वर्ल्ड कप 2019 का सेमीफाइनल। भारत और न्यूजीलैंड की टीमें आमने-सामने। दुनिया के तकरीबन सभी क्रिकेट फैंस को उम्मीद थी कि टीम इंडिया यह मुकाबला आसानी से जीत जाएगी, लेकिन सबकुछ इसके उलट हुआ। न्यूजीलैंड ने भारत को आसान लक्ष्य दिया, फिर भी विराट कोहली की टीम जीत हासिल नहीं कर सकी। मैच के बाद सबसे बड़ा सवाल यही था कि महेंद्र सिंह धोनी को 7वें नंबर पर क्यों भेजा गया? उन्होंने 50 रन बनाए थे। इस बारे में पहली बार उस समय टीम इंडिया में शामिल किसी खिलाड़ी ने अपनी राय रखी है। दिनेश कार्तिक ने सेमीफाइनल मैच के दौरान ड्रेसिंग रूम में जो बातें हुई थीं, उसे शेयर किया है।

कार्तिक को पांचवें नंबर पर खेलने के लिए कहा गया था। उन्होंने क्रिकबज से बातचीत में कहा कि कप्तान का फैसला उनके लिए भी हैरानी भरा था। कार्तिक ने कहा, ‘‘मैं हैरान था, क्योंकि उन्होंने मुझे स्पष्ट रुप से कह रखा था कि मुझे सात नंबर पर ही बल्लेबाजी के लिए भेजा जाएगा। हमें क्रीज पर टिकना था। विकेट को रोकना था। मुझे पैड बांधने के लिए कहा गया और यह सब जल्दबाजी में हुआ। मुझे उस वक्त लग नहीं रहा था कि विकेट इतने जल्दी-जल्दी गिर जाएंगे। अचानक से लोकेश राहुल आउट हो गए और मुझे अपना पैड बांधना पड़ा।’’

दरअसल, ओपनर केएल राहुल और रोहित शर्मा को मैट हैनरी ने आउट कर दिया। दोनों ने 1-1 रन बनाए। इसके बाद ट्रेंट बोल्ट ने विराट कोहली को पवेलियन भेज दिया। चौथे नंबर पर ऋषभ पंत और पांचवें पर कार्तिक को भेजा गया था। इसके बाद छठे पर हार्दिक पंड्या और सातवें नंबर पर धोनी को उतारा गया था। कार्तिक ने कहा, ‘‘मैं तीसरे ओवर में गया और मुझे पता नहीं चला कि मैं कब आउट हो गया। हमें बोल्ट के स्पेल खत्म होने तक विकेट गिरने से रोके रहना था। दुर्भाग्यवश जब मैं क्रीज पर टिक गया तो जिम्मी नीशाम द्वारा शानदार कैच लेने के कारण आउट हो गया।’’

धोनी को सातवें नंबर पर भेजने के फैसले से सभी हैरान थे। सचिन तेंदुलकर, सौरव गांगुली और वीवीएस लक्ष्मण जैसे सभी महान खिलाड़ियों ने इसे भारी चूक बताया था। बाद में मुख्य कोच रवि शास्त्री ने सफाई देते हुए कहा था कि यह फैसला पूरी टीम का था। शास्त्री ने कहा था- अगर धोनी पहले बैटिंग के लिए आते और वो जल्दी आउट हो जाते तो स्थिति और खराब हो जाती। हमें उनके अनुभव की बाद में जरूरत थी। टीम इंडिया वह मुकाबला 18 रन से हारी थी। धोनी ने उसके बाद क्रिकेट से ब्रेक ले लिया था।