सर्दी का मौसम आते ही शरीर की इम्यूनिटी कमजोर होने लगती है। इस समय तापमान गिरने, शरीर में पानी की कमी होने और शारीरिक गतिविधि घटने से मेटाबॉलिज्म धीमा पड़ जाता है, जिससे शरीर वायरस और संक्रमण के प्रति ज़्यादा संवेदनशील हो जाता है। ठंडी हवा और कम धूप के कारण विटामिन D का स्तर भी गिर जाता है, जो इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाए रखने में अहम भूमिका निभाता है। साथ ही इस मौसम में लोग कम पानी पीते हैं जिससे शरीर के टॉक्सिन्स ठीक से बाहर नहीं निकल पाते, थकान, सर्दी-खांसी, गले में खराश जैसी परेशानियां बढ़ने लगती हैं। इम्यूनिटी मजबूत रखने के लिए सर्दियों में गुनगुना पानी पीना, विटामिन C से भरपूर फलों का सेवन करना जरूरी होता है।

सर्द मौसम में हम बॉडी को गर्म रखने के लिए और इम्यूनिटी को मजबूत करने के लिए डाइट में ड्राई फ्रूट्स खाते हैं, च्वनप्राश और कुछ सीड्स का सेवन करते हैं। सर्दी में आंवला का सेवन लोग खासतौर पर करते हैं। आंवला का सेवन च्यवनप्राश के रूप में और उसका मुरब्बा बनाकर खाते हैं। ये फ्रूट विटामिन सी का बेहतरीन स्रोत है जो इम्यूनिटी को मजबूत करता है और बॉडी का बीमारियों से बचाव करता है।

आंवला के साथ ही एक और सुपर फूड है एवोकाडो जो एक विदेशी फूड है लेकिन इंस्टाग्राम पर बहुत वायरल हो रहा है। इसमें कोई दो राय नहीं कि आंवला की तरह ही एवोकाडो भी एक सुपरफूड है जो बॉडी को कई तरह से फायदा तो पहुंचाता है लेकिन जेब पर भारी पड़ता है।

अब सवाल ये उठता है कि दोनों सुपरफूड में कौन सा फूड सर्दी में सेहत के लिए उपयोगी है। भारतीय डॉक्टरों और एक्सपर्ट्स का मानना है कि एवोकाडो की दीवानगी ज़रूरत से ज़्यादा बढ़ाई जा रही है । आजकल सोशल मीडिया पर एवोकाडो (Avocado) को सुपरफूड का ताज पहनाया जा रहा है। चाहे सलाद हो या स्मूदी, हर जगह इसका ट्रेंड छाया है। लेकिन भारतीय डॉक्टरों का कहना है कि असली सुपरफूड हमारे देश में ही मौजूद है वो है आंवला। अगर इसे उतनी ही लोकप्रियता मिले जितनी एवोकाडो को मिलती है तो भारत न केवल हेल्दी बल्कि हेल्थ सुपरपावर बन सकता है। आइए जानते हैं कि आंवला कैसे हेल्दी फूड है और एवोकाडो से बेहतर है।  

आंवला है असली हेल्थ बूस्टर

दिल्ली के फोर्टिस हॉस्पिटल के गैस्ट्रोएंटेरोलॉजिस्ट डॉ. शुभम वत्स्य के अनुसार रोज़ाना आंवला खाने से ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल रहता है। इसमें मौजूद पॉलीफेनॉल्स कैंसर से बचाव करते हैं और DNA डैमेज को धीमा करते हैं। एक्सपर्ट के मुताबिक आंवले में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स खराब कोलेस्ट्रॉल को ऑक्सीडाइज होने से रोकते हैं, धमनियों को साफ रखते हैं और ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करते हैं। एक छोटा आंवला दिनभर की विटामिन C की जरूरत को पूरा कर देता है और इम्यूनिटी को मजबूत बनाता है।

एवोकाडो के फायदे भी कम नहीं

हैदराबाद के यशोदा हॉस्पिटल के सीनियर फिज़िशियन और डायबिटोलॉजिस्ट डॉ. सुमन गुप्ता बताते हैं कि एवोकाडो में हेल्दी फैट्स (Monounsaturated fats) होते हैं जो हार्ट हेल्थ के लिए फायदेमंद हैं। यह खराब कोलेस्ट्रॉल (LDL) को हटाकर अच्छे कोलेस्ट्रॉल (HDL) को बढ़ाते हैं। साथ ही इसमें मौजूद फाइबर पाचन को दुरुस्त रखता है और वजन कंट्रोल में मदद करता है। एवोकाडो पोटैशियम, विटामिन K, विटामिन E और फोलेट से भरपूर होता है जो नसों, मांसपेशियों और हड्डियों के लिए ज़रूरी पोषक तत्व हैं।

आंवला या एवोकाडो कौन सा फूड बेहतर है?

डॉ. गुप्ता के मुताबिक दोनों ही फूड अपने-अपने तरीके से बेहतरीन हैं। अगर आप हार्ट हेल्थ सुधारना चाहते हैं तो एवोकाडो लें, लेकिन सीमित मात्रा में। वहीं अगर इम्यूनिटी, स्किन, बालों और ब्लड शुगर को कंट्रोल में रखना है तो आंवला सबसे सस्ता और असरदार विकल्प है। डॉ. वत्स्य कहते हैं भारत के पारंपरिक सुपर फूड जैसे आंवला सदियों से सेहत का खजाना रहे हैं। अब वक्त है कि हम विदेशी फूड के बजाय अपने देसी खज़ानों को पहचानें।