भारतीय क्रिकेट टीम को आगामी टी20 विश्व कप 2024 या अन्य बड़े टूर्नामेंट में चैंपियन बनने के लिए अपनी कौन सी कमी का तोड़ निकालना होगा, इसे लेकर पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर मिस्बाह-उल-हक ने रोहित शर्मा एंड कंपनी को सलाह दी है। मिस्बाह-उल-हक ने आईसीसी टी20 विश्व कप का प्रिव्यू करने के लिए स्टार स्पोर्ट्स के विशेष प्रेस रूम में कहा कि भारत को 140 करोड़ लोगों की उम्मीदों के दबाव से निपटना सीखना होगा।

बुमराह-शमी ने भारत को बनाया एक अलग टीम: मिस्बाह

चर्चा के दौरान हालांकि, मिस्बाह ने माना कि मौजूदा भारतीय क्रिकेट टीम अपनी मजबूत गेंदबाजी लाइन-अप की बदौलत अब एक ‘अलग’ टीम है। उन्होंने यूनाइटेड स्टेट्स ऑफ अमेरिका और वेस्टइंडीज में टी20 विश्व कप 2024 से पहले भारतीय क्रिकेट टीम के विकास की तारीफ की।

मिस्बाह-उल-हक का मानना है कि मौजूदा भारतीय क्रिकेट टीम अपनी मजबूत गेंदबाजी लाइन-अप की बदौलत अब एक ‘अलग’ टीम है। उन्होंने पिछली भारतीय टीमों की तुलना में टीम इंडिया के अधिक कुशल दिखने के पीछे का कारण जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी, मोहम्मद सिराज और हार्दिक पंड्या जैसे खिलाड़ियों का नाम लिया।

मिस्बाह-उल-हक ने कहा, ‘बुमराह, शमी, सिराज जैसे गेंदबाजों और हार्दिक पंड्या की हरफनमौला क्षमताओं के कारण भारतीय क्रिकेट की गुणवत्ता में काफी वृद्धि हुई है। यह अब एक अलग भारतीय टीम है। बहुत शक्तिशाली गेंदबाजी लाइनअप वाली एक कुशल टीम।’

दबाव झेलनी की क्षमता सुधरी, लेकिन ऑस्ट्रेलिया जैसी नहीं: मिस्बाह

मिस्बाह ने कहा, ‘उनकी बल्लेबाजी हमेशा मजबूत रही है, लेकिन तेज गेंदबाजी की गुणवत्ता ने उनके खेल को ऊपर उठाया है।’ भारत 9 जून को न्यूयॉर्क के नासाउ काउंटी अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम पर टी20 विश्व कप 2024 के ग्रुप स्टेज मैच में पाकिस्तान से भिड़ेगा।

मिस्बाह ने दबाव झेलने की क्षमता में सुधार करने के लिए भारतीय क्रिकेट टीम की प्रशंसा की। मिस्बाह ने कहा, ‘भारत की दबाव झेलने की क्षमता में भी सुधार हुआ है। इतना क्रिकेट खेलने से उन्हें एक्सपोजर मिलता है। उनका आत्मविश्वास बढ़ता है।’

मिस्बाह ने कहा, ‘इसे तोड़ने के लिए विरोधी टीमों को काफी मशक्कत करनी पड़ती है, जो एक मुश्किल काम है। उदाहरण के लिए, ऑस्ट्रेलिया को देखें। वे अपने मजबूत मानसिक दृष्टिकोण से इनमें से अधिकांश बाधाओं को पार कर लेते हैं। जैसे ही बड़े मैच और दबाव की स्थिति पैदा होती है, वे संयम बनाए रखने में कामयाब होते हैं।’

मिस्बाह ने कहा, ‘इसके विपरीत पाकिस्तान, भारत और अन्य एशियाई टीमों को अपनी विशाल आबादी और बहुत अधिक उम्मीदों के चलते भारी दबाव का सामना करना पड़ता है। यह दबाव प्रदर्शन को प्रभावित कर सकता है। यह कुछ ऐसा है जिससे भारत को पिछले कुछ मेगा इवेंट्स में संघर्ष करना पड़ा है, जहां वे शानदार अंत नहीं कर पाए।’

मिस्बाह ने कहा, ‘ऑस्ट्रेलिया के लिए यह उतना बड़ा मुद्दा नहीं है, लेकिन पाकिस्तान और भारत के लिए इतने भारी दबाव में खेलना बड़ी चुनौती है। यह देखना दिलचस्प है कि ये टीमें भविष्य में इसे कैसे मैनेज करेंगी। खासकर भारत को अगर आगामी आयोजनों में सफल होना है तो उसे इस बढ़ते दबाव से उबरने के तरीके खोजने होंगे।’