मौसमी फल और सब्जियां पोषण के लिहाज से बेहद जरूरी होती हैं। एक्सपर्ट्स कहते हैं कि मौसमी सब्जियों और फल को अपनी डाइट में जरूर शामिल करना चाहिए। लेकिन तमाम लोग इसे नजरअंदाज कर, अपनी पसंद के फलों-सब्जियों पर ज्यादा ज़ोर देते है। हालांकि ऐसा करना सही नहीं है। इन दिनों यानी शरद ऋतु की बात करें तो ये शरीफा का सीजन है। शरीफा तमाम बीमारियों से लड़ने में भी मददगार माना जाता है।
फिटनेस एक्सपर्ट और न्यूट्रिशनिस्ट मुनमुन गनेरीवाल कहती हैं कि शरीफा में कैल्शियम और मैग्नीशियम दोनों होता है जो हड्डियों को स्वस्थ और मजबूत बनाने में रामबाण जैसे हैं। साथ ही, यह विटामिन बी-6 का एक अच्छा स्रोत। शरीफा से सूजन और पीएमएस को ठीक करने में भी मदद मिलती है। अगर आप मधुमेह या रक्तचाप से संबंधित समस्याओं से पीड़ित हैं, तो यह आपके लिए बेहद फायदेमंद फल है।
वह कहती हैं, इसमें फाइबर की अधिकता के कारण यह मधुमेह के खतरे को कम करता है। वहीं, दूसरी ओर इसमें मौजूद पोटेशियम और मैग्नीशियम रक्तचाप को भी नियंत्रण में रखते हैं।
उधर, जानी-मानी न्यूट्रिशनिस्ट श्वेता शाह कहती हैं कि शरीफा यानी कस्टर्ड एप्पल के तमाम लाभ हैं। इसके सेवन से दिल तो स्वस्थ रहता ही है। साथ ही शुगर लेवल भी सामान्य रहता है। शरीफे में सोडियम और पोटैशियम भरपूर मात्रा में होते हैं, जिससे ब्लड प्रेशर में अचानक होने वाला बदलाव नियंत्रित रहता है। इसमें विटामिन-सी काफ़ी ज्यादा होता है, जिससे शरीर की रोगों से लड़ने क्षमता यानी इम्यून सिस्टम भी मजबूत होता है। साथ ही, फ़ाइबर की अधिकता के कारण अपच को ठीक करता है।
कितना शरीफा खाना चाहिए? फिटनेस इन्फ्लुएंसर जूही कपूर कहती हैं कि इसका सेवन रोजाना किया जा सकता है, क्योंकि इसमें ज्यादा शुगर नहीं होता। याद रहे, फलों में पाया जाने वाला फ्रुक्टोज ब्लड शुगर को आसानी से नहीं बढ़ाता है, क्योंकि फलों में फाइबर होता है जो धीरे-धीरे रक्त में ग्लूकोज छोड़ता है।
कब खा सकते हैं शरीफा? जूही कपूर बताती हैं कि भोजन के बाद और भोजन से साथ कभी भी फल न खाएं। आप इसे एक संपूर्ण डाइट के रूप में खा सकते है। साथ ही, समय की बात करें तो सुबह 11 बजे या शाम के 4 बजे इसे खाना ठीक रहता है। वह कहती हैं कि कई फलों को मिलाने की जरूरत नहीं है। एक समय में एक ही फल खाना चाहिए। कई लोग फलों का जूस बना कर इसे पीते हैं, लेकिन इसका पूरा लाभ लेने के लिए रॉ ही सेवन करें।