प्रवर्तन निदेशालय ने कहा है कि विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चोकसी के मामले में बैंकों को, 80 फीसदी भरपाई कर दी गयी है। पीएमएलए के तहत विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चोकसी के मामले में न केवल 18,170.02 करोड़ रुपये (बैंकों को हुए कुल नुकसान का 80.45%) की संपत्ति जब्त की, बल्कि 9371.17 करोड़ रुपये की कुर्की/जब्त संपत्ति का एक हिस्सा भी PSB और केंद्र सरकार को स्थानांतरित किया गया है।
ईडी ने कहा कि माल्या को उधार देने वाले गठजोड़ की ओर से ऋण वसूली न्यायाधिकरण (डीआरटी) ने बुधवार को यूनाइटेड ब्रेवरीज लिमिटेड (यूबीएल) के 5,800 करोड़ रुपये से अधिक के शेयर बेचे गए, जिन्हें एजेंसी ने पीएमएलए प्रावधानों के तहत जब्त किया था। ईडी ने यह कुर्की 65 वर्षीय माल्या के खिलाफ अपनी आपराधिक जांच के हिस्से के रूप में की। माल्या इस समय ब्रिटेन में हैं।
ईडी ने कहा कि मुंबई में विशेष पीएमएलए अदालत के निर्देश पर उसने जब्त किए गए शेयर (यूबीएल के लगभग 6,600 करोड़ रुपये के शेयर) एसबीआई की अगुवाई वाले गठजोड़ को सौंपा, जिसके बाद डीआरटी ने यह कार्रवाई की।
जांच एजेंसी ने कहा कि माल्या और भगोड़े हीरा व्यापारी नीरव मोदी और मेहुल चोकसी, जो पीएनबी घोटाले में शामिल थे, ने ‘‘सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को उनकी कंपनियों के जरिए धन की हेराफेरी करके धोखा दिया, जिसके चलते बैंकों को कुल 22,585.83 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।’’ अब तक एजेंसी ने इन दो बैंक धोखाधड़ी मामलों में कुल 18,170.02 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की है।
बताते चलें कि प्रवर्तन निदेशालय की तरफ से दावा किया गया है कि विजय माल्या का भारत को प्रत्यर्पण फाइनल हो चुका है। प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि लंदन की वेस्ट मिनिस्टर कोर्ट ने विजय माल्या के भारत प्रत्यर्पण की अनुमति दे दी है। प्रवर्तन निदेशालय की तरफ से यह जानकारी भी दी गयी है कि दूसरे भगौड़े कारोबारी नीरव मोदी के लंदन से भारत लाए जाने को भी वेस्ट मिनिस्टर कोर्ट ने अनुमति दे दी है।