मुकदमा दर्ज किया था। चिन्मय का आरोप था कि गोसावी ने फेसबुक पर मलेशिया में नौकरी के लिए ऐड दिया था।

संपर्क करने पर गोसावी ने उनसे पैसे की मांग की थी। जिसके बाद उसे करीब तीन लाख रुपए भेजे गए थे। गोसावी ने तो चिन्मय को मलेशिया भेज दिया लेकिन उसे नौकरी नहीं मिली। जिसके बाद उसे मलेशिया से वापस आना पड़ा। मलेशिया से वापस आने के बाद चिन्मय ने भी गोसावी के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। पुणे पुलिस उसी समय से गोसावी की तलाश कर रही थी। लेकिन अब उसके खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी किया गया है।