डायबिटीज एक ऐसी बीमारी है जिसे कंट्रोल में रखना बेहद जरूरी है वरना इसका असर बॉडी के बाकी अंगों पर भी हो सकता है। डायबिटीज के मरीजों के ब्लड में शुगर का स्तर तेजी से बढ़ता है। ब्लड में शुगर का स्तर बढ़ने के कारण पैंक्रियाज पर्याप्त इंसुलिन का उत्पादन नहीं कर पाता।

टाइप-1 डायबिटीज में पैंक्रियाज इंसुलिन का बिल्कुल उत्पादन नहीं करता बल्कि टाइप-2 डायबिटीज में पैंक्रियाज इंसुलिन का कम उत्पादन करता है।
इंसुलिन एक तरह का हॉर्मोन होता है, जो शरीर के अंदर प्राकृतिक रूप से बनता है और रक्त में मिलकर ग्लूकोज के स्तर को नियंत्रित करने का काम करता है।

शरीर के अंदर इंसुलिन का उत्पादन कम होना, इंसुलिन नहीं बनना या फिर ठीक से नहीं बनने पर इनसान को शुगर की बीमारी हो जाती है। डायबिटीज के मरीजों को अपनी डाइट का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। शुगर को कंट्रोल करने के लिए मीठी चीजों से परहेज करें ताकि ब्लड में शुगर का स्तर ठीक रहे। अगर आपको मीठा खाने की क्रेविंग होती है तो उसे कंट्रोल करने के लिए डाइट में कुछ खास फूड का सेवन करें।

इन फ्रूट्स से करें मीठे की क्रेविंग को पूरा: कुछ फ्रूट डायबिटीज के मरीजों के लिए बेहद हेल्दी होते हैं जो बॉडी को पर्याप्त विटामिन, कार्बोहाइड्रेट और फाइबर देते हैं। विटामिन इम्युनिटी को स्ट्रॉन्ग बनाते हैं। फाइबर खाने को पचाता है। कुछ फ्रूट में विटामिन और फाइबर ज्यादा होता है जिन्हें हम रोज खा सकते हैं जैसे सेब, संतरा, मौसमी और अमरूद का सेवन करके आप मीठा खाने की क्रेविंग को पूरा कर सकते हैं।

दही का करें सेवन: डायबिटीज के मरीजों को जितना मीठे से परहेज करने के लिए कहा जाता है वो उतना ही मीठा खाना पसंद करते हैं। डायबिटीज के मरीजों का जब भी मीठा खाने का मन करें तो वो खाने में दही का सेवन करें। दही में प्रोटीन औेर कैल्शियम दोनों पाए जाते हैं जो तेजी से भूख को कंट्रोल करते हैं, साथ में आपकी मीठा खाने की इच्छा को भी कंट्रोल करते है। आप दही का सेवन अनार, अंगूर जैसे फल मिलाकर भी कर सकते हैं।

साबुत अनाज खाएं: मीठा खाने की इच्छा परेशान करती है तो आप डाइट में साबुत अनाज का सेवन करें। फाइबर, विटामिन बी, मैग्नीशियम, लोहा, फास्फोरस और मैंगनीज से भरपूर साबुत अनाज मीठा खाने की इच्छा को कम करते हैं और शुगर को कंट्रोल रखते हैं।