उत्तर प्रदेश में चुनाव नजदीक आने के साथ ही सियासी पारा भी चढ़ गया है। AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने साफ कर दिया है कि वह बिहार के बाद अब यूपी चुनाव में भी हुंकार भरेंगे। इसके लिए उन्होंने चुनाव प्रचार भी शुरू कर दिया है। मायावती को लेकर उनकी रुख थोड़ नरम नज़र आ रही है। जबकि अखिलेश यादव पर उन्होंने निशाना साधते हुए कहा था, ‘MY’ फैक्टर से सहारे सत्ता तक पहुंचने वालों ने सिर्फ ‘Y’ को याद रखा था, उनकी विकास से एजेंडे से ‘M’ गायब हो गया था।
इसी को लेकर ‘ABP न्यूज़’ के साथ इंटरव्यू में उनसे वरिष्ठ पत्रकार सुमित अवस्थी ने सवाल पूछा था, ‘अखिलेश यादव के खिलाफ अगर आप लगातार बोलेंगे तो वो क्यों आपसे दोस्ती करेंगे?’ असदुद्दीन ओवैसी कहते हैं, ‘आप क्या चाहते हैं कि मैं अखिलेश यादव की गुलामी करूं? उनसे कभी 6 दिसंबर वाली घटना के बारे में पूछिए तो ज़रा देखिए कि वो क्या आपको जवाब देंगे?’ इसके बाद सुमित अवस्थी ने अगला सवाल किया था, ‘अभी आपने कहा था कि आप चंद्रशेखर से बात करेंगे, ओपी राजभर से आपकी बात हो चुकी है, अखिलेश यादव के साथ आपकी पिक्चर शुरू क्यों नहीं हो रही है?’
इस सवाल पर असदुद्दीन ओवैसी भड़क जाते हैं और जवाब देते हैं, ‘असदुद्दीन ओवैसी जो जुबान से बोलता है वो अंदर से भी ऐसा है और बाहर से भी ऐसा है। मैं अपना हक मांग रहा हूं और ये हक अबतक मुझे किसी ने नहीं दिया। हमारे बुजुर्गों ने इस देश के लिए लड़ाई लड़ी थी, आजादी दिलाई थी। आज यूपी के मुस्लिम की कोई बात नहीं करेंगे। ये भीख मांगेंगे? क्यों भीख मांगेंगे? अगर आपको लगता है कि सभी दल मिलकर बीजेपी को हरा सकते हैं तो आप मिलवा दीजिए। अभी तक तो ऐसा दिख नहीं रहा है।’
योगी ने क्यों नहीं पहनी मुस्लिम टोपी? एक अन्य इंटरव्यू में असदुद्दीन ओवैसी से योगी आदित्यनाथ द्वारा मुस्लिम टोपी नहीं पहनने को लेकर सवाल पूछा गया था। इसके जवाब में उन्होंने कहा था, ‘मैं अगर वहां पर मौजूद होता तो कभी योगी जी को टोपी पहनने के लिए नहीं देता। मैं उनसे कहता कि उत्तर प्रदेश में मुस्लिमों के साथ जो अन्याय हुआ है, उन्हें इंसाफ दे दीजिए। लोगों को पानी तक पीने नहीं दिया जा रहा, ‘मॉब लिंचिंग’ की घटनाएं आम हो चुकी हैं।’