किशमिश एक ऐसा ड्राईफ्रूट है जिसमें प्राकृतिक मिठास मौजूद होती है। इसमें चीनी के साथ ही कैलोरी भी अधिक होती है। इस ड्राईफ्रूट को अंगूर को सुखाकर बनाया जाता है जिसमें फाइबर, एंटीऑक्सिडेंट और आयरन जैसे महत्वपूर्ण खनिज भी मौजूद होते हैं। किशमिश एक ऐसा ड्राईफ्रूट है जिसके सेहत के लिए अनगिनत फायदे हैं। किशमिश बॉडी को एनर्जी देते हैं। ये विशेष रूप से आयरन, पोटैशियम और एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर होते हैं। आयरन से भरपूर किशमिश का सेवन करने से एनिमिया का उपचार होता है। किशमिश में मौजूद पोटैशियम ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करता है और दिल के रोगों से बचाव होता है।

किशमिश में मौजूद फ्लेवोनोइड्स और फेनोलिक एसिड जैसे एंटीऑक्सिडेंट शरीर में ऑक्सीडेटिव तनाव और सूजन को दूर करने में मदद करते हैं। अब सवाल ये उठता है कि पोषक तत्वों से भरपूर किशमिश का सेवन क्या रोजाना करना चाहिए? अगर रोज़ 10 किशमिश का सेवन किया जाए तो सेहत पर उसका कैसा असर हो सकता है?

रोजाना 10 किशमिश का सेवन करने से सेहत पर कैसा असर होता है?

रोजाना 10 किशमिश का सेवन करना सेहत के लिए सुरक्षित और फायदेमंद दोनों हैं। किशमिश का सेवन करने से ना सिर्फ सेहत को फायदा होता है बल्कि मीठा खाने की क्रेविंग भी कंट्रोल रहती है। अगर सीमित मात्रा में किशमिश का सेवन किया जाए तो सेहत को फायदा होता है। किशमिश का सेवन करने से शारीरिक और मानसिक विकास बेहतर होता है और मोटापा कंट्रोल रहता है। ब्लड शुगर को कंट्रोल करने में किशमिश का सेवन बेहद असरदार साबित होता है।

किशमिश का सेवन भिगोकर करना चाहिए या नहीं?

रोजाना किशमिश का सेवन भिगोकर करने से सेहत को बेहद फायदा होता है। फाइबर से भरपूर किशमिश अगर भिगोकर खाया जाए तो गट हेल्थ दुरुस्त रहती है। इसे खाने से पाचन दुरुस्त रहता है और ब्लोटिंग कंट्रोल रहती है। भिगी हुई किशमिश का सेवन करने से कब्ज की बीमारी से निजात मिलती है।

किशमिश का सेवन करने से सेहत को कौन-कौन से फायदे होते हैं?

  • किशमिश का सेवन से हाई ब्लड प्रेशर कंट्रोल रहता है। बीपी के मरीज अगर रोजाना किशमिश का सेवन भिगोकर करें तो बीपी को आसानी से नॉर्मल रख सकते हैं। पोटैशियम और फाइबर से भरपूर किशमिश ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने में दवाई की तरह असर करती है।
  • वजन को कंट्रोल करने में किशमिश का सेवन बेहद असरदार साबित होता है। किशमिश फाइबर से भरपूर होती है। किशमिश का सेवन अगर रोजाना सीमित मात्रा में किया जाए तो पेट लम्बे समय तक भरा रहता है और आप ओवर इंटिंग नहीं करते। कम खाने से आपका वजन कंट्रोल रहता है।
  • थॉयराइड को कंट्रोल करने में किशमिश का सेवन दवाई की तरह असर करता है। किशमिश फाइबर, पॉलीफेनोल्स, फ्लेवोनोइड्स और फेनोलिक एसिड से भरपूर होती है जो शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट हो सकते हैं। ये पोषक तत्व थायराइड हार्मोन के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करते हैं।
  • किशमिश का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है जिसका सेवन करने से खाने के बाद ब्लड में शुगर का स्तर नॉर्मल रहता है। टाइप-2 डायबिटीज के मरीज इसका सेवन करके ब्लड शुगर को नॉर्मल कर सकते हैं।